वीजा नियम के साथ दवा निर्यात को सुगम बनाने पर भारत अमेरिका से करेगा बात, अगले दो दिनों में होगी India-US TPF की बैठक
यूएस-इंडिया ट्रेड पॉलिसी फोरम की बैठक में अमेरिकी वीजा के नियमों को आसान बनाने और वीजा मिलने में तेजी लाने के मसले पर भारत अमेरिका से बात करेगा। वाणिज्य व उद्योग मंत्री पीयूष गोयल व अमेरिका की व्यापार मंत्री कैथरीना ताई के नेतृत्व में अगले दो दिनों में फोरम की बैठक आयोजित होने जा रही है। ताई 12-14 जनवरी को भारत दौरे पर रहेंगी।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। India-US Trade Policy Forum: यूएस-इंडिया ट्रेड पॉलिसी फोरम की बैठक में अमेरिकी वीजा के नियमों को आसान बनाने और वीजा मिलने में तेजी लाने के मसले पर भारत अमेरिका से बात करेगा। अमेरिका के बाजार में भारतीय दवा व झींगा व अन्य समुद्री उत्पाद के निर्यात को आसान बनाने के लिए भी अमेरिका से बातचीत की जाएगी। अमेरिका में काम करने वाले कामगार की सामाजिक सुरक्षा को लेकर भी दोनों देशों के बीच चर्चा होगी।
12-14 जनवरी को भारत दौरे पर रहेंगी कैथरीना ताई
वाणिज्य व उद्योग मंत्री पीयूष गोयल व अमेरिका की व्यापार मंत्री कैथरीना ताई के नेतृत्व में अगले दो दिनों में फोरम की बैठक आयोजित होने जा रही है। ताई 12-14 जनवरी को भारत दौरे पर रहेंगी। वाणिज्य मंत्रालय के अधिकारियों के मुताबिक, अमेरिका जाने के लिए बिजनेस वीजा ई-1 व ई-2 लेने में काफी समय लग जाता है। भारत चाहता है कि इन दोनों श्रेणियों के वीजा कम से कम समय में जारी हो। आयात-निर्यात से जुड़े कारोबारियों को ई-1 वीजा की जरूरत होती है। अमेरिका में निवेश के आधार पर काम करने वालों को ई-2 वीजा की जरूरत होती है।
अमेरिका में दवा निर्यात को बढ़ाना चाहता है भारत
मंत्रालय के मुताबिक भारत अमेरिका में दवा निर्यात को बढ़ाना चाहता है, लेकिन इसमें तेजी लाने के लिए भारतीय दवा उत्पादों का अमेरिकी अधिकारियों की तरफ से निरीक्षण जरूरी है। भारत इस निरीक्षण को जल्दी कराने की मांग अमेरिका के समक्ष रखेगा। दवा निर्यात के साथ भारत अमेरिका में समुद्री उत्पाद के निर्यात में तेजी लाना चाहता है, लेकिन अमेरिका का कहना है कि भारत में झींगा व अन्य समुद्री उत्पादों के पकड़ने के दौरान जाल में कछुए भी फंस जाते हैं, इसलिए अमेरिका भारत से इन वस्तुओं का आयात नहीं करता है।यह भी पढ़ेंः अमेरिकी कांग्रेसी ने की हिंदू मंदिरों पर हमलों की निंदा, बोले- हमें किसी भी प्रकार का भय बर्दाश्त नहीं करना चाहिए