राउरकेला स्टेशन पर बाइक पार्किंग की महिला कर्मी को जबरन ले जाने लगी RPF, जमकर हुआ हंगामा
राउरकेला स्टेशन परिसर स्थित मेसर्स अन्नपूर्णा युटीलिटी सर्विसेस प्राईवेट लिमिटेड के दो पहिया वाहन पार्किंग में जमकर बवाल हुआ। यहां बुधवार की सुबह राउरकेला आरपीएफ के दो कर्मचारियों ने मनमानी की सारी हदें पार कर दीं। आरोप है कि पार्किंग के मालिक (केयर टेकर) सुजीत चौधरी को वगैर जानकारी दिए पार्किंग के एंट्री गेट में कार्यरत महिला कर्मचारी को जबरन खींच कर उसे अपने साथ RPF पोस्ट ले जाने लगे।
जबरन खींचकर ले जाने लगे RPF जवान
इस दौरान उक्त महिला कर्मचारी ने इसका विरोध करते हुए आरपीएफ के कर्मचारीयों से अपना हाथ छुड़ाकर मालिक और पति सीसिर सामद को आवाज लगाई। इसके बावजूद आरपीएफ के दोनों कर्मचारी जबरन खींच कर उसे ले जाने के प्रयास से बाज नहीं आ रहे थे।बिना कारण बताए जिद पर अड़े RPF कर्मी
इस दौरान सुजीत चौधरी ने उनके महिला कर्मचारी सीतींग को किस लिए जबरन घसीट कर ले जाने की बात पूछी, बावजूद इसके महिला आरपीएफ कर्मचारी संजू कुमारी जबरन जिद पर अड़ी रही। इतना ही नहीं उसके साथ आए आरपीएफ कर्मचारी रामजी कुमार भी अपने साथी का साथ देने लगे।RPF ओसी की बढ़ रही मनमानी
सुजीत चौधरी ने आरपीएफ द्वारा मनमानी का आरोप लगाया। इस दौरान महिला कर्मचारी सीतींग सामद ने उसी महिला आरपीएफ संजु कुमारी पर मंगलवार को भी जबरन खींच कर ले जाने का आरोप लगाया, लेकिन उस दौरान उन्होंने हाथ खींच लिया था।एक घंटे बंद रहा काउंटर
इसके बाद सुजीत चौधरी खुद अपने साथ महिला कर्मचारी और उसके पति को साथ में लेकर आरपीएफ थाने लेकर गए। दूसरी तरफ RPF की मनमानी और गुंड़ागर्दी को देखते हुए पार्किंग के सभी कर्मचारियों ने पार्किंग काउंटर बंद कर दिया था। इस दौरान अपना वाहन लेने के लिए लोग आरपीएफ पोस्ट पहुंच गए, जहां उनसे स्लिप लेकर उनका वाहन छोड़ा गया।इस मामले में आरपीएफ ओसी शिव लहरी मीना ने कहावहीं दूसरी ओर केयर टेकर सुजीत चौधरी ने कहापार्किंग में काम करने वाली महिला पार्किंग कर्मचारी नहीं थी। उक्त महिला के कोई दस्तावेज भी नहीं थे। पार्किंग मालिक उक्त महिला को अवैध रूप से यहां रखा गया था। इसके कारण कर्मचारियों को पकड़ कर लाने भेजा था।
आरपीएफ की क्षमता है कि वह किसी को भी बगैर सूचना दिए कहीं से भी पकड़ सकता है। अवैध रूप से महिला को काम पर रखने के कारण आरपीएफ की ओर से एक मामला दर्ज किया गया। उक्त महिला को थाने से बेलबांड पर छोड़ा गया है।
मेरे महिला कर्मचारी को आरपीएफ के दो कर्मचारियों द्वारा थाने ले जाने पर उनको पहले मुझे इस बात की जानकारी या सूचना देनी थी, जिसके बाद ले जा सकते थे या मैं ही खुद ले जाता।
मालिक को वगैर जानकारी दिये वगैर आरपीएफ ले जाना गलत है। महिला कर्मचारी को विगत 6 दिन से पार्किंग के काम के संबंध में ट्रेनिंग में रखा गया है।
महिला कर्मचारी को आरपीएफ ओसी की नजर में अवैध रुप से रखना नजर आ गया, लेकिन आरपीएफ और रेल विभाग के आला अधिकारी खुद स्टेशन के भीतर की जांच करें, जहां हर दिन सुबह से रात तक दर्जनों अवैध रुप से हॉकरों द्वारा बिरयानी और कोल्ड्रिंक्स आरपीएफ द्वारा बिकवायी जा रही है।
खुद इसका खुलासा हो जायेगा कि उनको आरीपएफ क्यों नहीं गिरफ्तार कर रही है? सीधे लोगों को शराफत से जीने नहीं देती है आरपीएफ।