Fight Against Corona Virus : कोरोना पर बोले मुस्लिम धर्मगुरु- नमाज के लिए जिंदा रहना जरूरी
Fight Against Corona Virus मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से राज्य के सभी जिलों के 377 धार्मिक नेताओं के साथ बातचीत की।
By Umesh TiwariEdited By: Updated: Sun, 05 Apr 2020 10:12 PM (IST)
लखनऊ, जेएनएन। Fight Against Corona Virus : धर्म के नाम पर लॉकडाउन का अनुशासन तोड़ने वाले तब्लीगी जमातियों और जबरनसामूहिक नमाज पढ़ने पर आमादा लोग न जाने किस बहकावे में हैं। उनके धर्मगुरु तो सरकार के साथ मिलकर कोरोना को मात देना चाहते हैं। वह लॉकडाउन का पालन हर हाल में कराने के पैरोकार हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में मुस्लिम धर्मगुरुओं ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि जिंदा रहेंगे, तभी तो नमाज पढ़ सकेंगे। यही नहीं, उन्होंने योगी के प्रयासों की भरपूर सराहना करते हुए हरसंभव सहयोग का वादा भी किया। मुख्यमंत्री योगी ने भी सभी धर्मगुरुओं से सुझाव मांगे और उन पर अमल का आश्वासन दिया।
कोरोना और लॉकडाउन की चुनौतियों को मात देने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कर सभी धर्मों को इस जीवनरक्षक मुहिम से जोड़ने का प्रयास किया। अपने सरकारी आवास से प्रदेश भर के धर्मगुरुओं से संवाद करते हुए योगी ने कहा कि कोरोना एक संक्रमण की बीमारी है, जो पंथ, मत, संप्रदाय, धर्म और मजहब नहीं देखती है। इसके लिए जरूरी है कि हम सभी बिना किसी भेदभाव के एक साथ इसका मुकाबला करें। योगी ने कहा कि अमेरिका, इटली, स्पेन, ईरान जैसे देशों में इस वायरस ने मौत का तांडव मचाया हुआ है। भारत में प्रधानमंत्री नरेद्र मोदी द्वारा लिए गए निर्णय व उपायों से देश में इस पर अब तक नियंत्रण बनाया जा सका है। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा समय पर उठाए गए कदमों के कारण ही देश में कोरोना सेकंड स्टेज पर थम गया है। इतना ही नहीं, दुनिया की बड़ी ताकतें अब भारत की ओर सहयोग की दृष्टि से देख रही हैं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 25 मार्च से पूरे देश में लॉकडाउन चल रहा है। इस कारण लोगों को समस्याओं जरूर आई हैं, यह तात्कालिक है। हमें उत्तम भविष्य और स्वास्थ्य के लिए इस तात्कालिक समस्या के अनुरूप दिनचर्या को बनाना ही होगा। जिन राज्यों ने इसका पालन किया है, वहां अच्छे परिणाम आए हैं। उन्होंने सभी धर्म गुरुओं का आभार व्यक्त किया कि लॉकडाउन के दौरान सभी पर्वों को स्थगित कर दिया गया। नवरात्र और रामनवमी इसके उदाहरण हैं। इसी प्रकार से अनेक मत और मजहब को लोगों ने इसमें सहयोग दिया है। उसी का परिणाम है कि हम इस महामारी को रोकने में सफल हुए हैं।
नियंत्रण में स्थिति, तब्लीगी जमात ने बदली परिस्थिति
