NEET-UG 2024: विवादों के बीच नीट यूजी में दिखी अच्छी झलक, इस बार छोटे शहरों की भागीदारी बढ़ी
नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने शनिवार को नीट-यूजी का शहर और केंद्रवार परिणाम जारी किया था। इन परिणामों में एक अच्छी झलक देखने को मिली। पिछले साल की तुलना में इस वर्ष नीट-यूजी में छोटे शहरों की भागीदारी बढ़ी है। राजस्थान के सीकर में 149 छात्रों को 700 या उससे अधिक अंक मिले हैं। यहां 650 से अधिक अंक पाने वाले छात्र की संख्या दो हजार से अधिक है।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। यूं तो मेडिकल में प्रवेश के लिए आयोजित हुई राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट) विवादों में घिरी रही और इसे रद्द कर फिर से आयोजित करवाने या नहीं करवाने को लेकर सुप्रीम कोर्ट का फैसला लंबित है। फिलहाल जारी नतीजों में एक अच्छी बात भी दिखी है।
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हमेशा की तरह नीट में अच्छे अंक पाने वाले छात्रों में भले ही सीकर, कोटा और कोट्टायम जैस कोचिंग वाले शहरों का दबदबा फिर से दिखा है। मगर ऐसे शहरों की संख्या भी काफी है जो कोचिंग हब नहीं माने जाते। ऐसे शहरों के छात्र 700 या अधिक स्कोर हासिल करने में सफल रहे हैं।
छोटे शहरों के बच्चों ने दिखाया दमखम
बड़ी गड़बड़ी का आशंका खारिज कर रही सरकार को इस आंकड़े से बल मिल सकता है कि इस बार 700 से ऊपर अंक लाने वाले बच्चे 276 शहरों के 1,404 केंद्रों से हैं। जबकि 2023 की नीट में इतने अंक लाने वाले बच्चे 116 शहरों के महज 310 केंद्रों से थे। ऐसे में यह दलील दी जा सकती है कि इस बार छोटे शहरों के बच्चों ने अपना लोहा दिखाया है।
सरकार से जुड़े सूत्रों की मानें तो नीट-यूजी में इस बार 720 की कुल परीक्षा में 700 या उससे अधिक अंक पाने वाले छात्रों की कुल संख्या 2,321 है। जो देश के 25 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के 276 शहरों के 1,404 परीक्षा केंद्रों से हैं।
700 से अधिक अंक पाने वालों में लखनऊ से 35, कोलकाता से 27, लातूर से 25, नागपुर से 20, फरीदाबाद से 19, नांदेड़ से 18, इंदौर से 17 और कानपुर व कटक से 16-16 छात्र शामिल हैं। जबकि कोल्हापुर, नोएडा, साहिबजादा अजित सिंह नगर से 14-14; आगरा व अलीगढ़ से 13-13, अकोला व पटियाला से 10-10, दावनगेरे से आठ और बनासकांठा से सात छात्रों ने 700 से अधिक अंक प्राप्त किए हैं।
राजस्थान के सीकर का दबदबा
सीकर में 700 या उससे अधिक अंक पाने वाले छात्रों की संख्या 149 है। जयपुर से 131, दिल्ली से 120 और कोटा से 74 छात्र हैं। सीकर से 650 से अधिक अंक पाने वाले छात्र दो हजार से अधिक और 600 से अधिक अंक पाने वाले छात्र चार हजार से अधिक हैं।अधिक शहरों की दिखी सहभागिता
शनिवार को केंद्रवार जारी नतीजों में जो एक और बात सामने आई है, वह यह कि 700 से ज्यादा अंक लाने वालों की तरह ही 650-699 अंक लाने वाले बच्चों में भी इस बार ज्यादा शहरों और ज्यादा केंद्रों की सहभागिता है। 2023 की नीट में ऐसे बच्चे 381 शहरों के 2,431 केंद्रों से थे। इस बार ये बच्चे 509 शहरों के 4,040 केंद्रों से हैं। 2023 में 600-649 अंक लाने वाले बच्चे 464 शहरों के 3,434 केंद्रों से थे जो इस बार 540 शहरों के 4,484 केंद्रों से हैं। इसी तरह इस बार 550-599 अंक लाने वाले छात्र 548 शहरों के 4,563 केंद्रों से हैं।सोमवार को सर्वोच्च अदालत में सुनवाई
सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में संभवत: अंतिम दौर की दलील हो और उसके बाद कोर्ट का फैसला आ सकता है। सोमवार को केंद्र और एनटीए की ओर से ही दलील दी जानी है। ऐसे में पूरी संभावना है कि ये आंकड़े दिखाकर ही कोर्ट के बताया जाए कि कहीं छिटपुट अनियमितताएं हो सकती हैं, लेकिन इस बार पूरे देश के छोटे शहरों से भी बच्चे चयनित होकर आए हैं। सरकार की ओर से मेहनतकश बच्चों का हवाला देकर परीक्षा रद्द नहीं किए जाने की बात कही जा रही है। कुछ बच्चे भी ऐसी ही याचिका के साथ कोर्ट पहुंचे हैं। जबकि कई याचिकाएं पूरी परीक्षा रद्द करने की है। कांग्रेस समेत विपक्षी दलों की ओर से भी ऐसी ही मांग हो रही है।11 हजार से अधिक को मिले शून्य या निगेटिव अंक
नीट-यूजी के 11 हजार से अधिक छात्रों को शून्य या निगेटिव अंक प्राप्त हुए हैं। शहर एवं केंद्रवार परिणामों के अनुसार 2,250 से अधिक छात्रों को शून्य अंक प्राप्त हुए, जबकि 9,400 से अधिक छात्रों को निगेटिव अंक मिले हैं। अधिकारियों के मुताबिक, शून्य अंक का प्राप्त होने का यह मतलब कदापि नहीं है कि छात्र ने उत्तर पुस्तिका को खाली छोड़ दिया होगा क्योंकि इस परीक्षा में सही उत्तर पर चार अंक दिए जाते हैं और गलत उत्तर पर एक अंक काट लिया जाता है। प्रश्न का उत्तर नहीं देने पर कोई अंक प्रदान नहीं किया जाता।यह भी पढ़ें: नीट पेपर लीक मामले में मुख्य आरोपी संजीव मुखिया पर कसा शिकंजा, तकनीकी सहायक पद से हुआ सस्पेंड