Waqf Act: 'भारत में एक और पाकिस्तान ना बने', BJP विधायक ने वक्फ जमीनों पर पीएम मोदी को लिखी चिट्ठी
BJP MLA Yatnal भाजपा विधायक यत्नमाल ने शुक्रवार को विजयपुरा में संवाददाताओं को बताया कि पीएम मोदी को लिखे पत्र में वक्फ की संपत्तियों को सभी पंथों के गरीब तबकों के कल्याण के लिए इस्तेमाल करने की अपील की गई है। उनका कहना है कि वक्फ के राष्ट्रीयकरण से भारत में समान रूप से भूमि का वितरण हो सकेगा। ॉ
बेंगलुरु, आइएएनएस। कर्नाटक के विजयपुरा से भाजपा विधायक बसनगौड़ा पाटिल यत्नमाल ने बताया कि उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को भारत में एक और पाकिस्तान का उदय होने से रोकने के उद्देश्य से एक पत्र लिखा है। उन्होंने पत्र में वक्फ बोर्ड की सभी संपत्तियों को सरकार को अपने अधीन करके उसका राष्ट्रीयकरण करने की सलाह दी है।
वहीं, भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने आरोप लगाया कि कर्नाटक के विजयपुरा में किसानों की संपत्तियों को वक्फ का नोटिस भेजकर हड़पा जा रहा है। एक मंदिर भी वक्फ के अवैध कब्जे का शिकार है।
वक्फ संपत्तियों का राष्ट्रीयकरण हो
भाजपा विधायक यत्नमाल ने शुक्रवार को विजयपुरा में संवाददाताओं को बताया कि पीएम मोदी को लिखे पत्र में वक्फ की संपत्तियों को सभी पंथों के गरीब तबकों के कल्याण के लिए इस्तेमाल करने की अपील की गई है। उनका कहना है कि वक्फ के राष्ट्रीयकरण से भारत में समान रूप से भूमि का वितरण हो सकेगा। उन्होंने यह मांग मनमाने वक्फ कानून और उसके दुरुपयोग के चलते की है। वक्फ भारत में तीसरा सबसे बड़ा भू संपत्ति का मालिक है। पहले और दूसरे स्थान पर रक्षा विभाग और रेल मंत्रालय हैं।यत्नमाल ने कहा कि किसानों, मठों, मंदिरों और पूरे के पूरे गांवों की संपत्तियों पर वक्फ की संपत्ति होने का दावा है। अगर यह जारी रहा तो पूरा देश भविष्य में एक बड़े संकट से गुजरेगा। पीएम को लिखे पत्र में बताया कि कर्नाटक में किसानों, मठों, मंदिरों और मकान मालिकों की संपत्तियों पर वक्फ बोर्ड ने अपना दावा ठोंक रखा है। यह हमारे संविधान में दिए समानता के अधिकार का उल्लंघन है।
क्या है वक्फ बोर्ड, कब हुआ गठन; अब इस पर बवाल क्यों? पढ़ें- 10 सवाल और उनके जवाबकेंद्र सरकार के वक्फ अधिनियम की समीक्षा के लिए गठित संयुक्त संसदीय समिति गठित किए जाने के बाद से वक्फ बोर्ड के मनमाने दावे बढ़ गए हैं और नोटिस जारी करने, आरटीसी में नाम बदलने की प्रक्रिया में तेजी आई है। अगर वक्फ का मकसद समाज सेवा है तो पंथनिरपेक्ष भारत में यह बिना किसी धार्मिक भेदभाव के होना चाहिए। इस बीच, कर्नाटक के उप मुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने कहा कि यत्नमाल को दिमागी दिक्कत है। उन्हें अस्पताल में भर्ती कराना चाहिए।