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Odisha Air Pollution: दिवाली की आतिशबाजी ने बिगाड़ी भुवनेश्वर की हवा, खतरनाक स्तर पर AQI; सांस लेना हुआ मुश्किल

Odisha Air Pollution भुवनेश्वर में दिवाली की रात हुई जमकर आतिशबाजी से शहर में प्रदूषण का लेवल बढ़ गया है। प्रदूषण इतना अधिक है कि आसमान में कृत्रिम बादल बन गया है जिसने सोमवार सुबह घने कोहरे का भ्रम लोगों में पैदा कर दिया। राजधानी में एयर क्वालिटी इंडेक्स 300 से 400 के बीच दर्ज किया गया है जो चिंता का सबब बन गया है।

By Jagran NewsEdited By: Shashank ShekharUpdated: Mon, 13 Nov 2023 03:41 PM (IST)
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दिवाली की आतिशबाजी ने बिगाड़ी भुवनेश्वर की हवा, खतरनाक स्तर पर AQI
जागरण संवाददाता, भुवनेश्वर। ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर में दिवाली की रात हुई आतिशबाजी के बाद वायु प्रदूषण काफी हद तक बढ़ गया है। पटाखों से प्रदूषण इतना अधिक हो गया है कि भुवनेश्वर के आसमान में एक कृत्रिम बादल बन गया, जिसने सोमवार सुबह घने कोहरे का भ्रम पैदा कर दिया था।

राजधानी में वायु गुणवत्ता सूचकांक 300 से 400 के बीच दर्ज किया है, जो चिंता का कारण बन गया है। सरकार एवं प्रशासन के आदेश को धता बताकर लोगों ने जमकर आतिशबाजी की।

पर्यावरणविद जयकृष्ण ने क्या कहा

पर्यावरणविद जयकृष्ण पाणिग्रही ने कहा है कि लोग सब कुछ जानने के बाद भी पर्यावरण और बाद में अपने स्वास्थ्य को भारी नुकसान पहुंचा रहे हैं। भुवनेश्वर में दिवाली के दौरान पटाखों के लगातार विस्फोट के बाद वायु गुणवत्ता गंभीर रूप से खराब हो गई है। प्रदूषण धीमा जहर है। लोगों को इस बारे में जागरूक होने की जरूरत है।

दिल्ली के कुछ इलाकों में एक्यूआई 900 पार कर गया है, जिससे वहां स्वास्थ्य आपातकाल की स्थिति पैदा हो गई है। न केवल लोग, बल्कि अधिकारी इसके लिए स्पष्ट रूप से जिम्मेदार हैं।

उन्होंने कहा कि अगर किसी नियम या अदालत के आदेश का उल्लंघन किया जा रहा है तो उन्हें कुछ लोगों के खिलाफ मामला दर्ज करना चाहिए था। साथ ही उन्हें दंडित करना चाहिए था ताकि कानून का डर बना रहे।

भुवनेश्वर में 300-400 के बीच AQI दर्ज

पर्यावरणविद ने कहा कि भुवनेश्वर में भी कुछ स्थानों पर वायु गुणवत्ता सूचकांक 300 से 400 के बीच दर्ज किया गया। यह विशेष रूप से खतरनाक है क्योंकि नवंबर के दौरान हवा का प्रवाह नहीं होता है जो प्रदूषण फैलाने वाले कणों को हवा में अधिक समय तक तैरने के लिए बनाता है।

यह हमें लंबे समय तक प्रदूषित हवा में सांस लेने के लिए मजबूर करता है, जिससे हम लंबे समय तक बीमार हो जाते हैं। 0 से 50 एक्यूआई को अच्छा माना गया है, जबकि 300 से अधिक एक्यूआई को खतरनाक वायु गुणवत्ता की श्रेणी में रखा गया है।

दिवाली में पटाखे फोड़ने पर लगाया गया था प्रतिबंध

गौरतलब है कि भुवनेश्वर-कटक आयुक्तालय पुलिस ने रविवार को दिवाली समारोह के दौरान दोनों शहरों में पटाखे फोड़ने पर प्रतिबंध लगा दिया था। 125 डेसीबल से अधिक ध्वनि स्तर वाले पटाखे फोड़ने पर प्रतिबंध लगाया गया था।

इसके अलावा पुलिस ने पर्यावरण को प्रदूषण से मुक्त रखने के लिए लोगों से ग्रीन पटाखों का उपयोग करने की अपील की थी। हालांकि, भुवनेश्वर में प्रदूषण के स्तर को देखने के बाद, यह कहना गलत नहीं होगा कि न तो लोग पुलिस के आदेश का पालन किया और न ही पुलिस के पास कानून को जमीन पर लागू करने की इच्छा है।

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