'चीन ने भारत की दो हजार वर्ग किलोमीटर जमीन पर अवैध कब्जा कर रखा है...' कांग्रेस का बड़ा दावा
कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी का कहना है कि चीन ने एलएसी के साथ 2000 वर्ग किलोमीटर भारतीय क्षेत्र पर अवैध कब्जा कर रखा है जिसे खाली करने की जरूरत है। उन्होंने चीन के द्वारा अरुणाचल प्रदेश और अक्साई चीन पर अपना दावा करते हुए मानचित्र जारी करने पर कहा कि चीनी मानचित्र बेतुके और निरर्थक हैं। चीन का अरुणाचल प्रदेश पर कोई दावा नहीं बनता है।
By AgencyEdited By: Achyut KumarUpdated: Tue, 29 Aug 2023 11:04 AM (IST)
नई दिल्ली, एएनआई। चीन (China) ने एक मानचित्र जारी किया है, जिसमें उसने पूरे अरुणाचल प्रदेश (Arunachal Pradesh) और अक्साई चिन को अपना हिस्सा बताया है। चीन के इस दावे पर कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है।
'चीन का दावा बेतुका और निरर्थक है'
समाचार एजेंसी एएनआई से बात करते हुए मनीष तिवारी (Manish Tewari) ने कहा कि चीन का दावा बेतुका और निरर्थक है। यह भारत और चीन के सीमा विवाद के इतिहास से पता चलता है। आज हकीकत यह है कि चीन ने कई बिंदुओं पर वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) का उल्लंघन किया है।
'एलएसी के उल्लंघन पर गंभीरता से विचार करे सरकार'
कांग्रेस सांसद और पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि चीन के द्वारा एलएसी के उल्लंघन पर केंद्र सरकार को गंभीरता से विचार करना चाहिए। उसे आत्मनिरीक्षण करना चाहिए कि क्या इस माहौल में जी-20 शिखर सम्मेलन के दौरान शी जिनपिंग की मेजबानी करना भारत के स्वाभिमान के अनुरूप होगा, जब चीन ने एलएसी के साथ 2000 वर्ग किलोमीटर भारतीय क्षेत्र पर अवैध कब्जा कर रखा है।#WATCH | On China releasing new official map, laying territorial claim on the entire Arunachal Pradesh and Aksai Chin, Congress MP Manish Tewari says, "The absurdity & preposterousness of the Chinese claim is evidenced by the history of the Sino-Indian border dispute...Today, the… pic.twitter.com/YO1E4rjqTR
— ANI (@ANI) August 29, 2023
मनीष तिवारी ने कहा कि अवैध रूप से कब्जा किए स्थानों को खाली करने की जरूरत है... संक्षेप में कहें तो, चीनी मानचित्र बेतुके हैं। वे भारत-चीन सीमा विवाद के इतिहास से मेल नहीं खाते हैं। चीन का अरुणाचल प्रदेश पर कोई दावा नहीं बनता है।
चीन ने जारी किया नया मानचित्र
गौरतलब है कि चीन ने सोमवार को 2023 का मानचित्र जारी किया, जिसमें अरुणाचल प्रदेश और अक्साई चिन को उसने अपना हिस्सा बताया है। हालांकि, भारत ने कई बार उसके इस दावे का खंडन किया है। भारत का स्पष्ट रूप से मानना है कि अरुणाचल प्रदेश देश का अभिन्न अंग रहा है और हमेशा रहेगा। चीन ने ताइवान को भी अपना हिस्सा बताया है। इसके साथ ही उनसे दक्षिण चीन सागर भी अपना दावा ठोका है, जबकि वियतनाम, मलेशिया, फिलीपींस, ब्रुनेई, मलेशिया और ताइवान पर भी इस पर दावा करते हैं।