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सांसद के तौर पर शशि थरूर को अयोग्य घोषित किया जाए, भाजपा सांसद ने लगाया गंभीर आरोप

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को लिखे पत्र में सांसद निशिकांत दुबे ने कहा कि थरूर सूचना तकनीक (आइटी) वाली संसद की स्थायी समिति के अध्यक्ष पद का इस्तेमाल अपनी पार्टी के हित साधने और केंद्र सरकार की छवि खराब करने में इस्तेमाल कर रहे हैं।

By Sanjeev TiwariEdited By: Updated: Tue, 25 May 2021 07:36 PM (IST)
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निशिकांत दुबे ने कहा देश और सरकार को बदनाम करने के लिए असंयत व्यवहार कर रहे थरूर (फाइल फोटो)
नई दिल्ली, एजेंसियां। भारतीय जनता पार्टी के सांसद निशिकांत दुबे ने कोरोना के वैरिएंट को बार-बार 'इंडियन वैरिएंट' कहकर पुकारने के लिए कांग्रेस के शशि थरूर को संसद की सदस्यता के लिए अयोग्य घोषित करने की मांग की है। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को लिखे पत्र में दुबे ने कहा कि थरूर सूचना तकनीक (आइटी) वाली संसद की स्थायी समिति के अध्यक्ष पद का इस्तेमाल अपनी पार्टी के हित साधने और केंद्र सरकार की छवि खराब करने में इस्तेमाल कर रहे हैं। उल्लेखनीय है दुबे भी आइटी समिति के सदस्य हैं।

दुबे ने पत्र में कहा कि स्थायी समिति के अध्यक्ष के रूप में शशि थरूर मर्यादा की सभी सीमाएं लांघ रहे हैं। टूलकिट प्रकरण को लेकर वे केंद्र सरकार पर लगातार हमले कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि इतने बड़े कद के नेता से संयत व्यवहार की उम्मीद होती है लेकिन वे जिस तरह से पेश आ रहे हैं वह उचित नहीं है।

दुबे ने कहा कि कोरोना के भारत में पहली बार पाए गए वैरिएंट बी.1.617 को विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने इसी नाम से पुकारे जाने की बात कही है लेकिन थरूर केंद्र सरकार की आपत्ति के बावजूद इसे 'इंडियन वैरिएंट' के नाम से पुकारते हैं। वे न केवल सरकार को बल्कि देश को भी बदनाम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि जब सरकार ने इंटरनेट मीडिया के सभी प्लेटफार्म को इस वैरिएंट इंडियन वैरिएंट कहने से रोका है तो एक सांसद क्यों इसे इस नाम से पुकार रहा है। यह देश और देशवासियों को शर्मिदा करने की हरकत है।

दुबे ने कहा कि थरूर बतौर संसदीय समिति के अध्यक्ष के रूप में ऐसे मुद्दों को भी उठा रहे हैं जो इस समिति के अधिकार क्षेत्र के बाहर के हैं। वे सरकार के साथ संसद की फजीहत करने के लिए अपने पद का दुरुपयोग कर रहे हैं।

उन्होंने कहा कि थरूर को देश की नहीं अपने राजनीतिक आकाओं के हितों की चिंता है। वे राहुल गांधी का एजेंडा लागू करने के लिए देश को बदनाम कर रहे हैं। ऐसे शरारती तत्व को संसद की स्थायी समिति के अध्यक्ष पद पर बरकरार रखना देश के लोकतंत्र के लिए बहुत घातक होगा। उन्होंने लोकसभा अध्यक्ष से थरूर को आइटी समिति के अध्यक्ष पद से हटाए जाने के साथ सदन की सदस्यता के लिए अयोग्य घोषित करने की मांग की है।

उल्लेखनीय पहले भी दुबे और थरूर के बीच कई मुद्दों पर मतभेद खुलकर सामने आ चुके हैं। चाइनीज एप पर रोकलगाने, जम्मू-कश्मीर में 4जी सेवा पर रोक लगाने, फेसबुक विवाद को लेकर दोनों के बीच तीखी नोकझोंक हो चुकी है।