B20 Summit:PM Modi आज करेंगे बिजनेस 20 सम्मेलन को संबोधित, दुनियाभर से नीति निर्माताओं को किया गया है आमंत्रित
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी रविवार को बिजनेस 20 (बी20) सम्मेलन को संबोधित करेंगे। सम्मेलन में दुनियाभर से नीति निर्माताओं व्यापारिक नेताओं और विशेषज्ञों को विचार-विमर्श और चर्चा करने के लिए बुलाया गया है। शनिवार को केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने सम्मेलन को संबोधित किया। शिक्षा के क्षेत्र में पहल के बारे में उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 छात्रों को 21वीं सदी के लिए तैयार कर रही है।
By AgencyEdited By: Sonu GuptaUpdated: Sun, 27 Aug 2023 07:00 AM (IST)
नई दिल्ली, पीटीआई। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी रविवार को बिजनेस 20 (बी20) सम्मेलन को संबोधित करेंगे। सम्मेलन में दुनियाभर से नीति निर्माताओं, व्यापारिक नेताओं और विशेषज्ञों को विचार-विमर्श और चर्चा करने के लिए बुलाया गया है। जी-20 में प्रस्तुत करने के लिए बी20 में 54 सिफारिशें और 172 नीतिगत कार्रवाइयां शामिल हैं।
सम्मेलन में 1,700 उद्योग क्षेत्र के लोग होंगे शामिल
मालूम हो कि इस सम्मेलन में दुनियाभर के करीब 1,700 उद्योग क्षेत्र के लोग और विशेषज्ञ शामिल होंगे। तीन दिवसीय इस सम्मेलन का शुरुआत 25 अगस्त को हुआ था बिजनेस-20 जी-20 का एक मंच है, जो वैश्विक व्यापार समुदाय का प्रतिनिधित्व करता है। इसे 2010 में स्थापित किया गया था। जी-20 सम्मेलन अगले महीने होगा। बी-20 का विषय सभी व्यवसायों के लिए जिम्मेदार, त्वरित, नवीन, टिकाऊ और न्यायसंगत पहुंच सुनिश्चित करने पर केंद्रित है।
At 12 noon tomorrow, 27th August, I will be addressing the B20 Summit India 2023. This platform is bringing together a wide range of stakeholders working in the business world. It is among the most important G20 Groups, with a clear focus on boosting economic growth.
— Narendra Modi (@narendramodi) August 26, 2023
धर्मेंद्र प्रधान ने बी20 सम्मेलन को किया संबोधित
शनिवार को केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने सम्मेलन को संबोधित किया। केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने शनिवार को 'शिक्षा को उभरती अनिवार्यताओं के अनुरूप बनाना' विषय पर बी20 सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि शिक्षा वह मातृत्व है जो सभी विकास को गति प्रदान करेगी।भारत वैश्विक भलाई का प्रयोगशालाः प्रधान
उन्होंने कहा कि भारत वैश्विक भलाई के लिए एक प्रयोगशाला है। यह वसुधैव कुटुंबकम के हमारे सभ्यतागत मूल्यों से आती है। भारत की आकांक्षाएं वैश्विक भलाई और खुशहाली हासिल करने की हैं। भारत में प्रतिभा का भंडार है।