Asian Games: स्टीपलचेज में गोल्ड मेडल जीतने वाले पहले IND एथलीट बने अविनाश साबले, कायम किया नया एशियाई रिकॉर्ड
एशियन गेम्स 2023 में भारतीय खिलाड़ियों का जलवा कायम है। चीन की धरती पर खेले जा रहे टूर्नामेंट के आठवें दिन एथलेटिक्स में भी भारत का खाता खुल गया है। अविनाश साबले ने 3 हजार मीटर की स्टीपलचेज में देश को ऐतिहासिक गोल्ड मेडल दिलाया है। अविनाश ने स्वर्ण पदक को अपने नाम करने के साथ-साथ नया रिकॉर्ड भी कायम कर दिया है।
नई दिल्ली, स्पोर्ट्स डेस्क। एशियन गेम्स 2023 में भारतीय खिलाड़ियों का जलवा कायम है। चीन की धरती पर खेले जा रहे टूर्नामेंट के आठवें दिन एथलेटिक्स में भी भारत का खाता खुल गया है। अविनाश साबले ने 3 हजार मीटर की स्टीपलचेज में देश को ऐतिहासिक गोल्ड मेडल दिलाया है। अविनाश ने स्वर्ण पदक को अपने नाम करने के साथ-साथ नया रिकॉर्ड भी कायम कर दिया है। अविनाश एशियन गेम्स में स्टीपलचेज में देश को मेडल दिलाने वाले पहले एथलीट भी बने हैं।
अविनाश ने गोल्ड पर जमाया कब्जा
अविनाश साबले ने स्टीपलचेज के फाइनल मुकाबले में बेहतरीन प्रदर्शन किया। 3 हजार मीटर की रेस को अविनाश ने महज 8:19:50 सेकंड में पूरा किया। अविनाश ने स्वर्ण पदक को अपने नाम करने के साथ-साथ नया एशियन रिकॉर्ड भी कायम किया है। एशियन गेम्स 2023 में एथलेटिक्स में यह भारत की झोली में आया पहला मेडल भी है। अविनाश रेस की शुरुआत से ही लीड में नजर आए और भारतीय एथलीट ने इस बढ़त को अंत तक बरकरार रखा।
.@avinash3000m strikes #Gold🥇at #AsianGames2022 with a new #AsianGames Record 🥳
The ace #TOPSchemeAthlete clocked a time of 8:19.50 in Men's 3000m Steeplechase Event!
What a performance Avinash🌟! Heartiest Congratulations 👏👏#Cheer4India#HallaBol#JeetegaBharat… pic.twitter.com/fP9cPslmmW— SAI Media (@Media_SAI) October 1, 2023
भारत का दमदार प्रदर्शन जारी
एशियन गेम्स 2023 में भारत की झोली में आया यह 12वां गोल्ड मेडल है। इससे पहले टूर्नामेंट के आठवें दिन भारत की शुरुआत दमदार रही और पुरुषों की ट्रैंप शूटिंग टीम ने स्वर्ण पदक पर कब्जा जमाया। इसके बाद इसी खेल में देश की बेटियों ने भी कमाल दिखाया और सिल्वर मेडल को अपने नाम किया। वहीं, गोल्फ में अदिति अशोक ने इतिहास रचते हुए भारत को पहला रजत पदक दिलाया। हालांकि, सेमीफाइनल में निकहत जरीन अपना सेमीफाइनल मैच हार गईं और उन्हें ब्रॉन्ज मेडल से संतोष करना पड़ा।