बंगाल के बाद 'रेमल' ने पूर्वोत्तर के राज्यों में बरपाया कहर, खदान ढहने से कई लोगों की मौत; असम में बह गई सड़क
रेमल चक्रवात का कहर पश्चिम बंगाल के अलावा मिजोरमअसम और मणिपुर में भी देखने को मिल रहा है। आइजोल में पत्थर की खदान खिसकने की वजह से मलबे में दबकर कम से कम 10 लोगों की मौत हो गई। वहीं लगातार भारी बारिश के कारण मंगलवार को मणिपुर के कई इलाके जलमग्न हो गए जिससे सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ। असम में भी भारी बारिश से 1 की मौत हो गई।
पीटीआई/एएनआई, नई दिल्ली। Cyclone Remal: खतरनाक चक्रवाती तूफान रेमल रविवार रात पश्चिम बंगाल और बांग्लादेश में 135 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से पहुंचा। इस दौरान खतरनाक तूफान ने भारी तबाही मचाई। न केवल पश्चिम बंगाल बल्कि, उत्तर पूर्वी राज्यों में भी इसका कहर बरपा।
मिजोरम, मणिपुण और असम में भी भारी बारिश होने से कई लोगों की मौत हुई है। इस भंयकर तूफान से पश्चिम बंगाल में जहां 10 लोगों की जान चली गई तो वहीं मिजोरम के आइजोल में पत्थर की खदान खिसकने की वजह से मलबे में दबकर कम से कम 10 लोगों की मौत हो गई। इसके अलावा मंगलवार को असम में भारी बारिश और तेज हवाओं के कारण 17 वर्षीय एक लड़के की मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए।
बांग्लादेश: चक्रवात रेमल से 10 की मौत, 150,000 से अधिक घर क्षतिग्रस्त
रविवार रात बांग्लादेश के तटीय क्षेत्र में चक्रवाती तूफान रेमल के आने से 10 लोगों की मौत हो गई। इसके अलावा, तूफान के दौरान 150,457 घर क्षतिग्रस्त हो गए। बांग्लादेश के तटीय जिलों में कुल 9424 आश्रय स्थल खोले गए हैं और 800,000 से ज्यादा लोगों ने वहां शरण ली है।इसके अलावा, 52,146 पालतू जानवरों को भी वहां रखा गया है। बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना द्वारा जारी निर्देशों के अनुसार मंत्रालय द्वारा उठाए गए कदमों के कारण कोई बड़ा नुकसान नहीं हुआ। इस बीच, चक्रवात प्रभावित क्षेत्रों में लोगों को उपचार प्रदान करने के लिए कुल 1,471 चिकित्सा दल गठित किए गए हैं।
मिजोरम में खदान ढहने से 10 की मौत
चक्रवात रेमल के प्रभाव से लगातार बारिश के बीच मंगलवार सुबह मिजोरम के आइजोल जिले में एक पत्थर की खदान ढहने से 10 लोगों की मौत हो गई और कई अन्य लापता हो गए। यह घटना सुबह करीब छह बजे आइजोल शहर के दक्षिणी बाहरी इलाके में मेलथुम और हिलीमेन के बीच के इलाके में हुई।पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) अनिल शुक्ला ने बताया कि अब तक दस शव बरामद किए जा चुके हैं, जबकि कई अन्य अभी भी मलबे में फंसे हुए हैं। मलबे में फंसे लोगों को बचाने के लिए सभी प्रयास जारी हैं। हालांकि, भारी बारिश के कारण अभियान प्रभावित हो रहा है। एक अन्य पुलिस अधिकारी ने बताया कि मृतकों में सात स्थानीय हैं, जबकि तीन राज्य के बाहर के हैं।