...आखिर क्यों मचा है लक्षद्वीप में सियासी बवाल, स्थानीय लोगों को सता रहा ये डर
Lakshadweep Crisis गुजरात के पूर्व मंत्री प्रफुल्ल पटेल ने बताया कि यहां के तमाम जन प्रतिनिधियों ने लोगों को गरीब रखकर ही अपनी राजनीति चमकाई। खुद का घर भरते रहे जनता के लिए कुछ भी काम नहीं किया।
By Sanjay PokhriyalEdited By: Updated: Wed, 09 Jun 2021 09:39 AM (IST)
नई दिल्ली, जेएनएन। Lakshadweep Crisis अरब सागर में बसे भारत के एक हिस्से लक्षद्वीप में पिछले कुछ दिनों से सियासी बवाल मचा है। इसकी बड़ी वजह वहां के प्रशासक प्रफुल्ल पटेल द्वारा लाए गए नए नियम हैं। इन कानूनों को लेकर जहां लक्षद्वीप के लोगों को कई आशंकाएं है तो इनके खिलाफ लोगों का गुस्सा भी बढ़ने लगा है। तमाम विपक्षी राजनीतिक दल भी इन कानूनों को लेकर केंद्र की मोदी सरकार को निशाना बना रहे हैं। विपक्ष लक्षद्वीप के प्रशासक को हटाने की मांग कर रहा है। इसके लिए विपक्षी नेताओं ने राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द को पत्र भी लिखा है। विरोधी इसे लक्षद्वीप की संस्कृति में अनावश्यक सरकारी दखल और आरएसएस के एजेंडे को लागू करने का आरोप लगा रहे हैं।
प्रमुख द्वीप: अगाती और मिनिकॉय
- रणनीतिक तौर पर भारत के लिए बेहद महत्वपूर्ण
- यह क्षेत्र सामाजिक और सांस्कृतिक तौर पर केरल के नजदीक है
भारत का सबसे नजदीकी तटीय इलाका केरल का कोच्चि है। यहां से अगाती के लिए हवाई जहाज उड़ान भरते हैं। एकमात्र एयरपोर्ट अगाती में ही है, यहां से राजधानी कवरत्ती के लिए हेलिकाप्टर सेवा है। लक्षद्वीप का सबसे नजदीकी द्वीप कोच्चि से करीब 240 किलोमीटर की दूरी पर है। लक्षद्वीप की मूल भाषा मलयालम है।
भारत का मालदीवसुंदर, मनोहारी और सूरज से चमकते समुद्र तटों के चलते इसे भारत का मालदीव भी कहा जाता है।केंद्र बदलना चाहती है स्थितियांमोदी सरकार पिछड़ेपन का दंश झेल रहे लक्षद्वीप की स्थिति को बदलना चाहती है। सरकार की कोशिश है कि यहां ना केवल पर्यटन बढ़े बल्कि लोगों को रोजगार मिले और समृद्धि आए। प्रशासक ने विकास का जो रोडमैप तैयार किया है, उसमें महिलाओं, गरीब और युवा सबके लिए गुंजाइश है।
क्या हैं नए नियमलक्षद्वीप विकास प्राधिकरण विनियमन-2021: इसके तहत प्रशासक को विकास के उद्देश्य से किसी भी संपत्ति को जब्त करने और उसके मालिकों को स्थानांतरित करने या हटाने का अधिकार होगा।प्रिवेंशन ऑफ एंटी सोशल एक्टिविटीज (गुंडा एक्ट) एक्ट: इसके तहत सरकार किसी भी व्यक्ति को ना केवल गिरफ्तार कर सकती है बल्कि उसे एक वर्ष तक हिरासत में भी रख सकती है।
तीसरा नियम पंचायत चुनाव अधिसूचना से जुड़ा: इसके तहत दो बच्चों से ज्यादा वालों को पंचायत चुनाव की उम्मीदवारी से बाहर किया जा सकता है।लक्षद्वीप पशु संरक्षण विनियमन: इसके तहत स्कूलों में मांसाहारी भोजन परोसने पर प्रतिबंध और गोमांस की बिक्री, खरीद या खपत पर रोक का प्रस्ताव है।शराब पर प्रतिबंध हटाना: अभी इस द्वीप समूह के केवल बंगरम द्वीप में ही शराब मिलती है, मगर वहां कोई स्थानीय आबादी नहीं है। अब द्वीप के कई इलाकों से शराब पर से प्रतिबंध हटाया गया है।
प्रशासक बोले, आरोप पूरी तरह निराधार
- प्रफुल्ल पटेल का तर्क है कि देश के ज्यादातर राज्यों में गोहत्या और गोमांस की बिक्री पर प्रतिबंध है, अगर ऐसे में लक्षद्वीप में भी यही होता है तो बुराई क्या है।
- पंचायत चुनाव नियमों में बदलाव को लेकर अभी सिर्फ ड्राμट नोटिफिकेशन जारी हुआ है। नए नियमों के तहत पंचायत चुनावों में कुल सीटों का पचास फीसद महिलाओं के लिए आरक्षित करने का प्रावधान है।
- दो बच्चों से अधिक पर उम्मीदवारों को अयोग्य ठहराया जाने वाला प्रावधान गुजरात सहित देश के कई राज्यों में पहले से लागू है।
- दशकों तक शिक्षा, स्वास्थ्य और मत्स्य पालन के अधिकार अपने पास रखकर भी पंचायत सदस्य कुछ कर नहीं पाए, ऐसे में नियमों में फेरबदल जरूरी है।
- गुंडा एक्ट अपराधी तत्वों पर अंकुश लगाने के लिए आवश्यक है। जो लोग ये कहते हैं कि लक्षद्वीप में अपराध नहीं है, वो गलतबयानी कर रहे हैं।