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Odisha हाईकोर्ट MP-MLA के लंबित मामलों पर सख्त, तेज सुनवाई और सरकार को हलफनामा दाखिल करने का निर्देश

ओडिशा में सांसदों और विधायकों के खिलाफ लंबित मामलों की सुनवाई अब तेज गति से होने वाली है। उड़ीसा हाईकोर्ट ने इस संबंध में सभी जिला कोर्ट और प्रदेश की नवीन पटनायक सरकार को भी निर्देश जारी किए हैं। कोर्ट ने राज्य सरकार को इस संबंध में दो हफ्ते बाद अगली सुनवाई में हलफनामा दाखिल करने के लिए कहा है।

By Sheshnath Rai Edited By: Yogesh Sahu Updated: Fri, 12 Jan 2024 12:58 PM (IST)
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ओडिशा में MP-MLA के लंबित मामलों पर तेज होगी सुनवाई, राज्य सरकार को हलफनामा दाखिल करने का निर्देश
संवाद सहयोगी, कटक। सुप्रीमकोर्ट के निर्देश के बाद उड़ीसा हाईकोर्ट ने सांसद-विधायकों के लंबित मामलों के तत्काल सुनवाई के निर्देश दिए हैं। इसके बाद हाईकोर्ट ने राज्य के सांसद एवं विधायकों के खिलाफ वर्ष 2023 दिसंबर महीने तक लंबित मामलों की त्वरित सुनवाई करने को कहा है।

इसके साथ ही 423 फौजदारी मामले के विचार के लिए राज्य सरकार ने क्या कदम उठाया है, उस संदर्भ में जानकारी देने के लिए भी हाईकोर्ट ने निर्देश दिया है।

हाईकोर्ट के द्वारा अपनी तरफ से दायर मामले की सुनवाई कर रही कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश जस्टिस विद्युत रंजन षडंगी एवं जस्टिस एम.एस. रमण को लेकर गठित खंडपीठ ने यह निर्देश जारी किए हैं। अगली सुनवाई तक राज्य सरकार इस पर हलफनामा दाखिल करेगी। दो सप्ताह के बाद मामले की अगली सुनवाई होगी।

सुप्रीम कोर्ट से हाईकोर्ट को मिले थे निर्देश

जानकारी के मुताबिक, विभिन्न सांसद एवं विधायक के खिलाफ लंबित फौजदारी मामले की त्वरित सुनवाई का निर्देश सभी हाईकोर्ट को सुप्रीम कोर्ट की ओर से दिया गया था। इसके अनुसार ही हाईकोर्ट ने अपनी तरफ से मामला दायर किया है।

  • हाईकोर्ट ने इससे पहले हर जिला जज कोर्ट को उनके यहां लंबित मामलों की त्वरित सुनवाई का निर्देश दिया था।
  • साथ ही हर महीने की 3 तारीख तक संसद एवं विधायक के खिलाफ मामलों का स्टेटस बताने के लिए भी कहा था।
  • ऐसे मामलों के लिए गठित विशेष अदालत में किन मामलों की कब सुनवाई होगी, इसे लेकर भी हाईकोर्ट ने निर्देश दिया था।
  • जिन मामलों में मृत्यु या आजीवन कारावास की दफा लगी है, उनकी प्राथमिकता के आधार पर सुनवाई की जाए।
  • जिनमें 5 से 10 वर्ष तक सजा की व्यवस्था है, उन्हें सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया जाए। अन्य मामलों को चरणबद्ध तरीके से सुनवाई के लिए समय निर्धारित किया जाएगा।
  • इन मामलों की सुनवाई के समय विभिन्न पक्ष को बेवजह समय ना देने के लिए हाईकोर्ट ने अपने आदेश में स्पष्ट किया है।
  • उच्च न्यायालय ने मामलों की त्वरित सुनवाई के लिए जरूरत के अनुसार तकनीकी मदद लेने के लिए भी कहा है।
  • इसके साथ ही कोर्ट की वेबसाइट में विशेष टैग तैयार करने के लिए भी हाईकोर्ट ने निर्देश दिया है।

कुल 423 मामले लंबित

बता दें कि कोर्ट की वेबसाइट पर विशेष टैग में उपलब्ध तथ्य के अनुसार, वर्ष 2023 दिसंबर 31 तारीख तक ओडिशा के 30 जिलों में सांसद और विधायकों के खिलाफ कुल 423 मामले विचाराधीन हैं।

इनमें से सर्वाधिक खुर्दा जिला में 86 मामले हैं। संबलपुर में 53, गंजाम में 51, अनुगुल में 27, बालेश्वर में 28, बलांगीर में 26, कटक में 36, कोरापुट में 48, मयूरभंज 24, सुंदरगढ़ में 41 मामले दर्ज हैं।

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