काम की खबर: बेटी होने पर किस राज्य में सरकार देती है कितने रुपये, क्या इस योजना के बारे में जानते हैं आप?
देश में बेटियों के अनुपात को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकारें अपने-अपने स्तर पर लगातार काम कर रही हैं। हर राज्य की सरकार बेटियों को आर्थिक मदद और उनके सश्क्त बनाने के लिए कई तरह की योजनाएं चला रही हैं और उनके माता-पिता को पैसा दे रही हैं। इस खबर में जानिए कि कौन सा राज्य बेटियों के लिए कौन सी योजनाएं चला रही हैं।
ऑनलाइन डेस्क, नई दिल्ली। बेटियों के जन्म को प्रोत्साहित करने और उन्हें समाज में शिक्षित और सश्क्त बनाने के लिए देश में कई राज्यों की सरकार तरह-तरह की योजनाएं चलाती हैं। इन योजनाओं का लक्ष्य समाज में लड़कियों की संख्या बढ़ाना और उनके भविष्य की जरूरतों को पूरा करने के लिए आर्थिक मदद मुहैया कराना है।
इस खबर में आज हम जानेंगे कि लड़कियों को बढ़ावा देने के लिए किस राज्य की सरकार कौन सी योजनाएं चला रही है और इन योजनाओं का लाभ लोगों को कैसे मिल सकता है?
यूपी भाग्य लक्ष्मी योजना
उत्तर प्रदेश की योगी सरकार राज्य में बेटियों के लिए कई तरह की योजनाओं को चलाती है और इन्हीं योजनाओं में से एक है यूपी भाग्य लक्ष्मी योजना (up bhagya laxmi yojana)। इस योजना के तहत उत्तर प्रदेश की सरकार बच्ची के जन्म पर माता पिता को 50 हजार रुपये का बॉन्ड देती है। वहीं, 21 साल बाद ये बॉन्ड मैच्योर होकर 2 लाख रुपये हो जाता है। इस योजना का उद्देश्य गरीब बच्चियों की पढ़ाई और शादी में आर्थिक मदद और भ्रूण हत्या को रोकना है।कैसे करें आवेदन?
- सबसे पहले महिला एवं बाल विकास विभाग की साइट https://mahilakalyan.up.nic.in/ पर जाएं।
- यहां भाग्य लक्ष्मी योजना के विकल्प में जाकर फॉर्म डाउनलोड कर लें।
- अब इसका प्रिंटआउट निकलवाकर इसे भर दें।
- आवश्यक डॉक्यूमेंट्स अटैच करने के बाद आंगनबाड़ी केंद्र या महिला कल्याण विभाग के ऑफिस जाकर जमा कर दें।
मुख्यमंत्री राजश्री योजना
राजस्थान की सरकार बेटियों के लिए कई तरह की योजनाएं चलाती है जिससे उन्हें आर्थिक मदद मिल सके। राजस्थान सरकार मुख्यमंत्री राजश्री योजना (Mukhyamantri Rajshree Yojana) के तहत राज्य की बेटियों को 6 किस्तों में 50,000 रुपये देगी। इस योजना के तहत बच्ची के जन्म के समय 2500 रुपये दिए जाते हैं। इसके बाद एक साल पूरे होने पर फिर से 2,500 रुपये और पहली क्लास में एडमिशन लेने पर चार हजार रुपये मिलते हैं। जब बच्ची क्लास 6 में पहुंचती है तो पांच हजार, 10वीं में पहुंचने पर 11 हजार और 12वीं पास करने के बाद 25 हजार रुपये खाते में आते हैं।
कैसे कर सकते हैं आवेदन?
