समुद्री सुरक्षा निगरानी में मजबूती से जुटी भारतीय नौसेना, नेवी प्रमुख ने कहा- नहीं होने देंगे अस्थिरता का माहौल
Arab Sagarनौसेना प्रमुख एडमिरल आर हरि कुमार ने गुरुवार को कहा कि भारतीय नौसेना ने भारत के समुद्री हितों की रक्षा के लिए पश्चिमी तट पर अपनी संपत्तियां तैनात की हैं और वह किसी भी तरह की अस्थिरताकी अनुमति नहीं देगी।अरब सागर और लाल सागर क्षेत्र की स्थिति पर नौसेना प्रमुख ने कहा कि भारतीय संपत्तियां पहले से ही दो समुद्री डकैती रोधी अभियानों के लिए क्षेत्र में तैनात हैं।
पीटीआई, नई दिल्ली। नौसेना प्रमुख एडमिरल आर हरि कुमार ने गुरुवार को कहा कि भारतीय नौसेना ने भारत के समुद्री हितों की रक्षा के लिए पश्चिमी तट पर अपनी संपत्तियां तैनात की हैं और वह किसी भी तरह की "अस्थिरता" की अनुमति नहीं देगी।
अरब सागर और लाल सागर क्षेत्र की स्थिति पर नौसेना प्रमुख ने कहा कि भारतीय संपत्तियां पहले से ही दो समुद्री डकैती रोधी अभियानों के लिए क्षेत्र में तैनात हैं। वह यहां ग्लोबल आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस शिखर सम्मेलन के चौथे संस्करण के मौके पर मीडिया से बात कर रहे थे।
समुद्री क्षेत्र में सुरक्षित हैं हमारे राष्ट्रीय हित
नौसेना प्रमुख ने कहा, "हम यह सुनिश्चित करने के लिए तैनात हैं कि समुद्री क्षेत्र में हमारे राष्ट्रीय हित सुरक्षित हैं। हमारी अपनी तैनाती है। हमारे पास वहां दो समुद्री डकैती विरोधी अभियान और व्यापारी शिपिंग के लिए ड्रोन विरोधी समर्थन है।"
यह टिप्पणी इजराइल-हमास संघर्ष की पृष्ठभूमि में हौथी आतंकवादियों द्वारा लाल सागर में विभिन्न मालवाहक जहाजों को निशाना बनाने पर बढ़ती वैश्विक चिंताओं के बीच आई है।
'जलदस्यु विरोधी अभियान 2008 से जारी'
नौसेना प्रमुख ने कहा, “ जलदस्यु विरोधी अभियान 2008 से जारी है हमने तब से लगातार 106 से अधिक जहाजों को तैनात किया है। समुद्री डकैती रोधी अभियान से निपटने के लिए लगातार पोतों की तैनाती की जाती है। युद्धपोतों की तैनाती समुद्री डाकुओं को रोकती है। पिछले साल हमने सोचा की जलदस्युता करीब करीब खत्म हो चुकी है, लेकिन हल में एक भारतीय जहाज और भारतीय चालक दल का अपहरण कर लिया गया।”
उन्होंने कहा, "हमारा संदेश यह है कि हम किसी भी तरह की अस्थिरता या असुरक्षा नहीं होने देंगे।"