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रदेश स्तर पर भी कई प्रयास किए गए हैं, जिसके सार्थक परिणाम आ रहे थे। हालांकि, तब्लीगी जमात के कारण अचानक कुछ परिस्थितियां बदली हैं। इसके बाद भी हमारा नियंत्रण बना हुआ है। योगी ने कहा कि धर्मगुरुओं का अपने समाज पर गहरा असर होता है। इस कारण सभी को आमंत्रित कर उनका सहयोग मांगा गया है। योगी ने कहा कि सभी अपने सुझाव मौखिक व लिखित रूप में दे सकते हैं।
हर जिले में बनेगी टेस्टिंग लैबप्रयागराज में संगमतट स्थित हनुमान मंदिर के मंहत नरेंद्र गिरी ने हालात की जानकारी दी। इसके मौके पर निर्मोही अंखाड़े से महंत और सिख धर्म गुरू जोगिंदर सिंह ने भी अपनी बात रखी। अयोध्या से धर्मगुरुओं ने सुझाव दिया कि रामनगरी में देश-विदेश से लोगों का आवागमन होता है। इसके लिए जरूरी है कि यहां एक टेस्टिंग लैब की स्थापना की जाए। इस पर योगी ने आश्वासन दिया कि सरकार हर जिले में लैब खोलने की तैयारी कर रही है। मुख्यमंत्री ने वाराणसी के सतुआ बाबा, लखनऊ से मौलाना यासूब अब्बास, गोरखपुर से सरदार यशपाल सिंह व गोरखपुर के काली बाड़ी के महंत रविंद्र दास से भी सुझाव मांगे।
सभी धर्मगुरु करें जागरूक वाराणसी संकट मोचन मंदिर के मंहत प्रो. विश्वंभर नाथ मिश्र ने कहा कि सभी धर्मगुरु अपने अपने स्तर पर लॉकडाउन के प्रति लोगों को जागरूक करें। मौजूदा वक्त में हमें पुलिस का सहयोग करते हुए इस काम को खुद करना चाहिए।नमाज के लिए जरूरी जिंदा रहनाशिया धर्मगुरु कल्बे जव्वाद ने कहा कि आप बहुत अच्छा काम कर रहे हैं। कुरान में इंसानियत की हिफाजत की बात को प्रमुख रूप से बताया गया है। नमाज के लिए जरूरी जिंदा रहना और जिंदा रहने के लिए डॉक्टरों व हुकूमत के सुझाव को मानने में ही सबकी भलाई है।
लोगों को क्वारंटाइन किया जाएसहारनपुर के मौलाना मसूद मदनी ने कहा कि जिन लोगों को क्वारंटाइन किया जाए, उन्हें यह न लगे कि उन्हें पुलिस ने गिरफ्तार किया है। संदिग्ध या संक्रमित लोगों को क्वारंटाइन करने के लिए स्थानीय जनप्रतिनिधियों, धर्मगुरुओं आदि को विश्वास में लेने पर यह काम और आसान होगा। अलगाववाद पैदा करने वाली खबरों पर सख्ती से रोक लगानी चाहिए।
कोरोना वारियर्स कमेटी का गठन होलखनऊ से मौलाना खालिद रशीद महली ने कहा कि जैसा आप कर रहे हैं, उससे अच्छा कुछ नहीं हो सकता। हमारा व संप्रदाय के अन्य धर्मगुरुओं की कोरोना रोकथाम व बचाव संबंधी एक ऑडिओ क्लिप बनाकर उसे मस्जिदों व मुस्लिम बाहुल्य इलाकों में सुनाया जाए। मस्जिदों से हर 4-5 घंटे पर यह ऑडिओ क्लिप चलाया जाए। हर वार्ड में कोरोना वारियर्स कमेटी का गठन किया जाए।
सोशल डिस्टेंसिंग पर अमल करेंगेआगरा से फादर मून लाजरस ने कहा कि ईसाई धर्म में यह एक मुख्य सप्ताह होता है, जिसमें गुड फ्राइडे भी शामिल है। फिर भी प्रशासन व शासन की पहल पर कोरोना की रोकथाम के लिए ईसाई धर्म के लोग किसी भी प्रकार का आयोजन नहीं करेंगे। सोशल डिस्टेंसिंग पर अमल करेंगे।
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