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Crude Oil: रूस से भारत की तेल खरीद पर बोला जर्मनी, इससे हमारा कोई लेना-देना नहीं

भारत में जर्मनी के राजदूत फिलिप एकरमैन ने बताया कि इस सप्ताहांत में जर्मन चांसलर ओलाफ शोल्ज और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के बीच होने वाली वार्ता के एजेंडे में रूस-यूक्रेन संघर्ष और हिंद-प्रशांत क्षेत्र में चीन की बढ़ती आक्रामकता प्रमुख विषय होंगे। (फोटो एएनआई)

By AgencyEdited By: Anurag GuptaUpdated: Thu, 23 Feb 2023 02:38 AM (IST)
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Crude Oil: रूस से भारत की तेल खरीद पर बोला जर्मनी, इससे हमारा कोई लेना-देना नहीं
नई दिल्ली, पीटीआई। रूस से रियायती दर पर कच्चे तेल की खरीद की भारत की नीति पर जर्मनी का बयान सामने आया। बता दें कि भारत में जर्मनी के राजदूत फिलिप एकरमैन ने बुधवार को स्पष्ट किया कि जर्मनी का इससे कोई लेना-देना नहीं है। बता दें कि जर्मन चांसलर ओलाफ शोल्ज शनिवार को दो दिवसीय भारत यात्रा पर आने वाले हैं।

रूस-यूक्रेन संघर्ष पर होगी चर्चा

फिलिप एकरमैन ने बताया कि इस सप्ताहांत में जर्मन चांसलर ओलाफ शोल्ज और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के बीच होने वाली वार्ता के एजेंडे में रूस-यूक्रेन संघर्ष और हिंद-प्रशांत क्षेत्र में चीन की बढ़ती आक्रामकता प्रमुख विषय होंगे। उन्होंने कहा कि जर्मनी ने यूक्रेन में युद्ध को तत्काल समाप्त करने और वहां स्थायी शांति के लिए संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) के एक प्रस्ताव के समर्थन के लिए भारत से भी संपर्क किया है।

फिलिप एकरमैन नेने एक मीडिया ब्रीफिंग में बताया कि जर्मन चांसलर शोल्ज और प्रधानमंत्री मोदी के बीच मुलाकात में हम रूस-यूक्रेन युद्ध को एजेंडे में ऊपर देखते हैं। यह एजेंडे का एक महत्वपूर्ण हिस्सा होगा। उन्होंने कहा कि जर्मनी इन मुद्दों पर विचार करने में भारत को बहुत प्रभावशाली और मूल्यवान भागीदार मानता है।

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'जर्मनी का कोई लेना-देना नहीं'

यह पूछे जाने पर कि भारत अगर यूक्रेन पर यूएनजीए के आगामी प्रस्ताव का समर्थन नहीं करता है, तो क्या यह जर्मनी के लिए निराशाजनक होगा? उन्होंने कहा कि मतदान में हिस्सा लेना या फिर उससे दूर रहना किसी भी देश का संप्रभु फैसला है। इसी बीच भारत द्वारा रूस से रियायती दर पर कच्चे तेल की खरीद के बारे में पूछे जाने पर फिलिप एकरमैन ने कहा कि जर्मनी का इससे कोई लेना-देना नहीं है।

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