Vinesh Phogat ने भावुक पोस्ट में अपनी जिंदगी के बारे में सबकुछ किया बयां, 2032 तक खेलने की बात कहकर चौंकाया
विनेश फोगाट पेरिस ओलंपिक-2024 में मेडल से चूक गई थीं क्योंकि उनका वजन ज्यादा हो गया था। इसके बाद विनेश ने संन्यास लेना का एलान कर दिया था। विनेश ने इस मामले में सीएएस में अपील भी की थी लेकिन उन्हें सफलता नहीं मिली थी। अब विनेश ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर एक भावुक पोस्ट लिखी है और सभी को हैरान कर दिया है।
स्पोर्ट्स डेस्क, नई दिल्ली। पेरिस ओलंपिक-2024 में ओवरवेट होने के कारण मेडल से चूकने वाली भारत की महिला पहलवान विनेश फोगाट ने शुक्रवार को एक पोस्ट किया है और सनसनी फैला दी है। विनेश ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर तीन पन्ने पोस्ट किए हैं जिनमें अपना अभी तक का सफर बताया है। विनेश ने इस पोस्ट के आखिरी पैरा में 2032 तक खेलने का हिंट दिया है।
विनेश ने माना है कि उनको नहीं पता उनका भविष्य क्या होगा लेकिन वह जिस बात को सही मानती हैं उसके लिए हमेशा लड़ती रहेंगी। विनेश पेरिस ओलंपिक-2024 में 50 किलोग्राम भारवर्ग के फाइनल में पहुंचने वाली भारत की पहली महिला खिलाड़ी बनी थीं।
फाइनल से पहले उनका जब वजन तौला गया तो वो 100 ग्राम ज्यादा निकला और इसलिए विनेश आयोग्य घोषित कर दी गईं जिसके कारण उनका ओलंपिक मेडल जीतने का सपना टूट गया था। इसके बाद विनेश ने कुश्ती से संन्यास का एलान कर दिया था।
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2032 तक नहीं लेती संन्यास
विनेश ने जो पोस्ट लिखी है उसमें अपना पिता के बारे में भी बताया है। विनेश ने लिखा है कि उनका सफर कैसे शुरू हुआ और वह यहां तक कैसे पहुंची। इस पोस्ट के आखिरी पैरा में विनेश लिखती हैं, "कहने को काफी कुछ है, लेकिन शब्द कभी पर्याप्त नहीं होंगे। हो सकता है कि जब समय सही हो मैं इस पर दोबारा बात करूं। 6 अगस्त की रात और सात अगस्त की सुबह, हमने हार नहीं मानी। हमारी कोशिशें नहीं रुकीं। हम झुके नहीं, लेकिन घड़ी रुक गई और समय सही नहीं था। मेरा भाग्य भी। मेरी टीम, भारतीयों के लिए, मेरे परिवार के लिए, हम जिस गोल के लिए काम कर रहे थे। वो अधूरा रह गया। ये हमेशा मिसिंग रहेगा।"— Vinesh Phogat (@Phogat_Vinesh) August 16, 2024
उन्होंने लिखा, "हो सकता है कि कुछ अलग हालात में, मैं अपने आप को 2032 ओलंपिक तक खेलते देख सकती हूं, क्योंकि मेरे अंदर लड़ने की भावना और कुश्ती हमेशा रहेगी। मुझे नहीं पता कि भविष्य क्या है और मेरे लिए सफर में आगे क्या होगा। लेकिन एक बात पक्की है कि मैं हमेशा उस बात के लिए लड़ती रहूंगी जो मुझे सही लगती है।"