'जनगणना कब होगी? समय बताए सरकार', कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने लोकसभा में स्थगन नोटिस दिया
सांसद और लोकसभा में कांग्रेस के उपनेता गौरव गोगोई ने शुक्रवार को लोकसभा में नोटिस देकर कहा कि समय पर और सटीक जनगणना के आंकड़ों का नहीं होना सरकार के निर्णय लेने की क्षमता के लिए एक बड़ी चुनौती है। जनसंख्या जनसांख्यिकी साक्षरता दर गरीबी के स्तर और अन्य महत्वपूर्ण संकेतकों की स्पष्ट समझ के बिना लोगों की दबावपूर्ण जरूरतों को पूरा करना बेहद मुश्किल हो जाता है।
एएनआई, नई दिल्ली। सांसद और लोकसभा में कांग्रेस के उपनेता गौरव गोगोई ने शुक्रवार को लोकसभा में जनगणना के संचालन को प्राथमिकता देने और इसको जल्द पूरा करने के लिए सरकार को एक स्पष्ट समयसीमा बताने के लिए स्थगन प्रस्ताव नोटिस दिया।
गोगोई ने स्थगन प्रस्ताव नोटिस में कहा, "मैं सदन की कार्यवाही स्थगित करने के लिए एक प्रस्ताव लाने की अनुमति मांगने के अपने इरादे की सूचना देता हूं, इसका मकसद तत्काल महत्व के एक निश्चित मामले पर चर्चा करना है। जनगणना एक मौलिक अभ्यास है जो नीति निर्माण, संसाधन आवंटन और हमारे देश के सामाजिक-आर्थिक ताने-बाने को समझने के लिए महत्वपूर्ण डेटा प्रदान करता है।"
पिछली जनगणना 2011 में की गई थी
उन्होंने कहा कि पिछली जनगणना 2011 में की गई थी। सरकार के बार-बार आश्वासन के बावजूद भी अगली जनगणना शुरू करने में बेवजह की देरी हो रही है।आंकड़ों का नहीं होना सरकार के निर्णय लेने में बड़ी चुनौती
उन्होंने कहा कि समय पर और सटीक जनगणना के आंकड़ों का नहीं होना सरकार के निर्णय लेने की क्षमता के लिए एक बड़ी चुनौती है। जनसंख्या जनसांख्यिकी, साक्षरता दर, गरीबी के स्तर और अन्य महत्वपूर्ण संकेतकों की स्पष्ट समझ के बिना, लोगों की दबावपूर्ण जरूरतों को पूरा करना बेहद मुश्किल हो जाता है।
बिना नई तारीख बताए जनगणना को स्थगित कर दिया
कांग्रेस सांसद ने आगे कहा कि संयुक्त राष्ट्र जनसंख्या कोष के वैश्विक जनगणना ट्रैकर के मुताबिक, 150 देशों ने 2020 और 2021 में अपनी जनगणना गणना करने का कार्यक्रम बनाया था। इसमें चीन, बांग्लादेश, नेपाल आदि सहित 94 देशों ने कोरोना महामारी के दौरान अपनी जनगणना पूरी कर ली। वहीं, 52 देशों ने जनगणना को नई तारीख तय करने तक स्थगित कर दिया था। भारत उन तीन देशों में शामिल है, जिन्होंने बिना नई तारीख के जनगणना को स्थगित कर दिया है।"सरकार की निर्णय प्रक्रिया 2011 के आंकड़ों पर आधारित
सांसद गौरव गोगोई ने आगे कहा कि सरकार की निर्णय प्रक्रिया वर्तमान में 2011 के आंकड़ों पर आधारित है। यह भारत की जनसंख्या की वर्तमान जरूरतों का सटीक प्रतिनिधित्व नहीं है।ये भी पढ़ें: देशभर में पांच लाख से ज्यादा गांव खुले में शौच मुक्त घोषित, सुरंग ढहने के लिए जिम्मेदार लोगों पर की जाएगी कार्रवाई