OBC के लिए सारे दांव लगाएगी मोदी सरकार, सालों से अटके पड़े मामलों को निपटाने की तैयारी
केंद्र सरकार ओबीसी वर्ग को साधने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ना चाहती है इसिलए सरकार उन मुद्दों मुद्दों को तेजी से सुलझाने में जुट गई है जो वर्षों से लंबित थे। इनमें ओबीसी छात्रों को मिलने वाली पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति की पात्रता के दायरे को विस्तार देने का भी एक मुद्दा था। पढ़ें सरकार की क्या-क्या है तैयारी और कौन से बड़े निर्णय लिए जा सकते हैं।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। हरियाणा विधानसभा चुनाव में ओबीसी (अन्य पिछड़ा वर्ग) के साथ आने से मिली जीत से उत्साहित केंद्र सरकार अब ओबीसी को साधने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ रही। ओबीसी से जुड़े उन सभी मुद्दों को तेजी से सुलझाने में जुट गई है, जो वर्षों से लंबित थे।
इनमें ओबीसी छात्रों को मिलने वाली पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति की पात्रता के दायरे को विस्तार देने का भी एक मुद्दा था। इसमें अभी सिर्फ ढाई लाख रुपये सालाना आय वाले परिवारों के बच्चे ही पात्र थे, लेकिन सरकार अब पात्रता के दायरे को आठ लाख रुपये सालाना करने की तैयारी में है।
महाराष्ट्र में मिल सकता है लाभ
क्रीमी लेयर की आयु सीमा बढ़ाने पर भी विचार चल रहा है। अगले महीने ही महाराष्ट्र और झारखंड विधानसभा के चुनाव होने जा रहे हैं। माना जा रहा है कि केंद्र सरकार की इस पहल का बड़ा लाभ उसे महाराष्ट्र के चुनावों में मिल सकता है, जहां ओबीसी की एक बड़ी संख्या है।
केंद्र सरकार ने इसके साथ ही ओबीसी को साधने के लिए 2017 से बढ़ाए नहीं गए क्रीमीलेयर के दायरे को भी विस्तार देने की पहल की है, जिसमें इसे आठ लाख से बढ़ाते हुए करीब 12 लाख तक करने का प्रस्ताव है। हालांकि, ओबीसी संगठनों की मांग इसे पंद्रह लाख रुपये तक करने की है।