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Ram Mandir: श्रृंगेरी मठ का झूठे प्रचार पर ध्यान न देने का अनुरोध, कहा- आधिकारिक वेबसाइट पर प्रकाशित बातों पर ही करें विचार

महंत ने कहा कि दीपावली के अवसर पर पीठम के शारदापीठम यूट्यूब चैनल ने श्रृंगेरी जगद्गुरु का संदेश प्रकाशित किया था जिसमें बताया गया था कि सभी आस्तिक राम तारक के जाप में संलग्न हैं। बयान में कहा गया है कि अयोध्या में आगामी रामलला विग्रह की प्राण-प्रतिष्ठा को ध्यान में रखते हुए आस्तिक बड़ी संख्या में महामंत्र का जाप कर रहे हैं।

By Agency Edited By: Amit Singh Updated: Sat, 13 Jan 2024 06:30 AM (IST)
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श्रृंगेरी मठ का झूठे प्रचार पर ध्यान न देने का अनुरोध
एएनआइ, नई दिल्ली। कर्नाटक के श्रृंगेरी मठ के महंत ने लोगों से अनुरोध किया है कि वे अयोध्या में रामलला विग्रह के प्राण प्रतिष्ठा समारोह पर झूठे प्रचार पर ध्यान न दें। महंत ने कहा कि केवल मठ के आधिकारिक वेबसाइट द्वारा प्रकाशित की गई बातों पर विचार करें।

श्रृंगेरी मठ ने अपने बयान में इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित गलत सूचनाओं को खारिज करते हुए दावा किया कि उसने रामलला विग्रह की प्राण-प्रतिष्ठा पर अपनी नाराजगी व्यक्त की है। महंत ने कहा कि एक इंटरनेट मीडिया पोस्ट में दक्षिणाम्नाय श्रृंगेरी शारदा पीठाधीश्वर परमपूज्य जगद्गुरु शंकराचार्य श्री श्री भारती तीर्थ महास्वामीजी की तस्वीर है, बताती है कि श्रृंगेरी शंकराचार्य ने एक संदेश में प्राण-प्रतिष्ठा समारोह पर नाराजगी व्यक्त की है। हालांकि, श्रृंगेरी शंकराचार्य ने ऐसा कोई संदेश नहीं दिया है।

उन्होंने कहा कि यह केवल हमारे धर्म के विरोधियों द्वारा किया गया झूठा प्रचार है। इसलिए सभी लोगों से अनुरोध है कि वे इस तरह के झूठे प्रचार पर ध्यान न दें और केवल मठ की वेबसाइट और आधिकारिक द्वारा प्रकाशित की गई बातों पर ध्यान दें। इसमें आगे कहा गया कि रामलला विग्रह की प्राण-प्रतिष्ठा सभी आस्तिकों (श्रद्धालुओं) के लिए खुशी की बात है।

महंत ने कहा कि दीपावली के अवसर पर पीठम के 'शारदापीठम' यूट्यूब चैनल ने श्रृंगेरी जगद्गुरु का संदेश प्रकाशित किया था जिसमें बताया गया था कि सभी आस्तिक राम तारक के जाप में संलग्न हैं। बयान में कहा गया है कि अयोध्या में आगामी रामलला विग्रह की प्राण-प्रतिष्ठा को ध्यान में रखते हुए आस्तिक बड़ी संख्या में महामंत्र का जाप कर रहे हैं।

गुजरात के द्वारका शारदा पीठम ने भी कहा है कि राम मंदिर पर मठ के रुख को लेकर कुछ अखबारों में प्रकाशित रिपोर्टें जगद्गुरु शंकराचार्य की अनुमति के बिना प्रकाशित की गई हैं और भ्रामक हैं।

प्राण प्रतिष्ठा का दो शंकराचार्यों ने किया स्वागत

विहिप के कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने शुक्रवार को कहा कि चार में से दो शंकराचार्यों ने रामलला विग्रह के प्राण प्रतिष्ठा समारोह का खुले तौर पर स्वागत किया है, लेकिन उनमें से कोई भी 22 जनवरी को अयोध्या में होने वाले कार्यक्रम में शामिल नहीं होंगे। हालांकि, वे बाद में अपनी सुविधा के अनुसार राम मंदिर का दौरा करेंगे।

विहिप नेता की टिप्पणी विपक्षी दलों द्वारा कर्नाटक के श्री श्रृंगेरी शारदा पीठ, गुजरात में द्वारका शारदा पीठ, उत्तराखंड में ज्योतिर पीठ और ओडिशा में गोवर्धन पीठ के शंकराचार्यों द्वारा प्रतिष्ठा समारोह में शामिल नहीं होने का निर्णय लेने की खबरों पर भाजपा पर निशाना साधने के बीच आई है।