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'हमें अपने अन्नदाताओं के प्रति उदार होना चाहिए', कांग्रेस ने किसान नेताओं की मीडिया बाइट को उल्लंघन न बताने का किया आग्रह

कांग्रेस ने किसानों को लेकर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखा है। इस पत्र में कांग्रेस ने आग्रह किया है कि किसान नेताओं की मीडिया से बातचीत को शिष्टाचार का उल्लंघन नहीं माना जाए। साथ ही पार्टी ने कहा कि हमें अपने अन्नदाताओं के प्रति उदार होना चाहिए और संसद परिसर में भी उनकी अभिव्यक्ति के अधिकार का हनन नहीं करना चाहिए।

By Jagran News Edited By: Babli Kumari Updated: Tue, 30 Jul 2024 05:19 PM (IST)
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लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ( फाइल फोटो )
पीटीआई, नई दिल्ली। कांग्रेस ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से आग्रह किया कि पिछले सप्ताह संसद परिसर में विपक्ष के नेता राहुल गांधी से मुलाकात के बाद किसान नेताओं की मीडिया से बातचीत को शिष्टाचार का उल्लंघन नहीं माना जाए। साथ ही, कांग्रेस ने महिला आरक्षण विधेयक सदन में पेश किए जाने के बाद महिला फिल्म स्टारों और अन्य लोगों द्वारा पत्रकारों से बातचीत करने के पिछले उदाहरणों का हवाला दिया।

कांग्रेस के संगठन महासचिव के सी वेणुगोपाल ने बिड़ला को लिखे पत्र में कहा कि जब गांधी 29 जुलाई को केंद्रीय बजट 2024-25 पर चर्चा के दौरान बोल रहे थे, तो उन्हें बताया गया कि उनसे मिलने आए किसानों द्वारा मीडिया से बात करने से संसद की मर्यादा का उल्लंघन हुआ है।

'गैर-सांसदों ने पहले भी कई मौकों पर मीडिया से बात की'

कांग्रेस सूत्रों के अनुसार, वेणुगोपाल ने पत्र में कहा, 'सबसे पहले, मैं यह बताना चाहूंगा कि गैर-सांसदों ने पहले भी कई मौकों पर मीडिया से बात की है। महिला आरक्षण विधेयक पेश किए जाने के समय कई महिला फिल्मस्टारों, कलाकारों और खिलाड़ियों को आमंत्रित किया गया था और उन्होंने मीडिया से बात करते हुए सरकार के कदम की सराहना की थी।' 

'कांग्रेस ने ऐसे कई अवसरों पर नहीं जताई कोई आपत्ति'

सूत्रों के अनुसार वेणुगोपाल ने अध्यक्ष को लिखे पत्र में कहा कि कांग्रेस ने तब या अन्य अवसरों पर भी कोई आपत्ति नहीं जताई थी, जब मुख्यमंत्रियों और पूर्व सांसदों सहित संसद में आने वाले आगंतुक मीडिया से बात करते थे। उन्होंने कहा कि विपक्षी दल का मानना ​​है कि नागरिकों की आवाज (चाहे वे किसान हों या राजनेता) संसद की गरिमा से किसी भी तरह से समझौता करने के बजाय लोकतंत्र को मजबूत करती है।

'संसद की मर्यादा का उल्लंघन नहीं कहा जाना चाहिए'

वेणुगोपाल ने पत्र में कहा, 'मैं भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की ओर से आपसे आग्रह करता हूं कि मीडिया के साथ किसानों की बातचीत को संसद की मर्यादा का उल्लंघन नहीं कहा जाना चाहिए। हमें अपने अन्नदाताओं के प्रति उदार होना चाहिए और संसद परिसर में भी उनकी अभिव्यक्ति के अधिकार का हनन नहीं करना चाहिए।'

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