इस योजना का लाभ सिर्फ राजस्थान के मूल निवासी ही उठा सकते हैं। जब भी किसी के घर बेटी होती है तो वो ग्राम पंचायत या फिर सरकारी अस्पताल में इसकी जानकारी दे सकते हैं। आपको मुख्यमंत्री राजश्री योजना का आवेदन पत्र लेना होता है उसमें तमाम तरह की जानकारी भरनी होती है। आवेदन के साथ आपको जरूरी दस्तावेज भी लगाने होंगे, अगर सब कुछ ठीक पाया गया तो आपके खाते में पहली किस्त आ जाएगी।किसी भी तरह की गलत जानकारी देने पर आपका आवेदन रिजेक्ट हो सकता है, इसीलिए कोशिश करें कि सभी दस्तावेज सही हों और किसी भी तरह की कोई गलती न हो।
मुख्यमंत्री कन्या सुरक्षा योजना
बिहार की राज्य सरकार बच्चियों के लिए कई कल्याणकारी योजनाएं चलाती है। इन्हीं स्कीम में से एक मुख्यमंत्री कन्या सुरक्षा योजना (mukhyamantri kanya suraksha yojana) है। जिसके तहत बेटी का जन्म होने पर उसके नाम पर सूबे की सरकार यूको और आईडीबीआई बैंक में 2 हजार रुपये जमा करती है। जब बच्ची 18 साल की हो जाती है तो उसके मेच्योरिटी का पैसा उसके बैंक अकाउंट में ट्रांसफर कर दिया जाता है। लेकिन अगर 18 साल से पहले ही बच्ची की मौत हो जाती है तो उस स्थित में ये पैसा महिला विकास निगम के पास चला जाता है। दरअसल, मुख्यमंत्री कन्या सुरक्षा योजना का उद्देश्य राज्य में हो रहे भ्रूण हत्या को रहना था। साथ ही इस योजना के से बच्चियों के जन्मदर में बढ़ोत्तरी भी देखने को मिली है। इस स्कीम की खास बात यह भी है कि एक परिवार से अधिकतम दो बच्चियां इसके लिए पात्र हैं।कैसे करें आवेदन?
- मुख्यमंत्री कन्या सुरक्षा योजना का आवेदन ऑनलाइन नहीं बल्कि ऑफलाइन होता है। इसके लिए आपको सबसे पहले आंगनबाड़ी केंद्र जाकर स्कीम का फॉर्म मांगना हो।
- इसे भरकर मांगे गए दस्तावेज संलग्न कर दें।
- अब इसे वहीं पर जमा कर दें।
- इसके बाद आपके आवेदन की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी।
‘आपकी बेटी हमारी बेटी’ योजना
हरियाणा सरकार भी राज्य में महिलाओं बच्चियों के लिए कई तरह की योजनाएं चलाती है। आपकी बेटी हमारी बेटी योजना (aapki beti hamari beti scheme) के तहत हरियाणा सरकार बेटी के जन्म के समय 21,000 की आर्थिक मदद देती है। हरियाणा सरकार ने 2015 में इस योजना की शुरुआत की थी। इस योजना का उद्देश्य भ्रूण हत्या को रोकना है।कैसे कर सकते हैं आवेदन?
- इस स्कीम के तहत आवेदन करने के लिए आपको आधिकारिक वेबसाइट wcdhry.gov.in पर जाना होगा। यहां आपको Schemes के ऑप्शन में जाना होगा। इसमें आपको Schemes For Children पर क्लिक करना होगा।
- फिर आपको ABHB (Apki Beti Hamari Beti) पर क्लिक करना होगा या फिर नीचे एक लिंक दिया होगा, उस पर क्लिक करके फॉर्म को डाउनलोड करना होगा।
- इस फॉर्म को भरकर आपको बच्ची के जन्म प्रमाण पत्र, टीकाकरण कार्ड, निवास प्रमाण पत्र, बीपीएल राशन कार्ड, आय प्रमाण पत्र, जाति प्रमाण पत्र, माता-पिता का आधार नंबर आदि सभी जरूरी जानकारी भरने और डॉक्यूमेंट्स को अटैच करने के बाद इसे नजदीकी आंगनबाड़ी केंद्र में जमा करना होगा।
- इसके बाद आपके द्वारा दी गई जानकारी का वैरिफिकेशन किया जाएगा। कुछ समय बाद आपको इस स्कीम का लाभ मिल जाएगा।
माझी कन्या भाग्यश्री योजना
महाराष्ट्र सरकार साल 2016 में माझी कन्या भाग्यश्री योजना (majhi kanya bhagyashree yojana) की शुरुआत की थी। इस योजना का मकसद लड़कियों की संख्या बढ़ाना और उनके भविष्य की जरूरतों को पूरा करने के लिए आर्थिक सहायता मुहैया कराना है। इस योजना के तहत महाराष्ट्र सरकार बेटी के जन्म पर कुछ शर्तों को पूरा करने पर 50 हजार रुपये देती है। इस योजना के तहत दूसरी बेटी होने पर भी सरकार पैसा देती है। माझी कन्या भाग्यश्री योजना का फायदा सिर्फ महाराष्ट्र का स्थाई निवासी ही उठा सकता है।ये शर्तें पूरे करने पर मिलते हैं पैसे
इस योजना के अंतर्गत राज्य के जो माता-पिता एक लड़की के जन्म होने के बाद 1 साल के अंदर नसबंदी करवाते हैं तो उन्हें सरकार द्वारा 50,000 रूपये की धनराशि बैंक में बालिका के नाम पर जमा की जाती है। इस योजना के तहत अगर माता-पिता ने दूसरी बेटी के जन्म के बाद परिवार नियोजन अपनाया है तो नसबंदी कराने के बाद दोनों लड़कियों के नाम 25000-25000 रुपये बैंक में जमा होंगे। योजना के अंतर्गत लड़की को ब्याज का पैसा नहीं मिलेगा। जब लड़की 18 साल की पूरी हो जाएगी तो वह लड़की पूरी राशी प्राप्त करने की हकदार होगी। महाराष्ट्र माझी कन्या भाग्यश्री स्कीम का पूरा लाभ प्राप्त करने के लिए लड़की कम से कम 10 वीं पास होनी चाहिए और अविवाहित होनी चाहिए।कैसे कर सकते हैं आवेदन?
