Supreme Court आज सुनाएगा चुनावी बांड की संवैधानिक वैधता पर फैसला, तीन दिनों तक चली थी सुनवाई
चुनावी बांड की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट गुरुवार को फैसला सुनाएगा। तीन दिनों तक मामले की सुनवाई के बाद दो नवंबर को मामले में सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ ने फैसला सुरक्षित रख लिया था। याचिकाकर्ताओं के अनुसार चुनावी बांड से जुड़ी राजनीतिक फंडिंग पारदर्शिता को प्रभावित करती है और मतदाताओं के सूचना के अधिकार का उल्लंघन करती है।
पीटीआई, नई दिल्ली। चुनावी बांड की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट गुरुवार को फैसला सुनाएगा। तीन दिनों तक मामले की सुनवाई के बाद दो नवंबर को मामले में सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ ने फैसला सुरक्षित रख लिया था।
याचिकाकर्ता ने क्या कहा?
याचिकाकर्ताओं के अनुसार, चुनावी बांड से जुड़ी राजनीतिक फंडिंग पारदर्शिता को प्रभावित करती है और मतदाताओं के सूचना के अधिकार का उल्लंघन करती है। याचिकाकर्ता ने यह भी तर्क दिया कि इस योजना में शेल कंपनियों के माध्यम से योगदान करने की अनुमति दी गई है।
सरकार ने आगे दिया ये तर्क
केंद्र सरकार ने इस योजना का बचाव करते हुए कहा कि धन का उपयोग उचित बैंकिंग चैनलों के माध्यम से राजनीतिक वित्तपोषण के लिए किया जा रहा है। सरकार ने आगे तर्क दिया कि दानदाताओं की पहचान गोपनीय रखना जरूरी है, ताकि उन्हें राजनीतिक दलों से किसी प्रतिशोध का सामना न करना पड़े।पीठ ने योजना के बारे में उठाए कई सवाल
सुनवाई के दौरान, पीठ ने योजना के बारे में केंद्र सरकार से कई प्रासंगिक सवाल उठाए। पीठ ने कहा कि सत्ताधारी दल के लिए दानदाताओं की पहचान जानना संभव है, जबकि विपक्षी दलों को ऐसी जानकारी नहीं मिल सकती।
यह भी पढ़ें-