Karnataka News: दिवाली पर पत्रकारों को उपहार में मिले लाखों रुपये! कांग्रेस बोली- क्या यह सरकारी खजाने से आया?
कर्नाटक में दीवाली पर पत्रकारों को नकद उपहार दिए जाने का मामला अब तूल पकड़ता जा रहा है। इस मामले को लेकर कांग्रेस पार्टी राज्य सरकार पर हमलावर है। कांग्रेस महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने सरकार से जांच की मांग की है।
By AgencyEdited By: Mohd FaisalUpdated: Sat, 29 Oct 2022 03:16 PM (IST)
बेंगलुरु, एजेंसी। कांग्रेस पार्टी ने दीवाली पर पत्रकारों को नकद उपहार दिए जाने के मामले में कर्नाटक सरकार को घेरा है। कांग्रेस पार्टी ने पत्रकारों को 'नकद उपहार' देने के आरोपों की न्यायिक जांच की मांग की है। जानकारी के अनुसार, कांग्रेस का आरोप है कि दिवाली पर कुछ पत्रकारों को मिठाई के डिब्बे के साथ 'नकद उपहार' भी दिए गए थे।
रणदीप सिंह सुरजेवाला ने सीएम बोम्मई पर उठाए सवाल
कांग्रेस महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने ट्वीट कर कर्नाटक सरकार से सवाल पूछा है। उन्होंने #40PercentSarkar लिखते हुए कहा कि सरकार ने पत्रकारों को 1 लाख रुपये की रिश्वत दी है! क्या मुख्यमंत्री बोम्मई जवाब देंगे। उन्होंने आगे लिखा कि क्या मुख्यमंत्री द्वारा रिश्वत नहीं दी जा रही है? 1,00,000 का स्रोत क्या है? क्या यह सरकारी खजाने से आया है या खुद सीएम से? क्या ईडी/आईटी इसे देखेगा?
कांग्रेस महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने आगे कहा कि कर्नाटक के साहसी लेखकों को सलाम, जिन्होंने सीएम बोम्मई और मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ) के #BribeGate का पर्दाफाश किया। आशा है कि भाजपा सरकार को यह एहसास होगा कि हर कोई नहीं बिक सकता है।
जनाधिकार संघ परिषद ने लोकायुक्त के पास दर्ज कराई शिकायत
इस बीच, एक गैर-सरकारी संगठन जनाधिकार संघ परिषद (जेएसपी) ने मुख्यमंत्री के खिलाफ कर्नाटक लोकायुक्त के पास शिकायत दर्ज कराई है। शिकायतकर्ताओं का आरोप है कि कई मीडिया घरानों के मुख्य पत्रकारों को सीएम ने अपने करीबी सहयोगी के माध्यम से रिश्वत दी थी। शिकायतकर्ता ने कहा कि एक अंग्रेजी दैनिक और एक कन्नड़ दैनिक के मुख्य पत्रकारों को मिठाई के डिब्बे में एक-एक लाख रुपये का भुगतान किया गया। दोनों ने अपने उच्चाधिकारियों को इसके बारे में बताया था। हालांकि, उन्होंने उन्हें पैसे वापस करने का निर्देश दिया।कांग्रेस ने की मामले में जांच की मांग
वहीं, कर्नाटक प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ) द्वारा पत्रकारों को दिए गए तोहफे के मामले में न्यायिक जांच की मांग की है। कांग्रेस का कहना है कि राज्य के लोगों को पता होना चाहिए कि रिश्वत के रूप में कितना पैसा दिया गया, कितना मिला, कितना वापस किया गया।