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मंदिर निर्माण के चंदे पर कांग्रेस नेता का विवादित बयान, दि‍न में लेते हैं चंदा, रात में उसी से पीते हैं शराब

राम मंदिर को लेकर कांग्रेस विधायक कांति लाल भूरिया ने विवादित बयान दिया है। उन्‍होंने कहा कि भाजपा नेताओं ने अयोध्‍या में राम मंदिर के निर्माण के नाम पर वर्षों में हजारों करोड़ रुपये इकट्ठा किया। वह फंड कहां गया?

By Arun kumar SinghEdited By: Updated: Tue, 02 Feb 2021 05:45 PM (IST)
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कांग्रेस विधायक कांति लाल भूरिया ने विवादित बयान दिया है
झाबुआ/भोपाल, राज्‍य ब्‍यूरो। पूर्व केंद्रीय मंत्री और मध्य प्रदेश के झाबुआ से कांग्रेस विधायक कांतिलाल भूरिया ने विवादित बयान दिया है। उन्होंने कहा कि राम मंदिर के नाम पर भाजपाई चंदा ले रहे हैं और शाम को नदी पर जाकर शराब पी रहे हैं।

मंगलवार को इस बयान को तोड़-मरोड़ कर पेश करने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि शराब पीने की बात नहीं कही है, सिर्फ यह कहा है कि राम मंदिर के लिए पिछले सालों में काफी चंदा किया गया है, लेकिन उसका कोई हिसाब नहीं दिया गया। भूरिया के इस बयान पर भाजपा ने नाराजगी जताई है।

दरअसल, विधायक भूरिया झाबुआ जिले के पेटलावद में सोमवार को पत्रकारों से चर्चा कर रहे थे। इसी चर्चा में उन्होंने भाजपा और राज्य सरकार को आड़े हाथ लिया, लेकिन बात करते-करते बोल गए कि भाजपाई राम मंदिर के नाम पर चंदा इकट्ठा कर शाम को नदी पर जाकर दारू पी जाते हैं। उन्होंने राम मंदिर निर्माण के लिए हो रहे धनसंग्रह को लेकर भाजपा नेताओं पर निशाना साधा और यह आरोप लगा दिया कि पहले राम मंदिर मंदिर के नाम पर हजारों, लाखों, करोड़ों, अरबों का चंदा इकट्ठा किया था। उसका कोई हिसाब नहीं दिया और अब फिर से राम मंदिर के लिए चंदा इकट्ठा कर रहे हैं।

भाजपा नेता ने दिया जवाब

मध्य प्रदेश के प्रोटेम स्पीकर रामेश्वर शर्मा ने कहा कि कांतिलाल भूरिया राम भक्तों को बदनाम ना करें और चैन से राम मंदिर का निर्माण करने दें। भाजपा नेता ने कहा कि चंदे का पूरा हिसाब ट्रस्ट द्वारा रखा जा रहा है। दिग्विजय सिंह ने भी चंदा दिया है, तो भूरिया उसपर क्या कहेंगे। रामेश्वर शर्मा ने आरोप लगाया कि मजारों के नाम पर जो चंदा मांगा जाता है, वह देश विरोधी गतिविधियों में लगाया जाता है. उन्होंने कहा कि कांतिलाल भूरिया शराब की बात नहीं करें तो अच्छा है क्योंकि वह बेहतर जानते होंगे, उनकी पार्टी में कौन कितने पैग लगाता है।

सबूत दें या मांगें माफी

भाजपा के अनुसूचित जनजाति मोर्चे के प्रदेश अध्यक्ष कलसिंह भाबर ने कांतिलाल भूरिया के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि कांग्रेस नेता राम मंदिर निर्माण पचा नहीं पा रहे हैं और बौखलाहट में अनर्गल बयान देकर हिंदुओं का अपमान कर रहे हैं। भाबर ने भूरिया से अपने आरोपों के सबूत देने और ऐसा न करने पर माफी मांगने की बात कही है।

कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष भी रह चुके हैं भूरिया

अपने बयान से चर्चा में आए कांतिलाल भूरिया पिछले 43 साल से झाबुआ क्षेत्र में कांग्रेस की राजनीति कर रहे हैं। मनमोहन सिंह सरकार में दो बार केंद्रीय मंत्री रहने के अलावा वे प्रदेश की कांग्रेस सरकार में भी कई बार मंत्री रह चुके हैं। 2013 के विधानसभा चुनाव के समय वे प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष थे। वर्तमान में वे झाबुआ से विधायक हैं।

महाराष्‍ट्र के कांग्रेस नेता ने भी उठाए सवाल

भूरिया से अलावा महाराष्ट्र कांग्रेस के नेता सचिन सावंत ने भी राम मंदिर के चंदे पर सवाल उठाया। उन्होंने आरोप लगाया कि राम मंदिर के नाम पर पैसा इकट्ठा करना भाजपा के लिए बिजनेस हो गया है। सावंत ने कहा कि आम लोगों को ऐसे लोगों से सावधान रहना चाहिए। सचिन सावंत ने कहा कि राम मंदिर का फंड सिर्फ मंदिर के लिए इस्तेमाल हो तो ठीक है, लेकिन भाजपा और आएसएस का इतिहास ये बताता है कि वो इसका इस्तेमाल अपनी पार्टी और कार्यकर्ताओं के लिए कर सकते हैं।

दिग्विजय सिंह ने भी चंदे पर उठाया था सवाल

मध्‍य प्रदेश के नेता इससे पहले भी राम मंदिर के चंदे को लेकर सवाल उठाते रहे हैं। पिछले दिनों राम मंदिर निर्माण के लिए मप्र पूर्व मुख्‍यमंत्री और कांग्रेस के दिग्‍गज नेता दिग्विजय सिंह ने 1 लाख 11 हजार 111 रुपये का चंदा दिया था। दिग्विजय सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जरिये राम जन्‍मभूमि तीर्थ ट्रस्‍ट को चेक भेजा। उन्‍होंने पीएम मोदी को पत्र भी लिखा था। उन्‍होंने राम मंदिर निर्माण के लिए देश में लोगों से चंदा जुटाने का काम सौहार्द्रपूर्ण तरीके से करने की अपील की। इसके साथ ही कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने विश्व हिंदू परिषद के पुराने चंदे का लेखा-जोखा जनता के सामने रखने की भी मांग की थी।

विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय संयुक्त मंत्री सुरेंद्र जैन ने दिग्विजय सिंह के पत्र पर पलटवार करते हुए कहा कि कांग्रेस नेताओं ने फिर से यह सिद्ध कर दिया है कि वो देश की जनता को भी धोखा देते हैं और भगवान राम के नाम पर भी छल-कपट और धोखाधड़ी करते हैं। कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने राम मंदिर निर्माण के लिए एक चेक भेजा तो सही पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पास। इसका मतलब बड़ा स्पष्ट है कि उनका इरादा राम मंदिर के निर्माण में सहयोग करना नहीं था। वो इस अवसर का अपनी ओछी राजनीति के लिए प्रयोग करना चाहते हैं और कुछ नहीं।

श्री राम जन्मभूमि तीर्थक्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने कहा कि उन्हें इस बात की जानकारी मिली है कि पहले दो दिनों में 100 करोड़ से ज्‍यादा राशि इकट्ठा कर ली गई है।