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एक फरवरी को पेश होगा अंतरिम बजट, सर्वदलीय बैठक में बोले संसदीय कार्य मंत्री- सरकार हर मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार

प्रत्येक सत्र से पहले एक बैठक बुलाने की प्रथा है क्योंकि विभिन्न दलों के नेता उन मुद्दों को उजागर करते हैं जिन्हें वे संसद में उठाना चाहते है और सरकार उन्हें अपने एजेंडे की एक झलक प्रदान करती है और उनका सहयोग मांगती है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण लोकसभा चुनाव से पहले अंतरिम बजट पेश करने वाली हैं। इसके बाद नई सरकार पूर्ण बजट पेश करेगी।

By Agency Edited By: Shalini Kumari Updated: Tue, 30 Jan 2024 02:41 PM (IST)
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बजट सत्र से पहले बुलाई गई सर्वदलीय बैठक
पीटीआई, नई दिल्ली। सरकार ने मंगलवार को विभिन्न दलों के नेताओं से कहा कि वह संसद के आगामी बजट सत्र में हर मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार है। बजट सत्र की पूर्व संध्या पर सरकार द्वारा बुलाई गई पारंपरिक सर्वदलीय बैठक से बाहर निकलते हुए, संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने बातचीत को बहुत सौहार्दपूर्ण बताया है। साथ ही, उन्होंने कहा कि सरकार संक्षिप्त सत्र के दौरान हर मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार है।

मालूम हो कि संसदीय चुनावों की घोषणा से पहले यह मौजूदा लोकसभा का आखिरी सत्र होगा। रक्षा मंत्री और लोकसभा में उपनेता राजनाथ सिंह, संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी और उपनेता अर्जुन राम मेघवाल ने बैठक में सरकार का प्रतिनिधित्व किया।

विपक्ष के कई वरिष्ठ नेता रहे मौजूद

संसद भवन परिसर में बैठक में उपस्थित नेताओं में कांग्रेस के के सुरेश, टीएमसी के सुदीप बंदोपाध्याय, डीएमके के टीआर बालू, शिवसेना के राहुल शेवाले, समाजवादी पार्टी के एसटी हसन, जेडी (यू) के रामनाथ ठाकुर और टीडीपी के जयदेव गल्ला शामिल थे।

भारत जोड़ो न्याय यात्रा से जुड़े मुद्दों पर चर्चा

राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे का प्रतिनिधित्व करने वाले कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा कि उन्होंने असम में राहुल गांधी के नेतृत्व वाली भारत जोड़ो न्याय यात्रा पर हिंसक हमले और राज्य सरकार के प्रतिबंधों का मुद्दा उठाया।

समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, प्रमोद तिवारी ने कहा कि देश में अलिखित तानाशाही कायम है और उन्होंने केंद्र सरकार पर झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद जैसे विपक्षी नेताओं को निशाना बनाने के लिए सीबीआई और ईडी जैसी जांच एजेंसियों का दुरुपयोग करने का आरोप भी लगाया। तिवारी ने कहा कि उन्होंने विपक्षी दलों से सलाह के बाद ये मुद्दे उठाए हैं।

31 जनवरी से 9 फरवरी तक चलेगा सत्र

बता दें कि प्रत्येक सत्र से पहले एक बैठक बुलाने की प्रथा है, क्योंकि विभिन्न दलों के नेता उन मुद्दों को उजागर करते हैं, जिन्हें वे संसद में उठाना चाहते है और सरकार उन्हें अपने एजेंडे की एक झलक प्रदान करती है और उनका सहयोग मांगती है।

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इस बार यह एक छोटा सत्र होगा, जो 31 जनवरी से 9 फरवरी के बीच चलेगा। इसमें वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण लोकसभा चुनाव से पहले अंतरिम बजट पेश करने वाली हैं। इसके बाद नई सरकार पूर्ण बजट पेश करेगी। सत्र की शुरुआत दोनों सदनों की संयुक्त बैठक में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के संबोधन से होगी।

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