DGCA: अगले साल भारतीय उड्डयन में 25 प्रतिशत महिला कर्मियों का लक्ष्य, डीजीसीए ने कहा- यौन उत्पीड़न पर हो जीरो टालरेंस
डीजीसीए ने सर्कुलर जारी करके भारतीय संविधान और अंतरराष्ट्रीय उड्डयन संगठन के सिद्धांतों के आधार पर लैंगिक समानता को बढ़ावा देने का निर्देश दिया है। ताकि घरेलू और अंतरराष्ट्रीय विमानन उद्योग जगत से जुड़े सभी क्षेत्र लैंगिक समानता के आधार पर सभी को समान अवसर दें। इस सर्कुलर का उद्देश्य भारत के विमानन उद्योग में वर्ष 2025 तक विभिन्न स्तरों पर महिलाओं की भागीदारी 25 प्रतिशत तक करना है।
एएनआई, एएनआइ। नागरिक उड्डयन के महानिदेशक (डीजीसीए) ने नागरिक उड्डयन के क्षेत्र में महिलाओं का प्रतिनिधित्व बढ़ाने के दिशा-निर्देश दिए हैं। डीजीसीए ने इस क्षेत्र के सभी हितधारकों को लैंगिक समानता पर बल देने को कहा है। इसके तहत भारत के विमानन उद्योग में अगले साल तक विभिन्न स्तरों पर महिलाओं की भागीदारी 25 प्रतिशत तक करना है।
महिलाओं की भागीदारी 25 प्रतिशत तक करना लक्ष्य
डीजीसीए ने सर्कुलर जारी करके भारतीय संविधान और अंतरराष्ट्रीय उड्डयन संगठन के सिद्धांतों के आधार पर लैंगिक समानता को बढ़ावा देने का निर्देश दिया है। ताकि घरेलू और अंतरराष्ट्रीय विमानन उद्योग जगत से जुड़े सभी क्षेत्र लैंगिक समानता के आधार पर सभी को समान अवसर दें। इस सर्कुलर का उद्देश्य भारत के विमानन उद्योग में वर्ष 2025 तक विभिन्न स्तरों पर महिलाओं की भागीदारी 25 प्रतिशत तक करना है।
सभी हितधारकों को सलाह दी गई है कि वह उड्डयन क्षेत्र के अपने कार्यबल में महिलाओं की तादाद बढ़ाएं। साथ ही लैंगिक विभेद और कार्यक्षेत्र में महिलाओं के प्रति पूर्वाग्रह से बचें। साथ ही यौन उत्पीड़न के खिलाफ जीरो टालरेंस पालिसी बनाएं। महिलाओं को लेकर मानव संसाधन नीतियों में भी सुधार की गुंजाइश बताई गई है।
लीडरशिप और मेंटरशिप प्रोग्राम शुरू किए
विमानन क्षेत्र में महिलाओं का कार्यबल बढ़ाने के लिए उनके लीडरशिप और मेंटरशिप प्रोग्राम शुरू किए जा रहे हैं। साथ ही महिलाओं के प्रति गलत धारणाओं को तोड़ने और लैंगिक भेदभाव को दूर करने को कहा गया है। ताकि महिला कर्मचारियों के लिए कार्यस्थल पर बेहतर वातावरण बन सके। इस सुर्कलर में वह सभी ब्योरे दिए गए हैं जिसकी मदद से सभी हितधारक अपनी नीतियों में सुधार करके कार्यस्थल में महिलाओं से संबंधित मुद्दों और सुविधाओं का विशेष ध्यान रखेंगे।