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Indian Railways: क्या कोरोना की दूसरी लहर के बीच ट्रेन सेवाओं पर लगेगी रोक? जानें- रेलवे ने क्या कहा

रेलवे बोर्ड के चेयरमैन सुनीत शर्मा ने कहा कि जो लोग यात्रा करना चाहते हैं उनके लिए ट्रेनों की कोई कमी नहीं है। मैं सभी को आश्वस्त करना चाहता हूं कि मांग के अनुसार ट्रेनें चलाईं जाएंगी। इन महीनों में रेलवे स्टेशनों पर यात्रियों की संख्या सामान्य देखी गई।

By Sanjeev TiwariEdited By: Updated: Sat, 10 Apr 2021 06:11 AM (IST)
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रेलवे बोर्ड ने साफ किया है कि ट्रेनों को रोकने की अभी कोई योजना नहीं (फाइल फोटो)
नई दिल्ली, एएनआई। कोरोना महामारी की दूसरी लहर खतरनाक रूप लेती जा रही है। इस बीच रेलवे बोर्ड के चेयरमैन सुनीत शर्मा ने रेल सेवाओं को लेकर बड़ा बयान दिया है। रेलवे बोर्ड ने साफ किया है कि ट्रेनों को रोकने या उसपर पाबंदी लगाने की अभी कोई योजना नहीं है। 

रेलवे बोर्ड के चेयरमैन सुनीत शर्मा ने कहा कि जो लोग यात्रा करना चाहते हैं, उनके लिए ट्रेनों की कोई कमी नहीं है। मैं सभी को आश्वस्त करना चाहता हूं कि मांग के अनुसार ट्रेनें चलाईं जाएंगी। इन महीनों में रेलवे स्टेशनों पर यात्रियों की संख्या सामान्य देखी गई, हम जरूरत के अनुसार ट्रेनों की संख्या बढ़ाएंगे। यात्रियों के बड़ी संख्या होने की वजह से, हम कोरोना वायरस से संक्रमित ना होने की पुष्टि करने वाली रिपोर्ट नहीं मांग सकते। रेल सेवाओं को रोकने या कम करने की कोई योजना नहीं है

चेयरमैन सुनीत शर्मा ने आगे कहा कि महाराष्ट्र में जिन मजदूरों के पलायन की बात कही जा रही है वो पलायन नहीं है बल्कि ये रेलवे के सामान्य यात्री हैं। नाईट कर्फ्यू से बचने के लिए ये जल्दी स्टेशन पहुंच जाते हैं जिसकी वजह से भीड़ दिखाई दे रही है। यहां ट्रेनों की आवाजाही रोकने या कम करने के लिए अभी तक कोई आधिकारिक परिपत्र नहीं मिला है।

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भारतीय रेलवे प्रति दिन 1,402 स्पेशल ट्रेन चला रही

वहीं रेल मंत्रालय ने बताया कि भारतीय रेलवे प्रति दिन औसतन 1,402 स्पेशल ट्रेन चला रही है। कुल 5,381 उपनगरीय ट्रेन सेवाएं और 830 यात्री ट्रेन सेवाएं चालू हैं। और 28 विशेष ट्रेनों को उच्च संरक्षा के साथ अत्यधिक संरचित ट्रेनों के क्लोन के रूप में संचालित किया जा रहा है।

लॉकडाउन के डर से प्रवासी मजदूरों का पलायन फिर शुरू

लॉकडाउन के डर के चलते एक बार फिर प्रवासी मजदूरों का पलायन शुरू हो गया है। ये लोग अपने घर लौटने लगे हैं। मुंबई में लोकमान्य तिलक टर्मिनस स्टेशन से यूपी जाने वाली ट्रेनों के जनरल डिब्बे में पैर रखने की जगह नहीं है। लोग एक-दूसरे के ऊपर सवार होकर यात्रा कर रहे हैं। ये ट्रेनें सुपर स्प्रेडर बन सकती हैं और संक्रमण का खतरा और बढ़ सकता है। यूपी जाने वाली गाड़ियों में अचानक बढ़ती भीड़ की एक वजह यूपी का पंचायत चुनाव भी बताया जा रहा है। उत्तर प्रदेश में 14 अप्रैल से 28 अप्रैल तक चार चरणों में पंचायत चुनाव है। बड़ी संख्या में लोग अपने प्रत्याशियों को वोट देने गांव रवाना होना चाहते हैं। यही वजह है कि यूपी बिहार की तरफ जाने वाली सभी ट्रेनों में वेटिंग लिस्ट बढ़ गई है।

रेलवे की अपील- अफवाहों से रहें सावधान

रेलवे स्टेशन भीड़ जुटती देख रेलवे ने अपील की है कि ट्रेनों में टिकट की बुकिंग को लेकर फैल रही अफवाहों से घबराएं नहीं। रेलवे गर्मियों की छुट्टियों में अधिक विशेष ट्रेनें चलाती है। लोगों से अपील है कि वे महामारी की चुनौती को ध्यान में रखते हुए स्टेशनों पर भीड़-भाड़ न करें। ट्रेन छूटने से 90 मिनट पहले ही स्टेशन पर पहुंचें। टिकट वालों को ही यात्रा की इजाजत है। कोविड प्रोटोकॉल का ध्यान रखें। रेलवे के चीफ पीआरओ शिवाजी सुतार ने बताया लंबी दूरियों की ट्रेनों में केवल कन्फर्म टिकट वाले यात्रियों को ही यात्रा की अनुमति है। लॉकडाउन के बाद ट्रेनों को कोविड गाइडलाइंस के अनुसार चलाया जा रहा है। नए नियम के मुताबिक, जनरल कम्पार्टमेंट में भी बिना रिजर्वेशन के कोई यात्रा नहीं कर सकता है।