Jagannath Mandir: 23 अगस्त को रत्न भंडार से स्थानांतरित की जाएगी खाली आलमारी-सिंदूक, इस दौरान बंद रहेगा सर्व साधारण दर्शन
पुरी महाप्रभु जगन्नाथ जी के रत्न भंडार से खाली आलमारी एवं सिंदूक 23 अगस्त को स्थानांतरित किया जाएगा। दोनों आंतरिक एवं बाहरी रत्न भंडार से आलमारी एवं सिंदूक को निकालकर नीलाद्री बिहार म्यूजियम के निकट मौजूद घर में स्थानांतरित किया जाएगा। राज्य सरकार की एसओपी के अनुसार यह स्थानांतरण प्रक्रिया की जाएगी। 23 अगस्त को दोपहर 1 बजे से यह स्थानांतरण प्रक्रिया शुरू होगी।
जागरण संवाददाता, भुवनेश्वर। पुरी महाप्रभु जगन्नाथ जी के रत्न भंडार से खाली आलमारी एवं सिंदूक 23 अगस्त को स्थानांतरित किया जाएगा। दोनों आंतरिक एवं बाहरी रत्न भंडार से आलमारी एवं सिंदूक को निकालकर नीलाद्री बिहार म्यूजियम के निकट मौजूद घर में स्थानांतरित किया जाएगा।
राज्य सरकार की एसओपी के अनुसार यह स्थानांतरण प्रक्रिया की जाएगी। 23 अगस्त को दोपहर 1 बजे से यह स्थानांतरण प्रक्रिया शुरू होगी। इस समय से स्थानांतरण प्रक्रिया खत्म होने तक भक्तों के लिए भगवान का सर्वसाधारण दर्शन बंद रहेगा।
विशेष नीति बनायी गई
चतुर्धा विग्रह की रीति नीति यानी सेवा पूजा में कोई व्यवधान ना हो, ऐसे में स्थानांतरण प्रक्रिया के लिए जरूरी समय देने हेतु विशेष नीति बनायी गई है। महाप्रसाद खरीदने के लिए आग्रही भक्त सिंहद्वार से बाइस सीढ़ी होते हुए आनंद बाजार से महाप्रसाद खरीद कर उत्तर द्वार बाहर निकल जाएंगे।
गौरतलब है कि महाप्रभु का बाहरी एवं आंतरिक रत्न भंडार 14 एवं 18 जुलाई को खोला गया था। रत्न भंडार में रहने वाले रत्न एवं आभूषण को अस्थाई रत्न भंडार में स्थानांतरित कर दिया गया है।
एएसआई रत्न भंडार को श्रीमंदिर प्रशासन को हस्तांतर करेगी
रत्नों के स्थानांतरण के बाद विशेषज्ञ टीम ने बाहरी एवं आंतरिक भंडार की जांच की थी। इसके इसके मरम्मत का दायित्व एएसआई को दिया गया है। रत्न भंडार के मरम्मत का कार्य खत्म होने के बाद एएसआई रत्न भंडार को श्रीमंदिर प्रशासन को हस्तांतर करेगी। इसके बाद महाप्रभु के रत्नों को बाहरी एवं आंतरिक रत्न भंडार में रखा जाएगा और रत्नों की गिनती एवं मरम्मत का काम किया जाएगा।