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CAA के तहत इतने लोग बन गए भारत के नागरिक, पाकिस्तान से आकर बसे थे

CAA Indian Citizenship Certificates नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) के तहत नागरिकता प्रमाणपत्रों का पहला सेट बुधवार को जारी किया गया। केंद्र सरकार द्वारा 14 लोगों को भारतीय नागरिकता प्रमाणपत्र जारी किए गए हैं। सीएए प्रमाणपत्र जारी होने के बाद पाकिस्तान अफगानिस्तान और बांग्लादेश से प्रताड़ित गैर-मुस्लिम प्रवासियों को भारतीय राष्ट्रीयता देने की प्रक्रिया शुरू हो गई। आवेदन ऑनलाइन संसाधित होने के बाद 14 लोगों को प्रमाण पत्र सौंपे गए।

By Jagran News Edited By: Narender Sanwariya Updated: Wed, 15 May 2024 05:23 PM (IST)
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CAA के तहत केंद्र सरकार ने 14 लोगों को दी भारत की नागरिकता (Photo Credit By Jagran New Media)
Indian citizenship certificates Of CAA : एएनआई, नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्रालय (MHA) ने सीएए के तहत नागरिकता प्रमाणपत्रों का पहला सेट (CAA Indian Citizenship Certificates First Set) जारी कर दिया है। सीएए के पहले सेट के तहत केंद्र सरकार ने 14 लोगों को भारतीय नागरिकता प्रदान (Indian Citizenship Certificates) की है। केंद्रीय गृह सचिव अजय कुमार भल्ला (Union Home Secretary Ajay Kumar Bhalla) ने नई दिल्ली में पहले 14 लोगों को सीएए के तहत नागरिकता प्रमाण पत्र (Citizenship Amendment Act - CAA) सौंपे। इस दौरान सचिव डाक, निदेशक (आईबी), भारत के रजिस्ट्रार जनरल और वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) के तहत नागरिकता प्रमाणपत्रों का पहला सेट बुधवार को जारी किया गया। केंद्र सरकार द्वारा 14 लोगों को नागरिकता प्रमाणपत्र जारी किए गए हैं। सीएए प्रमाणपत्र जारी होने के बाद पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश से प्रताड़ित गैर-मुस्लिम प्रवासियों को भारतीय राष्ट्रीयता देने की प्रक्रिया शुरू हो गई।

केंद्र सरकार के एक आधिकारिक प्रवक्ता ने कहा कि केंद्रीय गृह सचिव अजय कुमार भल्ला ने एक निर्दिष्ट पोर्टल के माध्यम से उनके आवेदन ऑनलाइन संसाधित होने के बाद 14 लोगों को प्रमाण पत्र सौंपे गए हैं।

सीएए को बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान से सताए गए गैर-मुस्लिम प्रवासियों को भारतीय राष्ट्रीयता प्रदान करने के लिए दिसंबर 2019 में अधिनियमित किया गया था, जो 31 दिसंबर 2014 को या उससे पहले भारत आए थे। इनमें हिंदू, सिख, जैन, बौद्ध, पारसी और ईसाई शामिल हैं।

कानून बनने के बाद सीएए को राष्ट्रपति की मंजूरी मिल गई थी, लेकिन जिन नियमों के तहत भारतीय नागरिकता दी गई थी, उन्हें चार साल से अधिक की देरी के बाद इस साल 11 मार्च को जारी किया गया था।

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