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Bilkis Bano के दुष्कर्म मामले में दोषियों को SC से लगा झटका, समय से पहले रिहाई होने के खिलाफ होगी सुनवाई

सुप्रीम कोर्ट 2002 के गोधरा दंगों के दौरान बिल्किस बानो के साथ सामूहिक दुष्कर्म और उसके परिवार के सदस्यों की हत्या करने वाले 11 दोषियों की समय से पहले रिहाई को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई के लिए एक बेंच गठित करने पर सहमत हो गया है।

By Jagran NewsEdited By: Versha SinghUpdated: Wed, 22 Mar 2023 12:16 PM (IST)
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Bilkis Bano के दुष्कर्म मामले में दोषियों को SC से लगा झटका
नई दिल्ली, एजेंसी। सुप्रीम कोर्ट 2002 के गोधरा दंगों के दौरान बिल्किस बानो के साथ सामूहिक दुष्कर्म और उसके परिवार के सदस्यों की हत्या करने वाले 11 दोषियों की समय से पहले रिहाई को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई के लिए एक बेंच गठित करने पर सहमत हो गया है। इस मामले को लेकर अगली सुनवाई 9 मई को तय की गई है। 

मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति पीएस नरसिम्हा और जेबी पारदीवाला की पीठ ने अपनी वकील शोभा गुप्ता के माध्यम से प्रतिनिधित्व करने वाली बानो को आश्वासन दिया कि नई पीठ का गठन किया जाएगा।

गुप्ता ने मामले की तत्काल सुनवाई का उल्लेख किया और कहा कि एक नई बेंच गठित करने की आवश्यकता है।

सीजेआई ने कहा, "मैं एक बेंच का गठन करूंगा। आज शाम इसे देखूंगा।"

बिलकिस बानो के आरोपियों को समय से पहले मिली थी रिहाई

गौरतलब है कि, इससे पहले बीते दिसंबर 2022 में नई बेंच बनाने की बार-बार अपील करने पर CJI बुरी तरह से भड़क गए थे। उन्होंने कहा था कि, मामले में जल्द सुनवाई नहीं होगी, आप परेशान न करें।

बता दें कि, साल 2002 के गोधरा कांड के दौरान बिलकिस बानो के साथ दुष्कर्म करने का मामला सामने आया था। वहीं, उसके परिवार के लोगों की हत्या के दोषियों को बीते साल 15 अगस्त को समय से पहले ही रिहा कर दिया गया था। दरअसल, माफी नीति के तहत सभी आरोपियों को गुजरात सरकार ने रिहा कर दिया था। मामले के सभी आरोपी 15 साल जेल में रह चुके थे।

सरकार ने किया था समिति का गठन

इसके बाद सरकार ने एक समिति का गठन किया था। इस पैनल की जांच रिपोर्ट आने के बाद सभी दोषियों को बीते साल 15 अगस्त के दिन जेल से आजाद कर दिया था।

वहीं पीड़िता बिल्कीस बानो (Bilkis Bano) ने कहा था कि उनके और उनके परिवार के 7 लोगों से जुड़े मामले में उम्रकैद की सजा काट रहे 11 दोषियों की समय से पहले रिहाई के कारण उनका न्याय पर से भरोसा उठ गया है। इसके साथ ही बिल्कीस बानो ने गुजरात सरकार से ‘इस फैसले को वापस लेने’ और ‘बिना डर और शांति से जीवन जीने’ का उनका अधिकार लौटाने की अपील भी की थी।