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मिशन चंद्रयान नए भारत की उस भावना का प्रतीक है, जो हर हाल में जीतना जानता है: PM मोदी

पीएम मोदी (PM Modi) ने अपने मासिक रेडियो कार्यक्रम मन की बात (Mann Ki Baat) में कहा कि भारत ने और भारत के चंद्रयान ने ये साबित कर दिया है कि संकल्प के कुछ सूरज चांद पर भी उगते हैं। उन्होंने कहा कि मिशन चंद्रयान नए भारत की उस भावना का प्रतीक बन गया है जो हर हाल में जीतना चाहता है और हर हाल में जीतना जानता है।

By AgencyEdited By: Achyut KumarUpdated: Sun, 27 Aug 2023 03:00 PM (IST)
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मिशन चंद्रयान नए भारत की उस भावना का प्रतीक बन गया है, जो हर हाल में जीतना चाहता है: मोदी
नई दिल्ली, पीटीआई। PM Modi in Mann Ki Baat: प्रधानमंत्री नरेद्र मोदी ने रविवार को कहा कि मिशन चंद्रयान 'न्यू इंडिया' की भावना का प्रतीक बन गया है, जो जीत सुनिश्चित करना चाहता है और जानता है कि किसी भी स्थिति में कैसे जीतना है। उन्होंने कहा कि चंद्रयान नारी शक्ति का जीता जागता उदाहरण भी है।

'भारत की बेटियां अब अंतरिक्ष को चुनौती दे रही हैं'

अपने मासिक 'मन की बात' कार्यक्रम में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत की बेटियां अब अनंत माने जाने वाले अंतरिक्ष को भी चुनौती दे रही हैं। उन्होंने कहा, "जब किसी देश की बेटियां इतनी महत्वाकांक्षी हो जाएं तो उस देश को विकसित बनने से कौन रोक सकता है।"

'चंद्रयान की सफलता की जितनी चर्चा की जाए, वो कम है'

यह देखते हुए कि चंद्रयान को चंद्रमा पर पहुंचे तीन दिन से अधिक समय हो गया है, पीएम मोदी ने कहा कि यह सफलता इतनी शानदार है कि इसके बारे में जितनी चर्चा की जाए, वो कम है। इस दौरान उन्होंने अपनी लिखी एक कविता की पंक्तियों का भी पाठ किया।

'सूरज चांद पर भी उगते है'

देश के लोगों को परिवार के सदस्यों के रूप में संदर्भित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि 23 अगस्त को भारत के चंद्रयान-3 ने साबित कर दिया कि कुछ संकल्प के सूरज चांद पर भी उगते हैं। उन्होंने कहा कि मिशन चंद्रयान 'न्यू इंडिया' की भावना का प्रतीक बन गया है, जो जीत सुनिश्चित करना चाहता है, और यह भी जानता है कि किसी भी स्थिति में कैसे जीतना है। पीएम मोदी ने कहा,

इस मिशन का एक पहलू रहा है जिस पर मैं आज विशेष रूप से आप सभी से चर्चा करना चाहता हूं। आपको याद होगा कि इस बार मैंने लाल किले से कहा था कि हमें महिला नेतृत्व वाले विकास को एक राष्ट्रीय चरित्र के रूप में मजबूत करना है। जब नारी शक्ति का सामर्थ्य जुड़ जाता है तो असंभव को भी संभव बनाया जा सकता है।

भारत का मिशन चंद्रयान भी नारी शक्ति का जीता जागता उदाहरण है।  इस पूरे मिशन में कई महिला वैज्ञानिक और इंजीनियर सीधे तौर पर शामिल थीं। उन्होंने विभिन्न प्रणालियों के प्रोजेक्ट डायरेक्टर, प्रोजेक्ट मैनेजर जैसी कई महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां संभाली हैं।

'चंद्रयान-3 की सफलता में देश के कई लोगों ने दिया योगदान'

प्रधानमंत्री ने कहा कि चंद्रयान-3 की सफलता में हमारे वैज्ञानिकों के साथ-साथ अन्य क्षेत्रों ने भी अहम भूमिका निभाई है...देश के कई लोगों ने योगदान दिया है। उन्होंने कहा कि जब सभी के प्रयास एकजुट हुए तो सफलता भी मिली। यह चंद्रयान-3 की सबसे बड़ी सफलता है। मैं कामना करता हूं कि भविष्य में भी हमारा अंतरिक्ष क्षेत्र सामूहिक प्रयासों से इसी तरह अनगिनत सफलताएं हासिल करेगा।

चंद्रयान-3 ने चांद की सतह पर कब की लैंडिंग?

गौरतलब है कि भारत के चंद्रयान-3 ने 23 अगस्त को शाम 6.04 बजे चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर लैंडिंग की। इसी के साथ भारत दक्षिणी ध्रुव पर लैंडिंग करने वाला दुनया का पहला देश बन गया। चंद्रयान-3 को 14 जुलाई को आंध्र प्रदेश में स्थित श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर से लॉन्च किया गया था। अमेरिका, चीन और तत्कालीन सोवियत संघ के बाद चंद्रमा पर सॉफ्ट-लैंडिंग की तकनीक में महारत हासिल करने वाला भारत चौथा देश है।