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अब वक्फ बिल की रिपोर्ट पेश करने के समय पर घमासान, विपक्ष ने जेपीसी अध्यक्ष के फैसले का किया विरोध

Waqf bill JPC Report लंबी बहस के बाद अब वक्फ संशोधन विधेयक को लेकर जेपीसी की रिपोर्ट अंतत तैयार है लेकिन अब इसके जारी करने के समय को लेकर खींचतान शुरू हो गई है। जेपीसी अध्यक्ष की ओर से संसद के शीत सत्र में रिपोर्ट पेश किए जाने की घोषणा के बाद विपक्ष ने इस फैसले का विरोध करते हुए हंगामा किया है। पढ़ें क्या है पूरा मामला।

By Jagran News Edited By: Sachin Pandey Updated: Thu, 21 Nov 2024 08:03 PM (IST)
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जेपीसी अध्यक्ष ने रिपोर्ट को संसद के शीत सत्र में पेश करने की घोषणा की है। (File Image)
जेएनएन, नई दिल्ली। वक्फ संशोधन विधेयक को लेकर अब सत्तापक्ष और विपक्ष के बीच संयुक्त संसदीय समिति के समय को लेकर खींचतान शुरू हो गई है। वक्फ संशोधन बिल, 2024 की समीक्षा के लिए बनी संयुक्त संसदीय समिति के अध्यक्ष जगदंबिका पाल ने गुरुवार को फिर कहा है कि इस संबंध में कमेटी की रिपोर्ट तैयार है और इसे समय से संसद के शीत सत्र में पेश किया जाएगा, जबकि विपक्षी सदस्यों की मांग है कि वक्फ पर संयुक्त समिति के कार्यकाल को और विस्तार दिया जाए।

उनका कहना है कि विधेयक के मसौदे में हुए बदलावों के अध्ययन के लिए उन्हें और समय चाहिए। संसदीय संयुक्त समिति (जेपीसी) की एक बैठक में समिति के अध्यक्ष व भाजपा सांसद जगदंबिका पाल ने घोषणा की है कि गुरुवार की यह बैठक समिति की आखिरी बैठक होगी और जल्दी ही समिति के सदस्यों के बीच एक मसौदा रिपोर्ट वितरित की जाएगी।

विपक्षी दलों ने किया हंगामा

ऐसा सुनते ही समिति के विपक्षी दलों के सदस्यों ने हंगामा और नारेबाजी शुरू कर दी। कुछ विपक्षी सदस्यों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला का आह्वान करते हुए इस मामले में उन्हें दखल देने को कहा है। उल्लेखनीय है कि वक्फ बोर्ड के संशोधन कानून की समीक्षा रिपोर्ट सोमवार को शीतकालीन संसद सत्र के शुरू होने के पहले हफ्ते के आखिरी दिन पेश की जानी है।

शीत सत्र में वक्फ समेत 15 बिल होंगे पेश

केंद्र सरकार ने सोमवार से शुरू हो रहे शीतकालीन संसद सत्र में वक्फ संशोधन बिल और मुस्सल्लम वक्फ (निरसन) बिल समेत कुल 15 विधेयक पेश करने के लिए सूचीबद्ध किए हैं। इनमें से पांच विधेयक एकदम नए हैं। पांच नए विधेयकों में से एक सहकारिता विश्वविद्यालय स्थापित करना है।

इसके अलावा वक्फ संशोधन बिल समेत लंबित विधेयक पर रिपोर्ट को लोकसभा में पेश किया जाना है। शीत सत्र 20 दिसंबर को समाप्त होना है। सरकार पंजाब कोर्ट (संशोधन) बिल, मर्चेंट शिपिंग बिल, कोस्टल शिपिंग बिल व भारतीय बंदरगाह बिल भी पेश करेगी।