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Heavy Rainfall: पहाड़ों में बादल फटने और भूस्खलन से आई भीषण तबाही, 25 लोगों की मौत, कई लापता

भारी बारिश ने हिमाचल में तबाही मचा दी है। बादल फटने और भूस्खलन से 20 लोगों की जान चली गई। उत्तराखंड में नदी-नालों के उफान आने और मलबे में दबने से तीन की मृत्यु हो गई है। जम्मू के ऊधमपुर में मकान गिरने से दो बच्चों की मौत हो गई।

By Arun Kumar SinghEdited By: Updated: Sun, 21 Aug 2022 12:57 PM (IST)
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हिमाचल और उत्तराखंड में भारी बारिश से तबाही
नई दिल्ली, जेएनएन। उत्तर भारत के पहाड़ों में लगातार हो रही बारिश ने विकराल रूप ले लिया है। इसके चलते हिमाचल प्रदेश में 20 लोगों की मौत हो गई है और 16 अभी लापता हैं। एक ही दिन में करीब 400 करोड़ रुपये से अधिक के नुकसान का अनुमान है। इसका आकलन किया जा रहा है। दूसरी ओर उत्तराखंड में भी बादल फटने और भूस्खलन के चलते तीन लोगों की मौत हुई है। जबकि 12 अब भी लापता हैं। लापता लोगों को ढूंढने के लिए राहत अभियान शुरू किया गया है।

हिमाचल प्रदेश में बाढ़ और भूस्खलन से तबाही

हिमाचल प्रदेश आपदा प्रबंधन विभाग के मुताबिक भारी बारिश के कारण हुए भूस्खलन, बाढ़ और बादल फटने की घटनाओं में मंडी, कांगड़ा और चंबा जिले सबसे अधिक प्रभावित हुए हैं। राज्य में पिछले 24 घंटे के दौरान मौसम संबंधी 36 घटनाएं दर्ज की गई हैं। उन्होंने कहा कि मंडी में मनाली-चंडीगढ़ राष्ट्रीय राजमार्ग और शोघी में शिमला-चंडीगढ़ राजमार्ग सहित 743 सड़कों को जलभराव की वजह से यातायात के लिए बंद कर दिया गया है।

मौसम विभाग ने तीन दिन भारी वर्षा की संभावना जताई है। चंबा, मंडी, कुल्लू, कांगड़ा, सिरमौर और शिमला जिला में भारी वर्षा हो सकती है। प्रदेश में बीती रात से 32 जगहों पर सैलाब आने से तबाही मची है। राहत व बचाव कार्य के लिए एनडीआरएफ व एसडीआरएफ की मदद ली जा रही है।

उत्तराखंड के तीन जिलों में फटा बादल

उत्तराखंड के तीन जिलों पौड़ी, टिहरी और देहरादून में भारी बारिश जानलेवा साबित हुई। तीनों जिलों में अलग-अलग क्षेत्रों में बादल फटने से नदी और बरसाती नालों के उफान और मलबे की चपेट में आकर दंपती समेत तीन लोगों की मौत हो गई। जबकि 13 लोग लापता हैं और 10 घायल हुए हैं। देहरादून में एक मोटर पुल टूट गया है और प्रभावित जिलों में 50 से अधिक आवासीय भवन क्षतिग्रस्त हो गए।

बड़े पैमाने पर कृषि भूमि का कटाव हो गया। विभिन्न स्थानों पर दोपहिया, चौपहिया वाहन और मवेशी मलबे में दब गए। इनमें कुछ नालों के उफान में बह गए। इधर, चारधाम यात्रा मार्गों पर परेशानी बढ़ गई। हाईवे अवरुद्ध होने से यात्री जहां-तहां घंटों फंसे रहे। ग्रामीण अंचलों में संपर्क मार्ग क्षतिग्रस्त होने से कई इलाके अलग-थलग पड़ गए।

जम्मू में मां वैष्णो देवी यात्रा प्रभावित

जम्मू-कश्मीर के पहाड़ी इलाकों में मूसलधार बारिश और भूस्खलन से आफत बनी हुई है। बारिश ने सबसे अधिक असर माता वैष्णो देवी की यात्रा पर डाला। हिमकोटि मार्ग श्रद्धालुओं की आवाजाही के लिए बंद रखा गया। श्रद्धालु फिलहाल पुराने मार्ग से आ-जा रहे हैं। इससे पहले शुक्रवार को रातभर यात्रा बंद रही थी। वहीं, ऊधमपुर जिले में पहाड़ का मलबा एक मकान पर गिरने से दो बच्चों की मौत हो गई। इस दौरान तीन मकान मलबे में दब गए।

रियासी में फिर भूस्खलन होने से और पांच आवास मलबे से क्षतिग्रस्त हो गए। रामकोट के छलां से सटे निजी स्कूल में बाढ़ का पानी भर गया। तीन से चार फुट तक भरे पानी में फंसे बच्चों को आनन फानन रेस्क्यू कर निकाला गया।