Terror Funding Case: महाराष्ट्र एटीएस को बड़ी कामयाबी, जम्मू-कश्मीर से लश्कर का चौथा संदिग्ध युसूफ गिरफ्तार
महाराष्ट्र राज्य एटीएस ने मोहम्मद जुनैद मोहम्मद अता (28) को राज्य के बुलढाणा जिले के खामगाँव तालुका से गिरफ्तार किया था। एटीएस ने 2 जून को इसी मामले में एक और वांछित संदिग्ध 28 वर्षीय आफताब हुसैन शाह को गिरफ्तार किया था।
By Shashank Shekhar MishraEdited By: Updated: Tue, 14 Jun 2022 10:57 PM (IST)
मुंबई, एएनआइ। महाराष्ट्र आतंकवाद विरोधी दस्ते (एटीएस) ने मंगलवार को कहा कि उसने जम्मू-कश्मीर से एक और संदिग्ध को धन और भर्ती में उसकी कथित संलिप्तता के लिए गिरफ्तार किया है। संदिग्ध आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) के लिए फंड और भर्ती में सक्रिय भूमिका निभाता था।
बता दें गिरफ्तार व्यक्ति की पहचान युसूफ के रूप में हुई है। उसने कथित तौर पर आरोपी जुनैद मोहम्मद को फंड ट्रांसफर किया था। एटीएस ने कहा, "आरोपी यूसुफ को आज पुणे की अदालत में पेश किया गया है।"
गौरतलब है, "महाराष्ट्र एटीएस की टीम जुनैद मोहम्मद मामले की जांच के लिए जम्मू-कश्मीर पहुंची। उसे एटीएस ने पुणे से गिरफ्तार किया था। टीम को आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा से उसके संबंधों के बारे में कुछ जानकारी मिली है। एटीएस ने उसके परिवार के सदस्यों के बयान भी दर्ज किए हैं।"
24 मई को, महाराष्ट्र राज्य एटीएस ने मोहम्मद जुनैद मोहम्मद अता (28) को राज्य के बुलढाणा जिले के खामगाँव तालुका से गिरफ्तार किया था। एटीएस ने 2 जून को इसी मामले में एक और वांछित संदिग्ध 28 वर्षीय आफताब हुसैन शाह को गिरफ्तार किया था।
शाह पर जुनैद मोहम्मद और विदेश में रहने वाले लश्कर के एक ऑपरेटिव के बीच की कड़ी होने का आरोप है। शाह को उस अधिकार क्षेत्र की सक्षम अदालत के समक्ष पेश किया गया और उन्हें तीन दिन के ट्रांजिट रिमांड पर एटीएस, महाराष्ट्र को सौंप दिया गया था। महाराष्ट्र पहुंचने पर उसे पुलिस हिरासत के लिए सक्षम अदालत के समक्ष पेश किया जाएगा।
बता दें एटीएस ने कहा कि 10 जून को एटीएस ने इनामुल हक को सहारनपुर से हिरासत में ले लिया था। वह कथित तौर पर जुनैद मोहम्मद का साथी है, जिसे एटीएस ने पुणे से गिरफ्तार किया था। 28 वर्षीय आरोपी मोहम्मद जुनैद, महाराष्ट्र एटीएस के अनुसार, एक भारतीय नागरिक है, जो पुणे में रहता है और लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) के आतंकी नेटवर्क से जुड़ा था।एटीएस ने कहा, "टीम को जुनैद के आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के साथ संबंधों के बारे में कुछ जानकारी मिली है। एटीएस ने उसके परिवार के सदस्यों के बयान भी दर्ज किए।" एटीएस के एक अधिकारी के अनुसार, जुनैद लश्कर-ए-तैयबा के सक्रिय सदस्यों के संपर्क में था।
राज्य के विभिन्न हिस्सों से प्रतिबंधित संगठन के लिए युवाओं को भर्ती करने की कोशिश कर रहा था। "बाद में इन रंगरूटों को प्रशिक्षण के लिए आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए जम्मू-कश्मीर ले जाया गया।"अधिकारी ने जुनैद और लश्कर के बीच लेन-देन की जानकारी दी। एटीएस ने कहा, जांच से पता चला है कि जुनैद राष्ट्रीय सुरक्षा और सांप्रदायिक सद्भाव को बिगाड़ने की कोशिश कर रहा था और विभिन्न सोशल मीडिया जैसे फेसबुक और व्हाट्सएप आदि के माध्यम से विभिन्न टिप्पणियों आदि को पोस्ट करके समुदायों के बीच धार्मिक दरार पैदा करने की कोशिश कर रहा था।
जुनैद के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 153ए (धर्म, नस्ल आदि पर हमले), 121ए (राज्य के खिलाफ कुछ अपराध करने की साजिश), 116 (लोक सेवक को रिश्वत देना) और अन्य संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।जम्मू-कश्मीर में तीन महीने तक चले ऑपरेशन के दौरान जुनैद की संदिग्ध भूमिका सामने आई थी, जिसके लिए वह अकोला से पुणे शिफ्ट हो गया था। एक अधिकारी ने बताया कि अब तक एटीएस ने जांच के दौरान लश्कर-ए-तैयबा के तीन संचालकों की पहचान की है।