28 प्रतिशत GST से ऑनलाइन गेमिंग का कारोबार हो सकता है प्रभावित, Online Gaming उद्योग ने जताई नाराजगी
ऑनलाइन गेमिंग कंपनियां सरकार से जीएसटी की दर 18 प्रतिशत रखने की मांग कर रहे थे। पिछले साल भारत में ऑनलाइन गेमिंग का कारोबार 2.8 अरब डॉलर का था जो वर्ष 2027 तक 8.7 अरब डॉलर के स्तर को छू सकता है। सरकार को पिछले वित्त वर्ष 2022-23 में ऑनलाइन गेमिंग से 1700 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ था।
By Jagran NewsEdited By: Piyush KumarUpdated: Wed, 12 Jul 2023 09:16 PM (IST)
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। ऑनलाइन गेमिंग पर 28 प्रतिशत जीएसटी लगाकर सरकार को भले ही अपने राजस्व में बढ़ोतरी की उम्मीद दिख रही है, लेकिन ऑनलाइन गेमिंग इंडस्ट्री को इस फैसले से उनके कारोबार में हो रही बढ़ोतरी पर विपरीत असर पड़ने की आशंका है। गेमिंग इंडस्ट्री का यह भी कहना है कि गत मंगलवार को जीएसटी काउंसिल की बैठक में लिए गए इस फैसले से अवैध रूप से विदेश से चलाए जा रहे ऑनलाइन गेमिंग प्लेटफार्म को फायदा मिलेगा।
ऑनलाइन गेमिंग का कारोबार छू सकता है 8.7 अरब डॉलर
ऑनलाइन गेमिंग कंपनियां सरकार से जीएसटी की दर 18 प्रतिशत रखने की मांग कर रहे थे। पिछले साल भारत में ऑनलाइन गेमिंग का कारोबार 2.8 अरब डॉलर का था जो वर्ष 2027 तक 8.7 अरब डॉलर के स्तर को छू सकता है। सरकार को पिछले वित्त वर्ष 2022-23 में ऑनलाइन गेमिंग से 1700 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ था। 28 प्रतिशत जीएसटी वसूलने के फैसले के बाद इस राजस्व में पांच गुना से अधिक बढ़ोतरी की संभावना है।
28 प्रतिशत जीएसटी लगाने के फैसला अतार्किक:ऑल इंडिया गेमिंग फेडरेशन
ऑल इंडिया गेमिंग फेडरेशन ने ऑनलाइन गेमिंग पर 28 प्रतिशत जीएसटी लगाने के फैसले को पूरी तरह से अतार्किक व विकास के रास्ते का बाधक बताया है। इस फैसले से गेम ऑफ स्किल व गेम ऑफ चांस में कोई फर्क नहीं रह जाएगा क्योंकि दोनों पर समान दर से जीएसटी लगाया गया है। फेडरेशन का मानना है कि इस फैसले से पूरी गेमिंग इंडस्ट्री को नुकसान होगा और इससे सैकड़ों लोगों की नौकरियों पर असर पड़ेगा।नए निवेश के अवसर के लिए रुकावटें पैदा होंगी: सिद्धार्थ शर्मा
ऑनलाइन रियल मनी गेमिंग ग्रुप (A23) के स्ट्रेटेजी हेड सिद्धार्थ शर्मा ने बताया कि 28 प्रतिशत जीएसटी लगाने के फैसले से गेमिंग इंडस्ट्री में हो रहे नए इनोवेशन, नए निवेश और कारोबार के नए अवसर के लिए रुकावटें पैदा होंगी। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ महीनों से ऑनलाइन गेमिंग के लिए एक अनुकूल माहौल बन रहा था जो इस फैसले से प्रभावित हो जाएगा और यूजर्स अवैध रूप से चल रहे गेमिंग की ओर आकर्षित होने लगेंगे।
ऑनलाइन गेम खेलने वालों की संख्या भारत में 42.1 करोड़
दूसरी तरफ वित्त मंत्रालय के अधिकारी का मानना है कि यूजर्स पहले की तरह ही ऑनलाइन गेम खलते रहेंगे। सरकार का यह भी सोचना है कि इस प्रकार की गेमिंग से यूजर्स और कंपनियां कमाई कर रहे हैं तो फिर उनसे टैक्स क्यों नहीं लिया जाए। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी गत मंगलवार को कहा था कि उनका उद्देश्य ऑनलाइन गेमिंग में रुकावट पैदा करना नहीं है।सरकारी आंकड़ों के मुताबिक वर्ष 2022 में ऑनलाइन गेम खेलने वालों की संख्या भारत में 42.1 करोड़ थी जो वर्ष 2023 में बढ़कर 44.2 करोड़ हो जाएगी। पिछले पांच सालों में ऑनलाइन गेमिंग के क्षेत्र में 100 से अधिक स्टार्टअप्स काम कर रहे हैं। ड्रीम 11 व मोबाइल प्रीमियर लीग जैसी ऑनलाइन गे¨मग कंपनियां यूनिकार्न (100 अरब डॉलर) बन चुकी है।