भारत ने कहा PM मोदी की बांग्लादेश पर बात हुई, अमेरिका ने नहीं किया जिक्र; अब विदेश मंत्रालय ने बताई वजह
अमेरिका की प्रेस रिलीज में बांग्लादेश का जिक्र नहीं होने पर भारतीय विदेश मंत्रालय ने अपनी प्रतिक्रिया दी। जबकि पीएम मोदी और बाइडन के बीच हुई बातचीत के बाद जारी भारतीय प्रेस विज्ञप्ति में बांग्लादेश मुद्दे पर दोनों नेताओं के बीच बात होने का जिक्र था। विदेश मंत्रालय ने कहा कि प्रेस विज्ञप्ति में जिक्र न होने का मतलब यह नहीं है कि इस मुद्दे पर बात नहीं हुई।
एएनआई, नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन के बीच 26 अगस्त को फोन पर बातचीत हुई थी। बाद में दोनों देशों ने बयान जारी किए। भारत ने बाइडन के साथ बातचीत में बांग्लादेश का मुद्दा उठाने की बात कही। मगर अमेरिका ने अपनी प्रेस विज्ञप्ति में इसका जिक्र तक नहीं किया। दुनियाभर की मीडिया में इसकी चर्चा खूब रही। अब विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने जवाब दिया है।
बातचीत का व्यापक विवरण नहीं होती प्रेस विज्ञप्तियां
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, " नेताओं के बीच इस तरह की बातचीत के बाद जारी की गई प्रेस विज्ञप्तियां संयुक्त बयान की तरह नहीं होती हैं, जहां हर शब्द पर बातचीत की जाती है और आपसी सहमति होती है। दूसरी बात यह है कि इस तरह की प्रेस विज्ञप्तियां ऐसी बातचीत का व्यापक विवरण नहीं होती हैं।यह भी पढ़ें: 'मैं सिर झुकाकर माफी मांगता हूं', छत्रपति शिवाजी की प्रतिमा गिरने पर बोले पीएम मोदी
जायसवाल ने कहा कि दो पक्षों के लिए अपने-अपने विवरण में एक ही बातचीत के विभिन्न पहलुओं पर जोर देना असामान्य नहीं है। एक प्रेस विज्ञप्ति के किसी पहलू का न होना इस बात का सबूत नहीं है कि बातचीत में वह मौजूद ही नहीं है।
हमारी प्रेस विज्ञप्ति विश्वसनीय रिकॉर्ड
मैं प्रधानमंत्री और अमेरिकी राष्ट्रपति के बीच बातचीत की सामग्री से अच्छी तरह वाकिफ हूं और मैं आपको बता सकता हूं कि हमारी प्रेस विज्ञप्ति बातचीत में जो कुछ भी हुआ उसका सटीक और विश्वसनीय रिकॉर्ड है। बांग्लादेश के मुद्दे पर दोनों नेताओं ने काफी चर्चा की।सीएनएन की रिपोर्ट भ्रामक
बांग्लादेश में बाढ़ से संबंधित रिपोर्टों पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा, " हमने बांग्लादेश में बाढ़ की स्थिति पर सीएनएन की रिपोर्ट देखी है। यह भ्रामक है। इसमें बाढ़ के लिए भारत को जिम्मेदार बताया गया। यह तथ्यात्मक रूप से सही नहीं है।
रिपोर्ट में भारत सरकार द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति में उल्लिखित तथ्यों की अनदेखी की गई। उन्होंने यह भी नजरअंदाज कर दिया है कि जल संसाधन प्रबंधन के लिए मौजूदा संयुक्त तंत्र के माध्यम से दोनों देशों के बीच डेटा और महत्वपूर्ण सूचनाओं का नियमित और समय पर आदान-प्रदान होता है।यह भी पढ़ें: मोहन भागवत को मिली जेड प्लस से तगड़ी सिक्योरिटी, पढ़िए कितनी तरह की होती हैं Z+ कैटेगरी की सुरक्षा?
#WATCH | On the press release following a telephonic conversation between PM Modi and US President Biden, MEA spokesperson Randhir Jaiswal says, "...Firstly, press releases issued after such conversations between leaders are not like joint statements where every word is… pic.twitter.com/0Nv7a31hV0
— ANI (@ANI) August 30, 2024