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'सिक्किम और हिमाचल की त्रासदी को राष्ट्रीय आपदा घोषित करे केंद्र', मल्लिकार्जुन खरगे ने सरकार से की अपील

सिक्किम में बादल फटने और अचानक बाढ़ आने के कारण पूरे राज्य में तबाही मची हुई है। आप इसका अंदाजा इस बात से लगा सकते हैं कि सिक्किम सरकार ने एक अधिसूचना में कहा कि प्राकृतिक संकट को आपदा घोषित कर दिया गया है। इस बीच कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने केंद्र से अपील की कि इन संकटों को (सिक्किम और हिमाचल) को राष्ट्रीय आपदा घोषित किया जाना चाहिए।

By AgencyEdited By: Babli KumariUpdated: Thu, 05 Oct 2023 11:40 AM (IST)
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कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे। (जागरण ग्राफिक्स)
आईएएनएस, नई दिल्ली। सिक्किम में बादल फटने और उसके बाद अचानक आई बाढ़ ने पूरे राज्य को बुरी तरह प्रभावित किया है। इस बाढ़ में जानमाल का भारी नुकसान हुआ है। इस तबाही पर शोक व्यक्त करते हुए कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने गुरुवार को कहा कि ऐसी त्रासदियों (जिनमें हिमाचल प्रदेश में हाल की बारिश से संबंधित आपदाएं भी शामिल हैं) को केंद्र द्वारा राष्ट्रीय आपदा घोषित किया जाना चाहिए।

एक्स (जिसे पहले ट्विटर कहा जाता था) पर एक लंबी पोस्ट में खरगे ने कहा कि सिक्किम में स्थिति अनिश्चित है क्योंकि बादल फटने और अचानक आई बाढ़ के कारण कई लोगों की जान चली गई है और हमारे बहादुर सेना के जवानों सहित कई लोग लापता हैं। हमारी संवेदनाएं सिक्किम के लोगों के साथ हैं जो इस संकटपूर्ण समय से जूझ रहे हैं।

कांग्रेस अध्यक्ष ने आगे कहा कि केंद्र को "लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने और लापता लोगों को ढूंढने के लिए हर संभव प्रयास करना चाहिए, जिनकी संख्या कथित तौर पर लगातार बढ़ रही है।"

इस बाढ़ में राज्य में तैनात सेना के 23 जवान लापता हो गए थे। बुधवार को गुवाहाटी में डिफेंस पीआरओ ने कहा कि अब तक एक सैनिक को बचाया जा चुका है। जबकि उत्तरी सिक्किम में ल्होनक झील के ऊपर अचानक बादल फटने के बाद लापता हुए शेष 22 सैनिकों के लिए सेना द्वारा खोज और बचाव अभियान जारी है।

सेना के प्रवक्ता ने कहा कि चुंगथांग बांध से पानी छोड़े जाने के कारण पानी का स्तर अचानक 15-20 फीट की ऊंचाई तक बढ़ गया। राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल ने प्रभावित क्षेत्रों में तीन टीमें तैनात की हैं और कई लोगों को बचाया है।

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