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'हमें खुद से पूछना होगा कि...' पूजा खेडकर मामले पर शिवसेना सांसद मिलिंद देवड़ा ने नौकरशाहों को दी ये हिदायत

ट्रेनी आईएएस अधिकारी पूजा खेडकर की काफी चर्चा हो रही है। फर्जी प्रमाण पत्र जमा कर आईएएस बनने के आरोपों की जांच के लिए केंद्र सरकार ने समिति का गठन कर दिया है। इस मामले पर राज्यसभा सांसद मिलिंद देवड़ा ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि नौकरशाहों की प्रणाली में जवाबदेही होनी चाहिए। उन्होंने आगे कहा कि सार्वजनिक सेवा में कार्यरत व्यक्तियों को अपने कार्यों के लिए जवाबदेह होना चाहिए।

By Jagran News Edited By: Piyush Kumar Updated: Fri, 12 Jul 2024 10:43 AM (IST)
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ट्रेनी आईएएस अधिकारी पूजा खेडकर के मामले पर राज्यसभा सदस्य मिलिंद देवड़ा ने चिंता जाहिर की।(फोटो सोर्स: जागरण)

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। ट्रेनी आईएएस अधिकारी पूजा खेडकर की लाल-नीली बत्ती वाली ऑडी कार की तस्वीर इंटरनेट पर वायरल होने के बाद उनकी लैविश लाइफस्टाइल से लेकर फेक विकलांगता प्रमाण पत्र तक की चर्चा हो रही है।

केंद्र सरकार ने इन दावों की जांच के लिए समिति का गठन कर दिया है। वहीं, पूजा खेडकर को लेकर शिवसेना (शिंदे गुट) राज्यसभा सदस्य मिलिंद देवड़ा ने नौकरशाहों की प्रणाली में जवाबदेही की मांग की है।

भारत में गैर-जवाबदेही बनी हुई है नौकरशाही: मिलिंद देवड़ा

सार्वजनिक सेवा में कार्यरत व्यक्तियों को अपने कार्यों के लिए जवाबदेह होना चाहिए। चुनाव प्रक्रिया के जरिए ही राजनेताओं की जवाबदेही तय होती है। मिलिंद देवड़ा  ने आगे कहा कि कई बार हम राजनेताओं की आलोचना की जाती है, चाहे हम किसी भी पार्टी के हों और यह ठीक भी है, मैं इसका स्वागत करता हूं। लेकिन कृपया ध्यान रखें कि राजनेताओं के पास अभी भी जवाबदेही की एक प्रणाली है। हमें वोट देकर सत्ता में लाया जाता है और वोट नहीं देकर बाहर भी निकाल दिया जाता है। साफ है कि जनता के पास हमें कार्यालय से बाहर फेंकने की शक्ति है।'

देवड़ा ने आगे कहा,'मगर भारत में नौकरशाही की बात करें तो यह काफी हद तक गैर-जवाबदेह बनी हुई है। प्रणाली के अंदर से जवाबदेही तय करना बहुत जरूरी है। इसलिए मैं फिर से कहता हूं कि अधिकारियों को इस मामले में तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए।'

राजनेताओं, नौकरशाहों को एक मानक पर रखना होगा: मिलिंद देवड़ा

देवड़ा ने आगे कहा," मैंने जो रिपोर्ट पढ़ी हैं, उनके आधार पर यह परेशान करने वाली बात है। मेरा मानना है कि जो लोग सार्वजनिक सेवा में प्रवेश करते हैं, चाहे वे नौकरशाह हों या राजनेता या फिर मीडिया में काम करने वाले लोग, हमें खुद को एक मानक पर रखना होगा। हमें खुद से पूछना होगा कि हम अपने चुने हुए पेशे में क्यों हैं।"

राज्यसभा सांसद ने कहा कि यदि ट्रेनी अफसर के खिलाफ ये आरोप सही पाए जाते हैं। तो ऐसे अधिकारियों को बर्दाश्त नहीं किया जाना चाहिए।" उन्होंने नागरिकों के अनुकूल ठोस सार्वजनिक सेवा की संस्कृति" विकसित करने की आवश्यकता पर बल दिया।

पूजा के पास कितनी है संपत्ति?

पूजा खेडकर के पिता ने हाल ही में वंचित बहुजन आघाडी के टिकट पर चुनाव लड़ते समय अपनी संपत्ति 40 करोड़ रुपये बताई थी। स्वयं पूजा खेडकर के पास भी 17 करोड़ की संपत्ति है। फिर भी उन्होंने ओबीसी की नॉन क्रीमी लेयर के तहत यूपीएससी परीक्षा दे दी, इस पर सवाल उठ रहे हैं। ट्रेनी अवसर के रूप में पूजा पुणे जिलाधिकारी कार्यालय में तैनाती के दौरान अपनी ऑडी कार पर लाल बत्ती और महाराष्ट्र शासन की पट्टी लगाकर चलती थीं।

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