सोनिया गांधी के राजस्थान से राज्यसभा में आने की प्रबल हुई संभावनाएं, रायबरेली से ये दिग्गज नेत्री लड़ सकती है चुनाव
लोकसभा चुनाव से पूर्व तेज हुई राजनीतिक हलचलों के बीच कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी के अब राज्यसभा के रास्ते सियासत में बने रहने की संभावनाएं प्रबल हैं। पार्टी हलकों से मिले संकेतों के अनुसार सोनिया गांधी को राजस्थान से राज्यसभा में लाए जाने की तैयारी है। राज्यसभा के चुनाव में कांग्रेस के उम्मीदवारों का ऐलान अगले एक-दो दिनों में होना है।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव से पूर्व तेज हुई राजनीतिक हलचलों के बीच कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी के अब राज्यसभा के रास्ते सियासत में बने रहने की संभावनाएं प्रबल हैं। पार्टी हलकों से मिले संकेतों के अनुसार सोनिया गांधी को राजस्थान से राज्यसभा में लाए जाने की तैयारी है।
राज्यसभा के चुनाव में कांग्रेस के उम्मीदवारों का ऐलान अगले एक-दो दिनों में होना है और सोनिया के उम्मीदवार बनने की हलचल तेज है। सोनिया गांधी के राज्यसभा में आने का संकेत साफ होगा कि बेशक वह सियासत में बनी रहेंगी मगर सीधे चुनावी राजनीति में उतरने से अब दूर रहेंगी।
प्रियंका गांधी रायबरेली से लड़ सकती हैं चुनाव
रायबरेली से लोकसभा सांसद सोनिया गांधी के राज्यसभा में जाने का अर्थ यह भी लगाया जा रहा है कि अब कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा अगले आम चुनाव में इस सीट से नेहरू-गांधी परिवार की नुमाइंदगी करने के लिए मैदान में उतर सकती हैं। सोनिया गांधी ने पिछले कुछ सालों से स्वास्थ्य वजहों से अपनी राजनीतिक सक्रियता को सीमित रखा है और पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान राय बरेली में उनके चुनाव का संचालन भी प्रियंका गांधी ने ही किया था।संसदीय दल की अध्यक्ष बने रहने का रास्ता खुला रहेगा
राज्यसभा में सोनिया गांधी के जाने का अर्थ यह भी होगा कि कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष बने रहने का रास्ता भी खुला रहेगा। राज्यसभा के 56 सीटों के लिए हो रहे चुनाव में कांग्रेस को 10 सीटें मिलनी है। इसमें राजस्थान की तीन सीटों पर हो रहे चुनाव में कांग्रेस को एक सीट मिलनी है और इस पर सोनिया गांधी की उम्मीदवारी की चर्चाएं पार्टी हलकों में तेज है।
राजस्थान में पार्टी नेता फैसले को खुशी से स्वीकार करेंगे
राज्यसभा के लिए कांग्रेस में दावेदारों की संख्या इतनी अधिक है कि महाराष्ट्र में इसकी गुंजाइश नहीं दिखी तो अशोक चव्हाण जैसे उसके दिग्गज नेता ने पार्टी छोड़ दी। हालांकि सोनिया गांधी की उम्मीदवारी तय होती है तो स्वाभाविक रूप से राजस्थान में पार्टी के नेता इसे खुशी-खुशी स्वीकार करेंगे।