नई दिल्ली [जागरण ब्यूरो]। केंद्र सरकार के दो मंत्रियों के इस्तीफे के बावजूद भाजपा मुरव्वत के लिए तैयार नहीं है। कानून मंत्री अश्विनी कुमार की आड़ हटने के बाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को आत्मविवेचन कर इस्तीफे का सुझाव दे दिया है। रविवार से सड़क पर इसका असर शुरू हो जाएगा। पार्टी का युवा मोर्चा प्रधानमंत्री आवास का घेराव करेगा। तो 27 मई से 2 जून तक बड़े नेता भी सरकार के कुकर्म गिनाते हुए जेल भरो आंदोलन करेंगे।
By Edited By: Updated: Sat, 11 May 2013 09:10 PM (IST)
नई दिल्ली [जागरण ब्यूरो]। केंद्र सरकार के दो मंत्रियों के इस्तीफे के बावजूद भाजपा मुरव्वत के लिए तैयार नहीं है। कानून मंत्री अश्विनी कुमार की आड़ हटने के बाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को आत्मविवेचन कर इस्तीफे का सुझाव दे दिया है। रविवार से सड़क पर इसका असर शुरू हो जाएगा। पार्टी का युवा मोर्चा प्रधानमंत्री आवास का घेराव करेगा। तो 27 मई से 2 जून तक बड़े नेता भी सरकार के कुकर्म गिनाते हुए जेल भरो आंदोलन करेंगे।
पढ़ें: अब बीजेपी के निशाने पर पीएम इस्तीफे के सहारे सरकार विपक्ष के हाथ से मुद्दा छीनने की कोशिश में है तो मुख्य विपक्ष भाजपा ने इसके सहारे घेरा और बढ़ा दिया है। शनिवार को खुद राजनाथ मोर्चे पर आए और सवाल पूछा कि अब तक अश्विनी कुमार किसको बचाने की कोशिश कर रहे थे। एक सवाल के जवाब में उन्होंने स्पष्ट किया कि उनके शब्दों का यह अर्थ नहीं निकाला जाना चाहिए कि पार्टी सीधे इस्तीफा मांगने से परहेज कर रही है। भारत की विकास यात्रा को ध्वस्त करने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि संप्रग अब तक की भ्रष्टतम सरकार है। इस क्रम में उन्होंने कामनवेल्थ से लेकर 2जी, कोलगेट, रेलगेट और जेपीसी तक गिनाए। दरअसल इन्हीं मुद्दों के साथ पार्टी 27 मई से 2 जून तक देशभर में जेल भरो आंदोलन चलाएगी। गौरतलब है कि दो दिन पहले हुई बैठक में ही जेल भरो आंदोलन का प्रस्ताव आया था। बताते हैं कि एक पदाधिकारी ने सुझाव दिया था कि नेताओं को दो दिन तक जेल में ही गुजारने के लिए तैयार रहना चाहिए।
संसद में अटके खाद्य सुरक्षा और भूमि अधिग्रहण विधेयक का ठीकरा भी राजनाथ ने सरकार और कांग्रेस के सिर फोड़ा। उन्होंने कहा कि आम लोगों और किसानों से जुड़े इस विधेयक को भाजपा भी कुछ संशोधनों के साथ पारित कराना चाहती थी। सरकार चाहती तो दोनों आरोपी मंत्रियों के इस्तीफे पहले भी हो सकते थे। ऐसे में संसद की कार्यवाही भी चलती। लेकिन कांग्रेस ऐसा नहीं चाहती थी। विदेश के मोर्चे पर उन्होंने सरकार को कठघरे में खड़ा किया और खेद जताया कि विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद ने चीन से घुसपैठ के मसले पर चर्चा तक नहीं की। मोदी और प्रभावी होंगे: राजनाथ कर्नाटक की करारी हार के बाद गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी के 'करिश्मे' पर भले ही सवाल उठ रहे हों, लेकिन भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह इससे सहमत नहीं हैं। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में मोदी और सक्रिय और प्रभावी भूमिका में रहेंगे। कर्नाटक में हार स्वीकार करते हुए उन्होंने आशा जताई कि आने वाला समय भाजपा का होगा। उन्होंने कहा कि जब लंबी छलांग लगानी होती है तो कभी कभी तीन चार कदम पीछे भी लेना पड़ते हैं। गौरतलब है कि पिछले कुछ चुनावों में भाजपा उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और अब कर्नाटक की सरकार गंवा चुकी है। राजनाथ ने कहा कि चुनाव केवल बड़े नेताओं के बीच नहीं होते हैं। राज्यों में उम्मीदवार और माहौल का भी संघर्ष होता है। मोदी लोकप्रिय नेता हैं और भविष्य में भी उनकी प्रभावी भूमिका होगी। अन्य राज्यों के लिए रणनीति भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी 7 से 9 जून के बीच गोवा में संभावित है। दिल्ली समेत मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान और संभवत: झारखंड में भी होने वाले चुनाव की रणनीति पर भी वहां चर्चा होगी। माना जा रहा है कि वहां से संसदीय क्षेत्रों तक संगठन मजबूत करने के साथ-साथ आंदोलन को अंतिम रूप दिया जाएगा।मोबाइल पर ताजा खबरें, फोटो, वीडियो व लाइव स्कोर देखने के लिए जाएं m.jagran.com पर