SC/ST Reservation: राजनीतिक दलों ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले को बताया ऐतिहासिक, कहा- असमानता दूर करेगा यह निर्णय
सुप्रीम कोर्ट द्वारा राज्यों को अनुसूचित जातियों (एससी) के भीतर सामाजिक और आर्थिक रूप से अधिक पिछड़ी जातियों के उन्नयन के लिए उपवर्गीकरण करने की अनुमति देने वाले फैसले का राजनीतिक दलों ने स्वागत किया है। कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्दरमैया ने फैसले को ऐतिहासिक करार दिया और कहा कि इस फैसले से आरक्षित श्रेणियों में कोटा देने के कार्यान्वयन में एक बड़ी बाधा दूर हो गई है।
पीटीआई, नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट द्वारा राज्यों को अनुसूचित जातियों (एससी) के भीतर सामाजिक और आर्थिक रूप से अधिक पिछड़ी जातियों के उन्नयन के लिए उपवर्गीकरण करने की अनुमति देने वाले फैसले का राजनीतिक दलों ने स्वागत किया है और इसे ऐतिहासिक करार दिया।
आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि तेदेपा ने 1996 में एससी उपवर्गीकरण पर जस्टिस रामचंद्र राजू आयोग का गठन करके इस दिशा में पहला कदम उठाया था।
उन्होंने कहा, 'सभी वर्गों के साथ न्याय होना चाहिए और सामाजिक न्याय की जीत होनी चाहिए। यह तेदेपा का दर्शन है। सबसे गरीब वर्गों तक पहुंचने के लिए उपवर्गीकरण उपयोगी होगा।' वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के नेता ए. सुरेश ने कहा कि इस फैसले का इस्तेमाल अनुसूचित जातियों के उत्थान के लिए किया जाना चाहिए, न कि अवसरवादी राजनीति के लिए।
एक बड़ी बाधा दूर हो गई
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्दरमैया ने फैसले को ऐतिहासिक करार दिया और कहा कि इस फैसले से आरक्षित श्रेणियों में कोटा देने के कार्यान्वयन में एक बड़ी बाधा दूर हो गई है। तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने फैसले की सराहना करते हुए कहा कि कोर्ट ने तमिलनाडु विधानसभा द्वारा पारित अधिनियम के तहत अरुंथथियार समुदाय को दिए गए आंतरिक आरक्षण को बरकरार रखा है।
उपवर्गीकरण लागू करने का अध्यादेश लाएगी कांग्रेस
तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी ने फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि तेलंगाना सरकार ने ही उपवर्गीकरण के लिए सुप्रीम कोर्ट में जोरदार तरीके से दलीलें रखी थीं। उन्होंने कहा कि तेलंगाना उपवर्गीकरण लागू करने वाला पहला राज्य होगा। अगर जरूरत पड़ी तो उनकी सरकार नौकरी की वर्तमान अधिसूचनाओं में भी उपवर्गीकरण लागू करने का अध्यादेश लाएगी।भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के कार्यकारी अध्यक्ष केटी रामाराव ने कहा कि उनकी पार्टी ने शुरू से ही उपवर्गीकरण के लिए ईमानदारी से काम किया, जबकि अन्य राजनीतिक दल इस पर वोट बैंक की राजनीति में लिप्त रहे।