President Oath Ceremony: 25 जुलाई को ही क्यों होता है भारत के राष्ट्रपति का शपथ ग्रहण? जानिए कब से हुई शुरुआत
President Oath Ceremony नवनिर्वाचित राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू आज देश के सर्वोच्च संवैधानिक पद की शपथ लेंगी। मुर्मू का राष्ट्रपति बनना कई लिहाज से ऐतिहासिक अवसर होगा। आजादी के 75वें साल में देश का सर्वोच्च पद पहली बार आदिवासी समुदाय के किसी व्यक्ति को मिलेगा।
By Sanjeev TiwariEdited By: Updated: Mon, 25 Jul 2022 09:38 AM (IST)
नई दिल्ली, एजेंसी। द्रौपदी मुर्मू आज, 25 जुलाई को भारत की 15वीं राष्ट्रपति पद की शपथ लेंगी। उन्होंने अपने प्रतिद्वंद्वी यशवंत सिन्हा को बड़े अंतर से हराकर ये जीत हासिल की है। 25 जुलाई का दिन भारत के लिए बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। हर पांच साल बाद 25 जुलाई को भारत को नया राष्ट्रपति मिलता रहा है। इतिहास की बात करें तो 25 जुलाई को ही कई हस्तियों ने राष्ट्रपति पद की शपथ ली है। ऐसे में भारत के इतिहास में 25 जुलाई को राष्ट्रपति शपथ समारोह के लिए भी जाना जाता है। क्यों 25 जुलाई को ही होता है राष्ट्रपति का शपथ ग्रहण?
सबसे पहले नीलम संजीव रेड्डी ने 25 जुलाई को ली शपथ
देश के छठे राष्ट्रपति नीलम संजीव रेड्डी ने 25 जुलाई को राष्ट्रपति पद की शपथ ली थी। उसके बाद जिन भी राष्ट्रपतियों ने अपना कार्यकाल पूरा किया, उन सभी ने इसी तारीख को राष्ट्रपति पद की शपथ ली। नीलम संजीव रेड्डी के बाद से अब तक देश के कुल 8 राष्ट्रपतियों ने अपना कार्यकाल पूरा किया है। 24 जुलाई को रामनाथ कोविंद का भी कार्यकाल पूरा हो गया है और आज 25 जुलाई को द्रौपदी मुर्मू देश के राष्ट्रपति के तौर पर शपथ लेंगी।