'नाम बदलने से वास्तविकता नहीं बदलती, अरुणाचल प्रदेश भारत का अभिन्न अंग है और रहेगा'; MEA का चीन को करारा जवाब
अरुणाचल प्रदेश में 30 स्थानों का नाम बदलने के चीन के प्रयास को भारत सरकार सिरे से खारिज कर चुकी है। विदेश मंत्रालय ने गुरुवार को कहा कि नाम बदलने के प्रयास से इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता है कि अरुणाचल प्रदेश भारत का अभिन्न और अविभाज्य हिस्सा है और रहेगा।विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा हमने इस मुद्दे पर बार-बार बात की है।
एएनआई, नई दिल्ली। अरुणाचल प्रदेश में 30 स्थानों का नाम बदलने के चीन के प्रयास को भारत सरकार सिरे से खारिज कर चुकी है। विदेश मंत्रालय ने गुरुवार को कहा कि नाम बदलने के प्रयास से इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता है कि अरुणाचल प्रदेश भारत का अभिन्न और अविभाज्य हिस्सा है और रहेगा।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, "हमने इस मुद्दे पर बार-बार बात की है। हमने पिछले कुछ हफ्तों में कुछ बयान दिए हैं। हमने अपना बयान दोहराया है... कुछ नाम लेकर आप वास्तविकता को मत बदलो। वास्तविकता यही है, अरुणाचल प्रदेश भारत का एक अभिन्न, अविभाज्य हिस्सा है और यह वैसा ही रहेगा।"
बता दें कि अरुणाचल प्रदेश पर अपना दावा पेश करने के साथ चीन ने भारतीय राज्य में विभिन्न स्थानों के 30 नए नामों की चौथी सूची जारी की थी। जिसके बाद भारत ने कहा कि यह राज्य देश का अभिन्न अंग है और काल्पनिक नाम रख देने से इस वास्तविकता में कोई बदलाव नहीं आएगा।
23 मार्च को विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अरुणाचल प्रदेश पर चीन के बार-बार के दावों को हास्यास्पद बताते हुए खारिज कर दिया था। विदेश मंत्री ने कहा था कि यह सीमावर्ती राज्य भारत का स्वाभाविक हिस्सा है। इसके अलावा चीन इस मुद्दे पर अमेरिका से भी उलझ चुका है।
इसके बाद 2 अप्रैल को विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अरुणाचल प्रदेश के 30 स्थानों को चीन द्वारा नया नाम देने पर करारा जवाब दिया। उन्होंने कहा कि अरुणाचल प्रदेश भारतीय राज्य था, है और भविष्य में भी रहेगा। जयशंकर ने कहा कि नाम बदलने से कुछ हासिल नहीं होगा। अगर मैं आपके घर का नाम बदल दूं, तो क्या वह मेरा हो जाएगा?
उन्होंने आगे कहा था,"अगर आज मैं आपके घर का नाम बदल दूं तब क्या वह मेरा हो जाएगा क्या? अरुणाचल प्रदेश भारत का राज्य था, है और रहेगा। नाम बदल देने से कुछ नहीं होता है और न ही इससे कोई प्रभाव पड़ता है। आप सब जानते हैं कि हमारी सेना वहां (एलएसी पर) तैनात है। सेना के लोग जानते हैं कि उन्हें वहां क्या करना है।"