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चाइनीज फंडिंग मामले में NewsClick के संस्थापक ने खटखटाया SC का दरवाजा, कपिल सिब्बल ने गिरफ्तारी को बताया गलत

NewsClick Case प्रबीर पुरकायस्थ ने राष्ट्र-विरोधी प्रचार को बढ़ावा देने के लिए कथित चीनी फंडिंग को लेकर यूएपीए के तहत अपनी गिरफ्तारी और हिरासत को चुनौती दी है। इस पर उनके वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि 75 साल के पत्रकार को बिना नोटिस गिरफ्तार किया गया है जो सही नहीं। सिब्बल ने कहा कि HC ने राहत नहीं दी और हम सुप्रीम कोर्ट से जल्द सुनवाई का अनुरोध करते हैं।

By AgencyEdited By: Mahen KhannaUpdated: Mon, 16 Oct 2023 11:52 AM (IST)
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NewsClick founder in SC सुप्रीम कोर्ट पहुंचे प्रबीर पुरकायस्थ।
एजेंसी, नई दिल्ली। NewsClick founder in SC राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों के मामले में फंसे वेबसाइट 'न्यूजक्लिक' के संस्थापक प्रबीर पुरकायस्थ ने आज सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने प्रबीर पुरकायस्थ और अमित चक्रवर्ती की गिरफ्तारी का मामला सुप्रीम कोर्ट में रखा।

UAPA के तहत गिरफ्तारी को चुनौती दी 

प्रबीर पुरकायस्थ (NewsClick Case) ने 'राष्ट्र-विरोधी' प्रचार को बढ़ावा देने के लिए कथित चीनी फंडिंग को लेकर UAPA के तहत अपनी गिरफ्तारी और हिरासत को चुनौती दी है। इस पर उनके वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि 75 साल के पत्रकार को बिना नोटिस गिरफ्तार किया गया है, जो सही नहीं।

संपादक की ओर से पेश वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि HC ने राहत नहीं दी और हम सुप्रीम कोर्ट से जल्द सुनवाई का अनुरोध करते हैं।

यह भी पढ़ें- NewsClick Row: दिल्ली HC ने खारिज की न्यूजक्लिक के संस्थापक की याचिका, जारी रहेगी रिमांड; चीन से फंडिंग का है आरोप

CJI ने कहा- विचार करेंगे

सिब्बल की अपील के बाद CJI ने कहा कि वह इस पर विचार करेंगे। सुप्रीम कोर्ट ने सिब्बल से मामले के कागजात देने को कहा और कहा कि वह मामले को सूचीबद्ध करने पर जल्द फैसला करेगा।

यह हैं आरोप

बता दें कि दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने न्यूजक्लिक के संस्थापक पर आरोप लगाया था कि वो वैश्विक और घरेलू स्तर पर कहानी रचते हुए कश्मीर और अरुणाचल प्रदेश को विवादित क्षेत्र बता रहे थे। साथ ही उनपर भारत के नक्शे के साथ छेड़छाड़ कर एकता और क्षेत्रीय अखंडता पर प्रहार करने का भी आरोप है।

पुलिस ने यह भी कहा कि न्यूज वेबसाइट न्यूजक्लिक के संपादक प्रबीर पुरकायस्थ और उनके साथी जोसेफ राज, अनूप चक्रवर्ती (अमित चक्रवर्ती के भाई) , बप्पादित्या सिन्हा (वर्चुनेट सिस्टम्स प्राइवेट लिमिटेड के प्रमोटर) द्वारा गैर कानूनी रूप से धन का गबन करते थे।

यह भी आरोप लगाया गया कि इस धन को तीस्ता सीतलवाड़ के साथी गौतम नवलखा, जावेद आनंद, तमारा, जिब्रान, उर्मिलेश, अरात्रिका हलदर, परंजय गुहा ठाकुरता, त्रिना शंकर और पत्रकार अभिसार शर्मा के बीच बांटा गया था।