एमपॉक्स पर केंद्र ने जारी किया कोरोना जैसा अलर्ट! एयरपोर्ट पर निगरानी; आइसोलेशन व कॉन्ट्रैक्ट ट्रेसिंग की सलाह
अफ्रीका में कहर बरपाने वाले एमपॉक्स वायरस ने भारत सरकार की चिंता बढ़ा दी है। हालांकि अभी देश में एक भी पुष्ट मामला सामने नहीं आया है। केंद्र ने सभी राज्यों को एडवाइजरी जारी की है। इसके तहत संदिग्ध मरीजों की जांच कॉन्ट्रैक्ट ट्रेसिंग और आइसोलेट करने पर जोर दिया गया है। हवाई अड्डों पर भी निगरानी बढ़ाई जाएगी। संदिग्ध मरीजों की तुरंत जांच की जाएगी।
जागरण, नई दिल्ली। दिल्ली में एमपॉक्स का संदिग्ध केस सामने आने के बाद केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को एडवाइजरी जारी की है। यह एडवाइजरी केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव अपूर्व चंद्रा ने जारी की है। हवाई अड्डे पर भी सतर्कता बढ़ाई जाएगी। संदिग्ध मरीज के सामने आने पर तुंरत उसकी जांच की जाएगी।
यह भी पढ़ें: कंटेस्टेंट ही नहीं, ऑडियंस भी नहीं दे पाई कुतुब मीनार से जुड़े इस सवाल का जवाब, क्या आपको पता है?केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सभी राज्यों को संदिग्ध एमपॉक्स मरीजों की जांच करने, संक्रमण की पुष्टि होने पर आइसोलेट करने और संक्रमण के जोखिम को कम करने के लिए संपर्क का पता लगाने की सलाह दी है।
एडवाइजरी में क्या कहा गया?
एडवाइजरी में कहा गया है कि एनआईवी पुणे की जांच में एक भी पुष्ट मामला सामने नहीं आया है। हवाई अड्डों पर संदिग्ध मरीज मिलने पर तुरंत स्वास्थ्य जांच कराने का निर्देश दिया गया है। राज्य एड्स नियंत्रण समितियों से भी एमपॉक्स के संबंध में जागरूकता बढ़ाने की अपील की गई है। एडवाइजरी में संदिग्ध और पुष्ट मामलों के सामने आने पर आइसोलेट करने की व्यवस्था करने का निर्देश दिया गया है। संदिग्ध मरीज की कॉन्ट्रैक्ट ट्रेसिंग करने की सलाह दी गई है।
- एडवाइजरी में कहा गया कि अधिकांश मामले 18 से 44 साल के बीच के पुरुषों के हैं।
- यह वायरस सबसे अधिक यौन संपर्क से फैला। इसके बाद अन्य माध्यमों से एक-दूसरे में फैला है।
- अगर लक्षण की बात करें तो दाने और बुखार आना देखा गया है।
- करीब आधे मामलों में मरीज एचआईवी से संक्रमित भी मिले हैं।
अफ्रीका बना एमपॉक्स का हॉटस्पॉट
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक दिल्ली में मिले पहले संदिग्ध मरीज को अस्पताल में रखा गया है। फिलहाल उसकी हालत स्थिर है। उसके नमूनों की जांच की जा रही है। एमपॉक्स को पहले मंकीपॉक्स के नाम से जाना जाता था। पिछले कई वर्षों से अफ्रीका के कुछ देशों में इस वायरस ने कहर बरपा रखा है। मगर 2022 में यह वायरस वैश्विक चिंता के तौर पर उभरा। इसके बाद एमपॉक्स को विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने अंतरराष्ट्रीय चिंता का सार्वजनिक स्वास्थ्य आपातकाल घोषित किया है।अब तक एमपॉक्स से 223 मौतें
विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक अब तक एमपॉक्स के कुल 102,997 मामले सामने आ चुके हैं। वहीं 223 लोगों की मौत हो चुकी है। इनमें से आधे से अधिक मामले अफ्रीकी देशों के थे।यह भी पढ़ें: नए कानूनी पचड़े में फंसी 'IC814: द कंधार हाइजैक', अब ANI ने खटखटाया कोर्ट का दरवाजा; लग सकता है जुर्माना
Union Health Secretary Apurva Chandra issues advisory to States/UTs in view of WHO's declaration of Public Health Emergency of International Concern (PHEIC) related to Mpox pic.twitter.com/tQIXg2V2Ix
— ANI (@ANI) September 9, 2024