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महसा अमिनी की नहीं हुई हत्‍या, हिजाब विरोधी प्रदर्शनों में हुई मौतों की जांच करेगा पैनल- ईरानी उप विदेश मंत्री

ईरान ने महसा अमिनी की मौत के बाद देश में शुरू हुए विरोध प्रदर्शनों में मारे गए लोगों की जांच के लिए एक पैनल का गठन किया है। भारत दौरे पर आए ईरान के उप विदेश मंत्री ने कहा है कि अमिनी की मौत प्राकृतिक रूप से हुई है।

By Jagran NewsEdited By: Kamal VermaUpdated: Thu, 24 Nov 2022 03:04 PM (IST)
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ईरान में महसा अमिनी की मौत के बाद शुरू हुए विरोध प्रदर्शन
नई दिल्ली (एएनआई)। ईरान ने हाल के विरोध प्रदर्शनों में हुई मौतों की जांच के लिए एक पैनल का गठन किया है। ये गठन गृह मंत्रालय के तहत किया गया है। इसकी जानकारी देते हुए उप विदेश मंत्री अली बघेरी बघेरी ने बताया है कि 22 वर्षीय महसा अमिनी की पुलिस हिरासत में मौत के बाद से हुए विरोध प्रदर्शनों में अब तक 50 लोग मारे गए हैं और सैकड़ों घायल हुए हैं। उन्‍होंने ये बात एक निजी टीवी पर इंटरव्‍यू के दौरान कही है। बता दें कि ईरान के उप विदेश मंत्री इन दिनों भारत दौरे पर आए हुए हैं।

हिजाब के विरोध में प्रदर्शन 

गौरतलब है कि ईरान में हिजाब के विरोध में काफी समय से महिलाएं और दूसरे मानवाधिकार संगठन सड़कों पर हैं। इतना ही नहीं ईरान की कतर में फुटबाल विश्‍व कप में गई टीम ने भी अपने मैच में राष्‍ट्रीय गान न गाकर हिजाब विरोधी मुहिम का साथ दिया है। ईरान की टीम कुर्द-ईरानी महिला महसा अमिनी के भी समर्थन में आ गई है। दुनिया भर से ईरान में जारी इस मुहिम को समर्थन हासिल हो रहा है।

नहीं हुई महसा की हत्‍या 

एक इंटरव्‍यू में बघेरी ने उन खबरों का खंडन किया है जिसमें महसा अमिनी की मौत की वजह पुलिस को बताया गया है। उन्‍होंने कहा कि उनकी हत्‍या नहीं की गई बल्कि उनका निधान हुआ है। उन्‍होंने महसा अमिनी के निधन को हत्‍या करार देने को पश्चिमी देशों की साजिश बताया है। उन्‍होंने कहा कि ईरान की सरकार पर इस मामले को लेकर जो आरोप लगाए जा रहे हैं वो भी निराधार हैं। बघेरी ने साफ किया है कि वो ईरान के लोगों की आजादी को लेकर संजीदा हैं और पश्चिमी देशों द्वारा चलाए गए हथकंडों से पूरी तरह से वाकिफ हैं।

पश्चिमी देशों पर फूटा गुस्‍सा 

बघेरी ने कहा कि पश्चिमी देश कभी भी अफगानिस्‍तान को लेकर कुछ नहीं कहते हैं। न ही वो फिलीस्‍तीन को लेकर या फिर यमन को लेकर कुछ नहीं कहते हैं। वहां पर जो कुछ हो रहा है वो कभी उसका विरोध नहीं करते हैं। यहां पर लोगों की जो जान जा रही हैं उनके पीछे आखिर कौन है। भारत के दौरे पर आए बघेरी पश्चिमी देशों के प्रति काफी सख्‍त रुख अपनाए हुए दिखाई दे रहे हैं। वे यहां पर दोनों देशों के बीच संबंधों को मजबूत करने के मकसद से आए हैं।

जयशंकर से हुई मुलाकात 

बघेरी ने इस दौरान भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर से भी मुलाकात की और विभिनन मसलों पर अपने विचार साझा किए। इस बैठक के बाद उन्‍होंने बैठक को काफी सार्थक बताते हुए कहा कि ये काफी दोस्‍ताना माहौल में हुई और कई मुद्दों पर इसमें बात हुई। इनमें अधिकतर द्विपक्षीय मुद्दे उठाए गए। उन्‍होंने कहा कि ईरान दोनों देशों केबीच मधुर संबंध चाहता है।

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