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मुस्लिम SEBC और EWS कोटा आरक्षण पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई, जानें- क्या हैं मामले

सुप्रीम कोर्ट में आरक्षण को लेकर दो अहम मामलों में आज सुनवाई है। भारत में आरक्षण के मुद्दे को लेकर सालों से राजनीतिक होती आ रही है। इडब्लूएस कोटा और मुस्लिम (एसइबीसी) आरक्षण की वैधता को चुनौती देने वाले मामलों पर सुनवाई करेगी।

By TilakrajEdited By: Updated: Tue, 13 Sep 2022 08:14 AM (IST)
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मुस्लिम और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के आरक्षण सुनवाई
नई दिल्ली, आनलाइन डेस्‍क। क्‍या आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग और मुस्लिम (एसइबीसी) को आरक्षण मिलना चाहिए? भारत के मुख्य न्यायाधीश यूयू ललित की अध्यक्षता वाली पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (ईडब्लूएस) कोटा और मुस्लिम (एसइबीसी) आरक्षण की वैधता को चुनौती देने वाले मामलों पर 13 सितंबर यानि आज से सुनवाई करेगी।

आर्थिक रूप से कमजोर लोगों को आरक्षण...!

बता दें कि मुस्लिम एसईबीसी आरक्षण से संबंधित मामला 2005 की दीवानी अपील है, जो यह मुद्दा उठाता है कि क्या संविधान के अनुच्छेद 15 और 16 के तहत मुसलमानों को एक समुदाय के रूप में सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़ा घोषित किया जा सकता है? दूसरा मामला संविधान के 103वें संशोधन अधिनियम 2019 की वैधता से संबंधित है। इसमें आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों (ईडब्ल्यूएस) (डब्ल्यूपी (सी) संख्या 55/2019) के लिए आरक्षण का प्रावधान पेश किया गया। सुप्रीम कोर्ट को यह जांचना है कि क्‍या ये आरक्षण संविधान के दायरे में आता है या नहीं?

न्‍यायाधीशों की ये पीठ कर रही सुनवाई

चीफ जस्टिस यूयू ललित, जस्टिस दिनेश माहेश्वरी, जस्टिस एस रवींद्र भट, जस्टिस बेला एम त्रिवेदी, जस्टिस जेबी पारदीवाला की 5 जजों की पीठ ने मंगलवार को इन मामलों को अगले मंगलवार यानी 6 सितंबर की सुनवाई और पूरा करने के लिए समय सीमा निर्धारित करने का निर्णय लिया है।

6 सितंबर को सुनवाई की रूपरेखा तय होगी

भारत में आरक्षण के मुद्दे को लेकर सालों से राजनीतिक होती आ रही है। कई राजनीतिक दल आरक्षण को एक लालच के रूप के इस्‍तेमाल करते हैं। कई बार कोर्ट सरकार द्वारा दिए गए आरक्षण को असंवैधानिक भी करार दे चुकी है। अब देखना यह है कि आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग और मुस्लिम (एसइबीसी) को आरक्षण देने के मामले में कोर्ट क्‍या निर्देश देती है। इस मामले में संविधान पीठ आज से इस मामले में सुनवाई करेगी और 6 सितंबर को सुनवाई की रूपरेखा तय होगी।