BJP-AIADMK Break-Up: एनडीए से क्यों अलग हुई अन्नाद्रमुक? भाजपा के शीर्ष नेतृत्व ने शुरू की पड़ताल
एनडीए गठबंधन से अन्नाद्रमुक के अलग होने के बाद भाजपा अब उन कारणों का पता लगा रही है जिस वजह से अन्नाद्रमुक को एनडीए छोड़ना पड़ा। भाजपा केंद्रीय नेतृत्व ने ये निर्णय लिया है। वे इस टूट का कारण जानने में जुट गए हैं। समाचार एजेंसी एएनआई ने पार्टी सूत्रों के हवाले से बताया कि उन घटनाओं को भी देखा जाएगा जिससे सहयोगी दल अन्नाद्रमुक अगल हो गया।
By AgencyEdited By: Devshanker ChovdharyUpdated: Thu, 28 Sep 2023 04:05 PM (IST)
नई दिल्ली, एएनआई। एनडीए गठबंधन से अन्नाद्रमुक के अलग होने के बाद भाजपा अब उन कारणों का पता लगा रही है, जिस वजह से अन्नाद्रमुक को एनडीए छोड़ना पड़ा। भाजपा केंद्रीय नेतृत्व ने ये निर्णय लिया है। वे इस टूट का कारण जानने में जुट गए हैं।
क्या है अन्नाद्रमुक के अलग होने की वजह?
समाचार एजेंसी एएनआई ने पार्टी सूत्रों के हवाले से बताया कि उन घटनाओं को भी देखा जाएगा, जिससे सहयोगी दल अन्नाद्रमुक अगल हो गया। इसके बाद पार्टी उचित कदम उठाएगी।
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भाजपा के शीर्ष नेतृत्व के पहुंचा मुद्दा
तमिलनाडु के भाजपा नेताओं ने बताया कि इस समस्या की क्या वजह है, उसे हमारे शीर्ष नेतृत्व देखेंगे। उन्होंने कहा कि अभी देखना है कि आगे क्या होता है। भाजपा अध्यक्ष के अन्नामलाई ने इस मुद्दे पर कुछ भी बोलने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा, मैं इस मुद्दे पर बाद में बोलूंगा।
एनडीए से अलग हुई अन्नाद्रमुक
बता दें कि एनडीए से अलग होने का फैसला लेने से पहले अन्नाद्रमुक मुख्यालय में पार्टी प्रमुख के पलानीस्वामी की अध्यक्षता में बैठक बुलाई गई। बैठक के बाद एनडीए से अलग होने का फैसला लिया गया।भाजपा नेता के बयान के बाद मामला हुआ गर्म
माना जाता है कि भाजपा और अन्नाद्रमुक के बीच गहमागहमी तब शुरू हुई, जब तमिलनाडु के भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अन्नामलाई ने पूर्व मुख्यमंत्री सी अन्नादुराई और सीएम जे जयललिता को लेकर बयान दिया था।
यह भी पढ़ेंः AIADMK के पूर्व विधायक के खिलाफ दर्ज हुआ आय से अधिक संपत्ति होने का मामला, 18 जगहों पर चल रहा तलाशी अभियानइससे पहले भाजपा नेता सीटी रवि ने कहा था,
बता दें कि अन्नाद्रमुक ने सोमवार को भाजपा के प्रदेश नेतृत्व पर अपने वरिष्ठ नेताओं के प्रति सम्मान नहीं दिखाने का आरोप लगाया और एनडीए छोड़ने की घोषणा की। अन्नाद्रमुक ने कहा कि 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव अपने अन्य सहयोगियों के साथ लड़ेगी।चुनाव में आठ महीने बचे हैं और इन महीनों में क्या होगा, हम आज कुछ नहीं कह सकते। पार्टी को मजबूत करना सभी कार्यकर्ताओं का कर्तव्य है। के अन्नामलाई के नेतृत्व में पार्टी को मजबूत करने का एक बड़ा काम किया जा रहा है।