Gujarat Flood: गुजरात में बाढ़ से कितना हुआ नुकसान? गृह मंत्रालय की टीम लगाएगी पता; तेलंगाना में रेड अलर्ट जारी
Gujarat Flood गुजरात में भारी बारिश और बाढ़ से मची तबाही के बाद अब गृह मंत्रालय ने इसमें हुए कुल नुकसान का आकलन कराने का निर्णय लिया है। इसके लिए मंत्रालय ने एनआईडीएम के कार्यकारी निदेशक के नेतृत्व में एक टीम का गठन किया है जोकि जल्द ही राज्य का दौरा करेगी और इसका पता लगाएगी। इधर तेलंगाना में भी बारिश के लिए अलर्ट जारी किया गया है।
पीटीआई, नई दिल्ली। गृह मंत्रालय ने गुजरात में बारिश और बाढ़ से हुए नुकसान का आकलन करने के लिए एक अंतर-मंत्रालयी केंद्रीय टीम (आईएमसीटी) का गठन किया है। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन संस्थान (एनआईडीएम) के कार्यकारी निदेशक के नेतृत्व में यह टीम जल्द ही गुजरात के बाढ़ प्रभावित जिलों का दौरा करेगी।
मंत्रालय की ओर से रविवार को यह जानकारी दी गई। इसमें कहा गया कि पिछले सप्ताह गुजरात और राजस्थान पर बने गहरे दबाव के कारण गुजरात में 26 और 27 अगस्त को अत्यधिक भारी बारिश हुई। इससे राज्य में बाढ़ आ गई और काफी नुकसान हुआ। इस दौरान 30 से अधिक लोगों की मौत हो गई थी।
अन्य राज्यों में भी भेजी जाएगी टीम
मध्य प्रदेश और राजस्थान भी भारी वर्षा से प्रभावित हुए। इस वर्ष हिमाचल प्रदेश भी भारी वर्षा, बादल फटने और भूस्खलन की कई घटनाओं हुई हैं। बयान में कहा गया है कि गृह मंत्रालय अन्य राज्यों के वरिष्ठ अधिकारियों के संपर्क में है और यदि वे व्यापक नुकसान की सूचना देते हैं तो वहां भी आईएमसीटी को भेजा जाएगा।बयान में कहा गया है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार प्रभावित राज्यों को हरसंभव सहायता उपलब्ध कराने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। नागालैंड के लिए भी आईएमसीटी का गठन किया गया है, जो जल्द ही राज्य के प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करेगी। बयान में कहा गया है कि अतीत में आईएमसीटी राज्य सरकार से इस संबंध में अनुरोध मिलने के बाद ही आपदा प्रभावित राज्यों का दौरा करती थी।
वडोदरा में रिहायशी इलाकों से रेस्क्यू किए गए 24 मगरमच्छ
पिछले दिनों गुजरात के वडोदरा में हुई भारी बारिश के बीच रिहायशी इलाकों से कुल 24 मगरमच्छों को बचाया गया। भारी बारिश की वजह से विश्वामित्री नदी का जलस्तर खतरे के निशान से काफी बढ़ गया था और शहर के कई इलाकों में इसका पानी घुस गया था। वडोदरा रेंज के वन अधिकारी करण सिंह राजपूत ने बताया कि नदी में कुल 440 मगरमच्छ हैं।इनमें से कई अजवा बांध से पानी छोड़े जाने के कारण आई बाढ़ के चलते रिहायशी इलाकों में घुस गए थे। उन्होंने बताया कि 24 मगरमच्छों के अलावा हमने सांप, कोबरा, करीब 40 किलोग्राम वजन वाले पांच बड़े कछुए और एक सेह समेत 75 अन्य जीव-जंतुओं को भी बचाया।