केंद्र सरकार ने अंतर-राज्यीय परिषद की स्थायी समिति का किया पुनर्गठन, अमित शाह करेंगे अध्यक्षता
Inter State Council Standing Committee केंद्र सरकार ने सोमवार को अंतर-राज्यीय परिषद की स्थायी समिति का पुनर्गठन किया है। इस समिति की अध्यक्षता केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह करेंगे। इसके अलावा केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान निर्मला सीतारमण राजीव रंजन सिंह वीरेंद्र कुमार और सीआर पाटिल के साथ-साथ कई राज्यों के मुख्यमंत्रियों को समिति का सदस्य बनाया गया है।
एएनआई, नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने अंतर-राज्यीय परिषद की स्थायी समिति का पुनर्गठन किया है, जिसकी अध्यक्षता गृह मंत्री अमित शाह करेंगे। समिति में 12 सदस्यों को भी शामिल किया गया है। सोमवार को इस संबंध में केंद्र की ओर से अधिसूचना जारी की गई है।
गौरतलब है कि राज्यों और केंद्र के बीच बेहतर समन्वय स्थापित करने एवं उत्पन्न होने वाले विवादों को सुलझाने के लिए अंतर-राज्यीय परिषद का गठन किया जाता है। गृह मंत्री अमित शाह की अध्यक्षता के साथ समिति में 12 सदस्य शामिल हैं।
Centre reconstitutes Standing Committee of the Inter-State Council headed by Union Home Minister Amit Shah. The committee comprises 12 members -Union Ministers Shivraj Singh Chouhan, Nirmala Sitharaman, Rajiv Ranjan Singh, Virendra Kumar and CR Patil as well as Chief Ministers of… pic.twitter.com/A267VsTa3s
— ANI (@ANI) November 11, 2024
इन्हें बनाया गया सदस्य
इनमें केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान, निर्मला सीतारमण, राजीव रंजन सिंह, वीरेंद्र कुमार और सीआर पाटिल के साथ-साथ आंध्र प्रदेश, असम, झारखंड, महाराष्ट्र, ओडिशा, पंजाब और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री को स्थायी समिति का हिस्सा बनाया गया है।क्या है अंतर-राज्यीय परिषद?
बता दें कि अंतर-राज्यीय परिषद में केंद्र-राज्य संबंधों से जुड़े जिन मामलों पर विचार किया जाता है, स्थायी समिति उन सब पर विचार करती है। परिषद की सिफारिशों को लागू करने की प्रक्रिया पर भी इसकी नजर रहती है। इसके अलावा परिषद या इसके अध्यक्ष की ओर से भेजे गए मामलों पर भी यह विचार करती है।उल्लेखनीय है कि सरकारिया आयोग की सिफारिश के अनुरूप 28 मई, 1990 को राष्ट्रपति के आदेश के जरिये अंतर-राज्यीय परिषद का गठन किया गया था। यह एक स्थायी निकाय है। सरकारिया आयोग ने यह भी सिफारिश की थी कि अनुच्छेद 263 के तहत अंतर-सरकारी परिषद का गठन किया जाना चाहिए।