माझी कन्या भाग्याश्री योजना में रजिस्ट्रेशन करने के लिए आपको महाराष्ट्र सरकार की आधिकारिक वेबसाइट से फॉर्म डाउनलोड करना होगा। फिर यह फॉर्म पूरा भरकर जरूरी कागजातों के साथ महिला एवं बाल विकास विभाग के कार्यालय में जमा करा देना है। जांच-पड़ताल के बाद आपका आवेदन सही पाए जाने पर सरकार आपको पैसा दे देगी।हमारी कन्या हमारा अभिमान
उत्तराखंड सरकार ने राज्य में बच्चियों की सामाजिक और आर्थिक स्थिति में सुधार लाने के लिए हमारी कन्या हमारा अभिमान योजना शुरू की थी। पहले इस योजना का नाम नंदा देवी कन्या योजना था। साल 2014 से कन्या योजना के नाम में बदलाव किया गया है। कन्या भ्रूण हत्या रोकने के उद्देश्य से संचालित हमारी बेटी हमारा अभिमान योजना में हर परिवार की दो पुत्रियों को इसका लाभ मिलता है।- कन्या शिशु के जन्म के समय 15,000 रुपये की एकमुश्त मदद।
- कन्या के जन्म से एक साल के अंदर किया जा सकता है योजना का लाभ लेने के लिए आवेदन।
- कन्या शिशु के जन्म के वक्त यह रकम उसके अभिभावक को अकाउंट में डाले जाने वाले चेक के माध्यम से मिलती है।
- पहली किश्त के रूप में पांच हजार का चेक अभिभावकों को दिया जाता है।
- दस हजार रुपये की धनराशि दस साल के लिए एफडी के रूप में लीड बैंक के माध्यम से कन्या, उसके अभिभावकों के संयुक्त खाते में जमा कराई जाती है।
लाड़ली लक्ष्मी योजना
मध्य प्रदेश की सरकार राज्य की बेटियों को सश्क्त बनाने के लिए कई तरह की योजनाएं चलाती है। इन योजनाओं में से एक है लाड़ली लक्ष्मी योजना। इस योजना के जरिए राज्य की बेटियों को आर्थिक सहायता उपलब्ध करवाई जाती है। बता दें कि साल 2007 में सीएम शिवराज सिंह ने योजना का शुभारंभ किया था। लाड़ली लक्ष्मी योजना में रजिस्ट्रेशन के बाद बेटियों को अलग-अलग किस्तों में सरकार 1 लाख 43 हजार रुपये देती है। कक्षा 6 में प्रवेश करने पर 2 हजार रुपये, 9वीं में प्रवेश पर 4 हजार रुपये, 11वीं और 12वीं में प्रवेश पर 6-6 हजार रुपये की छात्रवृत्ति दी जाती है। 12वीं के बाद ग्रेजुएशन या व्यावसायिक पाठ्यक्रम में प्रवेश लेने पर 25 हजार रुपये दो अलग-अलग किस्तों में दिए जाते हैं। इतना ही नहीं, बेटी अगर 21 वर्ष की हो जाती है और उसकी शादी नहीं होती है सरकार की ओर से एकमुश्त एक लाख रुपये दिया जाता है।क्या हैं इस योजना की शर्तें?
- बेटी का जन्म जनवरी 2006 या उसके बाद हुआ हो।
- बेटी के माता-पिता मध्य प्रदेश के मूल निवासी हो।
- माता-पिता की दो या उससे कम संतान हो।
- द्वितीय संतान के जन्म पर परिवार नियोजन अपनाया गया हो।
- माता-पिता आयकर दाता न हों।
- अगर प्रथम प्रसव में बेटी का जन्म 01 अप्रैल 2008 या उसके बाद हुआ है, ऐसे माता-पिता को बगैर परिवार नियोजन के लाभ मिलेगा।